खटीमा: बच्चों में छिपी प्रतिभा को बाहर लाने और उन्हें बचपन जीने की सीख देने के लिए पांच दिवसीय लेखन और रचनात्मक कौशल कार्यशाला का शुभारंभ किया गया. इस कार्यशाला में स्कूली बच्चों में काव्य, कहानी लेखन के अलावा नाटक, समूह गीत के माध्यम से बच्चों की प्रतिभाओं को निखारा जाएगा. साथ ही बच्चों की 10 प्रमुख कहानी व काव्य को बाल प्रहरी पत्रिका में प्रकाशित किया जाएगा.
कार्यशाला का शुभारंभ खटीमा फाइबर सीएमडी आरसी रस्तोगी ने किया. वह इस कार्यशाला के पिछले 13 सालों से खटीमा में हो रहे आयोजन से काफी खुश दिखे. इस मौके पर उन्होंने सीमांत क्षेत्र के बच्चों की प्रतिभाओं का विकास होने की उन्होंने बात कही.
इस मौके पर उन्होंने कहा कि भविष्य की चुनौतियों की तैयारी के चक्कर में माता-पिता अपने बच्चों से उनका बचपन छीनते जा रहे हैं. बच्चों में छुपी प्रतिभाओं को बाहर लाने और उन्हें बचपन की सीख देने के लिए उत्तराखंड के सीमा क्षेत्र खटीमा में पांच दिवसीय लेखन और रचनात्मक कौशल कार्यशाला का प्रारंभ हुआ है. जिसमें उत्तराखंड बाल साहित्य संस्थान, ज्ञान विज्ञान समिति और बाल प्रहरी संस्था द्वारा संयुक्त रूप से आयोजित इस कार्यशाला में सीमा क्षेत्र के विभिन्न स्कूलों के डेढ़ सौ बच्चे हिस्सा लेंगे और अपने कौशल को संवारने काम करेंगे.
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कार्यक्रम के आयोजक बाल प्रहरी पत्रिका के संपादक उदय किरोला ने इस बार की कार्यशाला को बाल लेखन कार्यशाला की जगह व्याख्यान कार्यशाला के रूप में चलाने की बात कही. जिसमें बच्चों को पांच दिनों में काव्य, कहानी, लेखन के अलावा नाटक,समूह गीत के माध्यम से बच्चों की प्रतिभा को निखारा जायेगा.