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मतपत्र मामलाः प्रत्याशियों ने निर्वाचन अधिकारी को सौंपा ज्ञापन, जांच की मांग

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Published : Oct 11, 2019, 7:17 PM IST

Updated : Oct 11, 2019, 9:59 PM IST

गदरपुर इंटर कॉलेज में बने स्ट्रांग रूम के बाहर मतपत्र फटे मिलने के मामले में पूर्व विधायक प्रेमानंद महाजन के नेतृत्व में प्रत्याशी और उनके समर्थकों ने उप जिला निवार्चन अधिकारी को ज्ञापन सौंपा. जिसमें उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि जिस समय मतपत्र संदिग्ध हाल में मिले. उस दौरान पंचायती राज मंत्री अरविंद पांडेय के ओएसडी स्ट्रांग रूम के पास भ्रमण करते हुए देखे गए हैं.

स्ट्रांग रूम मतपत्र फटा मामला

गदरपुरः नगर के एक इंटर कॉलेज में बने स्ट्रांग रूम के बाहर बड़ी संख्या में फटे मतपत्र मिलने के बाद प्रत्याशियों में हड़कंप मचा हुआ है. इसी कड़ी में आक्रोशित प्रत्याशियों ने अपने समर्थकों के साथ क्लेक्ट्रेट पहुंचकर उप जिला निर्वाचन अधिकारी को ज्ञापन सौंपा. साथ ही मामले पर न्यायिक जांच कराने की मांग की. वहीं, मतगणना की निगरानी के लिए न्यायिक मजिस्ट्रेट की नियुक्ति करने को भी कहा.

स्ट्रांग रूम के बाहर फटे मतपत्र मिलने के मामले में प्रत्याशियों ने निर्वाचन अधिकारी को सौंपा ज्ञापन.

बता दें कि, त्रिस्तरीय पंचायत के लिए पहले चरण में गदरपुर और रुद्रपुर ब्लॉक में मतदान हुआ था. जिसके बाद सभी प्रत्याशियों की किस्मत मतपत्र के पेटियों में कैद हो गई थी, लेकिन इस बीच गदरपुर इंटर कॉलेज में बने स्ट्रांग रूम के बाहर बड़ी संख्या में मतपत्र फटे पाए जाने का मामला सुर्खियों में आ गया था.

ये भी पढ़ेंः एससी-एसटी छात्रावासों में मिलेगा पौष्टिक भोजन, सरकार ने बढ़ाया बजट

जिसमें खानपुर पूर्व जिला पंचायत प्रत्याशी और अन्य प्रत्याशियों के मत पत्र फटे हुए पाए गए. इन मतपत्रों के पीछे पीठासीन अधिकारी के साइन और मुहर भी लगी है. घटना सामने आने के बाद मामला तूल पकड़ने लगा है. हालांकि, गदरपुर थाना अध्यक्ष ने सभी मतपत्रों को कब्जे में लेकर सील कर दिया है, लेकिन मामले पर विरोध थमने का नाम नहीं ले रहा है.

इसी कड़ी में गदरपुर के पूर्व विधायक प्रेमानंद महाजन के नेतृत्व में प्रत्याशी और उनके समर्थकों ने उप जिला निवार्चन अधिकारी को ज्ञापन सौंपा. जिसमें उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि जिस समय मतपत्र संदिग्ध हाल में मिले. उस दौरान पंचायती राज मंत्री अरविंद पांडेय के ओएसडी स्ट्रांग रूम के पास भ्रमण करते हुए देखे गए हैं.

ये भी पढ़ेंः खुशखबरी: पिथौरागढ़ से गाजियाबाद के लिए हवाई सेवा शुरू, 9 सीटर विमान ने भरी उड़ान

वहीं, प्रत्याशियों का आरोप है कि किसी साजिश के तहत पंचायती मंत्री के ओएसडी को स्ट्रांग रूम के आस-पास बेरिकेटिंग और अन्य व्यवस्थाओं का प्रभारी नियुक्त किया गया है. जिसे हटाया जाना आवश्यक है. इतना ही नहीं उन्होंने मंत्री पर मत पेटी और मतगणना में धांधली करने का आरोप भी लगाया है.

उन्होंन कहा कि मतदान के बाद अधिकांश पीठासीन अधिकारियों ने विभिन्न प्रत्याशियों के अभिकर्ताओं को मतपत्रों का लेखा प्रारूप 18, परिशिष्ट 9 उपलब्ध नहीं कराया है. मतगणना से पहले इसे सभी संबंधित प्रत्याशियों को उपलब्ध कराया जाए.

साथ ही स्ट्रांग रूम में मतपेटियां रखने के दौरान से सीसीटीवी कैमरों की रिकार्डिंग की सीडीआर भी सभी प्रत्याशियों को उपलब्ध करने को कहा. मतगणना की निगरानी के लिए न्यायिक मजिस्ट्रेट की नियुक्ति करने के साथ 21 अक्टूबर को होने वाली मतगणना की वीडियोग्राफी कराने की मांग भी की.

ये भी पढ़ेंः पंचायत चुनाव: वोट देने पहुंची सायरा बानो, जनता से की ये अपील

गदरपुर के पूर्व विधायक प्रेमानंद महाजन ने मंत्री पर आरोप लगाते हुए कहा कि पहले भी गूलरभोज नगर पंचायत चुनाव में कई सीट पर संदहेजनक धांधली हुए हैं. जिसे दोबारा ना दोहराया जाए. वहीं, खटोला जिला पंचायत प्रत्याशी किशोर कुमार ने कहा कि मतगणना के दौरान एक रूल पास होना चाहिए और रिकाउंटिंग के लिये एक निर्धारित बोटिंग मान्य कर दिया जाए.

इससे पहले बाजपुर एसडीएम एपी बाजपाई ने मामले बयान देते हुए कहा कि गदरपुर में कुछ संदिग्ध मत पत्र पाए गए हैं, जो कि खराब अथवा डैमेज भी हो सकते हैं. उन्होंने कहा कि इस मामले की जांच की जा रही है.

उधर, बीजेपी नेता खरक सिंह कार्की ने कहा कि जब मत पत्र खराब थे तो इन्हें फाड़ कर क्यों फेंक दिया गया. जबकि, मतदान के दौरान पार्टी को जारी किए गए मतदान पत्र शेष बचते हैं, उसे लिफाफे में सील कर पुनः निर्वाचन कार्यालय में जमा कर दिए जाते हैं. इन मतपत्रों पर तो नंबर भी पड़े हुए हैं और उसमे पीठासीन अधिकारी के मोहर व हस्ताक्षर भी हैं. ऐसे में प्रतीत होता है इस प्रकरण में पोलिंग पार्टी भी लिप्त हैं.

गदरपुरः नगर के एक इंटर कॉलेज में बने स्ट्रांग रूम के बाहर बड़ी संख्या में फटे मतपत्र मिलने के बाद प्रत्याशियों में हड़कंप मचा हुआ है. इसी कड़ी में आक्रोशित प्रत्याशियों ने अपने समर्थकों के साथ क्लेक्ट्रेट पहुंचकर उप जिला निर्वाचन अधिकारी को ज्ञापन सौंपा. साथ ही मामले पर न्यायिक जांच कराने की मांग की. वहीं, मतगणना की निगरानी के लिए न्यायिक मजिस्ट्रेट की नियुक्ति करने को भी कहा.

स्ट्रांग रूम के बाहर फटे मतपत्र मिलने के मामले में प्रत्याशियों ने निर्वाचन अधिकारी को सौंपा ज्ञापन.

बता दें कि, त्रिस्तरीय पंचायत के लिए पहले चरण में गदरपुर और रुद्रपुर ब्लॉक में मतदान हुआ था. जिसके बाद सभी प्रत्याशियों की किस्मत मतपत्र के पेटियों में कैद हो गई थी, लेकिन इस बीच गदरपुर इंटर कॉलेज में बने स्ट्रांग रूम के बाहर बड़ी संख्या में मतपत्र फटे पाए जाने का मामला सुर्खियों में आ गया था.

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जिसमें खानपुर पूर्व जिला पंचायत प्रत्याशी और अन्य प्रत्याशियों के मत पत्र फटे हुए पाए गए. इन मतपत्रों के पीछे पीठासीन अधिकारी के साइन और मुहर भी लगी है. घटना सामने आने के बाद मामला तूल पकड़ने लगा है. हालांकि, गदरपुर थाना अध्यक्ष ने सभी मतपत्रों को कब्जे में लेकर सील कर दिया है, लेकिन मामले पर विरोध थमने का नाम नहीं ले रहा है.

इसी कड़ी में गदरपुर के पूर्व विधायक प्रेमानंद महाजन के नेतृत्व में प्रत्याशी और उनके समर्थकों ने उप जिला निवार्चन अधिकारी को ज्ञापन सौंपा. जिसमें उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि जिस समय मतपत्र संदिग्ध हाल में मिले. उस दौरान पंचायती राज मंत्री अरविंद पांडेय के ओएसडी स्ट्रांग रूम के पास भ्रमण करते हुए देखे गए हैं.

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वहीं, प्रत्याशियों का आरोप है कि किसी साजिश के तहत पंचायती मंत्री के ओएसडी को स्ट्रांग रूम के आस-पास बेरिकेटिंग और अन्य व्यवस्थाओं का प्रभारी नियुक्त किया गया है. जिसे हटाया जाना आवश्यक है. इतना ही नहीं उन्होंने मंत्री पर मत पेटी और मतगणना में धांधली करने का आरोप भी लगाया है.

उन्होंन कहा कि मतदान के बाद अधिकांश पीठासीन अधिकारियों ने विभिन्न प्रत्याशियों के अभिकर्ताओं को मतपत्रों का लेखा प्रारूप 18, परिशिष्ट 9 उपलब्ध नहीं कराया है. मतगणना से पहले इसे सभी संबंधित प्रत्याशियों को उपलब्ध कराया जाए.

साथ ही स्ट्रांग रूम में मतपेटियां रखने के दौरान से सीसीटीवी कैमरों की रिकार्डिंग की सीडीआर भी सभी प्रत्याशियों को उपलब्ध करने को कहा. मतगणना की निगरानी के लिए न्यायिक मजिस्ट्रेट की नियुक्ति करने के साथ 21 अक्टूबर को होने वाली मतगणना की वीडियोग्राफी कराने की मांग भी की.

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गदरपुर के पूर्व विधायक प्रेमानंद महाजन ने मंत्री पर आरोप लगाते हुए कहा कि पहले भी गूलरभोज नगर पंचायत चुनाव में कई सीट पर संदहेजनक धांधली हुए हैं. जिसे दोबारा ना दोहराया जाए. वहीं, खटोला जिला पंचायत प्रत्याशी किशोर कुमार ने कहा कि मतगणना के दौरान एक रूल पास होना चाहिए और रिकाउंटिंग के लिये एक निर्धारित बोटिंग मान्य कर दिया जाए.

इससे पहले बाजपुर एसडीएम एपी बाजपाई ने मामले बयान देते हुए कहा कि गदरपुर में कुछ संदिग्ध मत पत्र पाए गए हैं, जो कि खराब अथवा डैमेज भी हो सकते हैं. उन्होंने कहा कि इस मामले की जांच की जा रही है.

उधर, बीजेपी नेता खरक सिंह कार्की ने कहा कि जब मत पत्र खराब थे तो इन्हें फाड़ कर क्यों फेंक दिया गया. जबकि, मतदान के दौरान पार्टी को जारी किए गए मतदान पत्र शेष बचते हैं, उसे लिफाफे में सील कर पुनः निर्वाचन कार्यालय में जमा कर दिए जाते हैं. इन मतपत्रों पर तो नंबर भी पड़े हुए हैं और उसमे पीठासीन अधिकारी के मोहर व हस्ताक्षर भी हैं. ऐसे में प्रतीत होता है इस प्रकरण में पोलिंग पार्टी भी लिप्त हैं.

Intro:एंकर - गदरपुर स्ट्रांग रूम के बहार बड़ी संख्या में मतपत्र फटे पाए जाने से रुष्ट होकर प्रत्याशीयो ने अपने समर्थकों के साथ जिला निर्वाचन अधिकारी को ज्ञापन सौंपकर न्यायिक जांच कराने की मांग की तथा
मतगणना की निगरानी के लिए न्यायिक मजिस्ट्रेट की नियुक्ति की जाएBody:गदरपुर में बने स्ट्रांग रूम के बहार बड़ी संख्या में मतपत्र फटे पाए जाने से सभी प्रत्याशीयो में हड़कंप मचा हुआ है जिसके चलते गदरपुर के पूर्व विधायक प्रेमानंद महाजन के नेतृत्व में प्रत्याशियों ने उप जिला निर्वाचन अधिकारी को ज्ञापन देकर गदरपुर में बनाए गए स्ट्रांग रूम के बाहर मतदान केंद्र 59 के जिला पंचायत सद्सय पद के बैलेट पेपर , सीलिंग मुहर व अन्य सामान पाए जाने पर आरोप लगाया है कि मतदान पेटी से छेड़छाड़ की गई है
इस दौरान मंत्री अरविंद पाण्डेय पर धांधली का आरोप लगाया है तो वही उप जिला निर्वाचन अधिकारी को ज्ञापन सौंपकर इस घटना की न्यायिक जांच कराने की मांग की है

विओ - आपको बताते चले कि प्रदेश में पहले चरण के पंचायत चुनाव संपन्न होने के बाद सभी प्रत्याशियों की किस्मत मतपत्र के पेटियों में कैद हो गई तो वही गदरपुर इंटर कॉलेज में बने स्ट्रांग रूम के बहार बड़ी संख्या में मतपत्र फटे पाए जाने से सभी प्रत्याशीयो में हड़कंप मचा हुआ है जिसको लेकर प्रत्याशी और उनके समर्थकों ने गदरपुर के पूर्व विधायक प्रेमानंद माहाजन के नेतृत्व में उप जिला निवार्चन अधिकारी को ज्ञापन सौपकर
कहा गया कि जिस समय उक्त वस्तुएं संदिग्ध हाल में मिली उसी समय वहां पंचायती राज मंत्री अरविंद पांडेय के ओएसडी स्ट्रांग रूम के पास भ्रमण करते हुए देखे गए है वही प्रत्याशीयो का आरोप है कि किसी साजिश के तहत पंचायती मंत्री के ओएसडी को स्ट्रांग रूम के आस पास बेरिकेटिंग व अन्य व्यवस्थाओं का प्रभारी नियुक्त किया गया है , जिसे हटाया जाना आवश्यक है
वही ज्ञापन देकर मंत्री पर मद पेटी व मतगणना में धांधली करने का आरोप लगाया है। उन्होंन कहा कि मतदान के बाद अधिकांश पीठासीन अधिकारियों ने विभिन्न प्रत्याशियों के अभिकर्ताओं को मतपत्रों का लेखा प्रारूप 18 परिशिष्ट 9 उपलब्ध नहीं कराया है । मतगणना से पहले इसे सभी संबंधित प्रत्याशियों को उपलब्ध कराया जाए । स्टांग रूम में मतपेटियां रखने के समय से सीसीटीवी कैमरों की रिकार्डिंग की सीडीआर भी सभी प्रत्याशियों को उपलब्ध कराई जाए । मतगणना की निगरानी के लिए न्यायिक मजिस्ट्रेट की नियुक्ति की जाए । 21 अक्टूबर को होने वाली मतगणना की वीडियोग्राफी कराई जाए तथा मतगणना स्थल पर सीसीटीवी कैमरे लगाए जाए

इस दौरान गदरपुर के पूर्व विधयक प्रेमानन्द महाजन ने मंत्री पर आरोप लगाते हुए कहा की पूर्व में गूलरभोज नगर पंचायत चुनाब में जो गूलरभोज के सीट पर संदहेजनक धांधली हुए है। वह दुबारा न दोहराया जाए। महाजन ने कहा कि हमे डीएम साहब के ईमानदारी पर भी भरोसा नही रहा
क्योंकि पूर्व में नगर पंचायत चुनाब उनके देख रेख में हुई थी फिर भी उनके होते हुए भी चुनाब में धांधली कैसे हुआ यह एक सबल बना हुआ हैं

वही खटोला जिला पंचायत प्रत्याशी किशोर कुमार ने कहा कि मतगणना के दौरान एक रूल पास हो और रिकाउंटिंग के लिये एक निर्धारित बोटिंग मान्य कर दिया जाए जिससे कि उमीदबारो को कोई धांधली की आसंका का संदेह ना हो

इस दौरान खरक सिंह कार्की ने कहा कि इस विषय को लेकर जब मीडिया ने एसडीएम बाजपुर गदरपुर जी से बात की गई तो उनका कहना था कि यह मत पत्र खराब थे इसलिए फाड़ कर फेंक दिए गए होने उनका यह बयान हास्यास्पद एवं रहस्य में है एक जिम्मेदार पद पर है जिनकी देखरेख में निर्वाचन कार्य संपन्न होता है उनका यह कहना कि यह मतपत्र डैमेज खराब वाले भी हो सकते हैं इसलिए फाड़कर फेंक दिए होंगे यहा प्रश्न उठता है कि नंबर पड़े हुए यह मत पत्र स्ट्रांग रूम के पास कैसे फाड़ के फेंके गए क्योंकि मतदान पार्टी को जारी किए गए मतदान पत्र जो शेष बचते हैं वह लिफाफे में शील्ड कर पुनः निर्वाचन कार्यालय मैं जमा कर दिए जाते हैं फिर स्ट्रांग रूम के पास इन मतपत्रों का जिन पर नंबर पड़े हुए हैं और उसमे पीठासीन अधिकारी के मोहर और हस्ताक्षर भी हैं तो ये मतपत्र निर्वाचन कार्यालय में जमा होना चाहिए थे प्रतीत होता है कि इस प्रकरण पोलिंग पार्टी लिफ्ट है
दूसरा प्रश्न यह भी उठता है एक महोदय ने अपने आप को मंत्री जी का osd बताते हुए कहते है कि मैं बेरिकेटिंग की जांच करने के लिए आया था कभी उन्होंने कहा कि मैं बंद सीसीटीवी कैमरे को चालू कराने आया था यह भी संदेहास्पद है यहां पर भी उल्लेखनीय है कि जानकारी के अनुसार नेगी जी पीडब्ल्यूडी विभाग में सहायक अभियंता के पद पर पदस्थ है वह एक तकनीकी अधिकारी हैं उनको ओएसडी पद का कोई भी ज्ञान नहीं है यहां यह भी कहना है कि ओएसडी आशुलिपिक/शाट हैंड ट्रेनिंग प्राप्त होता है इसलिए नेगी जी की उपस्थिति भी इस प्रकरण को संदिग्ध बनाती है।

Conclusion:वाइट - प्रेमानंद महाजन पूर्व विधायक गदरपुर
वाइट - खरक सिंह कार्की समर्थक एवं भाजपा नेता
वाइट - किशोर कुमार खटोला जिला पंचायत प्रत्याशी
वाइट - ममता हाल्दार प्रदेश उपाध्यक्ष कांग्रेस कमेटी
Last Updated : Oct 11, 2019, 9:59 PM IST
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