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केदारनाथ धाम में रुक-रुक हो रही बर्फबारी, ठंड और ग्लेशियर ने बढ़ाई यात्रियों की मुश्किलें

कपाट खुलने के बाद से केदारनाथ धाम में लगातार बर्फबारी और बारिश हो रही है. इस बार मंदिर से सरस्वती नदी तक के आधे किमी के दायरे को करीब पचास मीटर चौड़ा किया गया है, लेकिन इस रास्ते पर बर्फबारी और बारिश से बचने के लिये कहीं भी रैन शेल्टर की सुविधा नहीं है.

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Published : May 14, 2019, 6:09 PM IST

केदारनाथ धाम में रुक-रुक हो रही बर्फबारी.

रुद्रप्रयागः विश्व प्रसिद्ध चारधाम के कपाट खुलते ही देश-विदेश से हजारों की तादाद में श्रद्धालु दर्शन करने पहुंच रहे हैं. केदारनाथ धाम की यात्रा शुरू हुए पांच दिन हो चुके हैं, लेकिन यात्रा के शुरुआती चरण में ही मौसम की मार पड़ रही है. इनदिनों केदारनाथ धाम में रुक-रुक कर बर्फबारी और निचले क्षेत्रों में बारिश हो रही है. जिससे केदारनाथ में काफी ठंड बढ़ गई है. वहीं, पैदल मार्ग पर जगह-जगह ग्लेशियर और बर्फ होने से यात्रियों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है.

केदारनाथ धाम में रुक-रुक हो रही बर्फबारी.


बता दें कि बीते नौ मई को विधि-विधान के साथ केदारनाथ धाम के कपाट खोले गए थे. अबतक करीब 32 हजार तीर्थ यात्री बाबा केदार के दर्शन कर चुके हैं. वहीं, कपाट खुलने के बाद से केदारनाथ धाम में लगातार बर्फबारी और बारिश हो रही है. इस बार मंदिर से सरस्वती नदी तक के आधे किमी के दायरे को करीब पचास मीटर चौड़ा किया गया है, लेकिन इस रास्ते पर बर्फबारी और बारिश से बचने के लिये कहीं भी रैन शेल्टर की सुविधा नहीं है. ऐसे में यात्रियों को दर्शन के लिए भीगने के साथ ही ठंड का सामना करना पड़ रहा है.

ये भी पढ़ेंः बर्फबारी के बीच श्रद्धालु कर रहे हैं दर्शन, 32 हजार तीर्थ यात्री कर चुके हैं दर्शन

उधर, पैदल मार्ग पर भी ग्लेशियर बनने से फिसलन बढ़ गई है. कई यात्री घोड़े-खच्चरों के संतुलन बिगड़ने से गिरकर चोटिल हो रहे हैं. हालांकि यात्रियों को सही समय पर उन्हें इलाज दिया जा रहा है. बावजूद इसके मुसीबतें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं.

रुद्रप्रयागः विश्व प्रसिद्ध चारधाम के कपाट खुलते ही देश-विदेश से हजारों की तादाद में श्रद्धालु दर्शन करने पहुंच रहे हैं. केदारनाथ धाम की यात्रा शुरू हुए पांच दिन हो चुके हैं, लेकिन यात्रा के शुरुआती चरण में ही मौसम की मार पड़ रही है. इनदिनों केदारनाथ धाम में रुक-रुक कर बर्फबारी और निचले क्षेत्रों में बारिश हो रही है. जिससे केदारनाथ में काफी ठंड बढ़ गई है. वहीं, पैदल मार्ग पर जगह-जगह ग्लेशियर और बर्फ होने से यात्रियों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है.

केदारनाथ धाम में रुक-रुक हो रही बर्फबारी.


बता दें कि बीते नौ मई को विधि-विधान के साथ केदारनाथ धाम के कपाट खोले गए थे. अबतक करीब 32 हजार तीर्थ यात्री बाबा केदार के दर्शन कर चुके हैं. वहीं, कपाट खुलने के बाद से केदारनाथ धाम में लगातार बर्फबारी और बारिश हो रही है. इस बार मंदिर से सरस्वती नदी तक के आधे किमी के दायरे को करीब पचास मीटर चौड़ा किया गया है, लेकिन इस रास्ते पर बर्फबारी और बारिश से बचने के लिये कहीं भी रैन शेल्टर की सुविधा नहीं है. ऐसे में यात्रियों को दर्शन के लिए भीगने के साथ ही ठंड का सामना करना पड़ रहा है.

ये भी पढ़ेंः बर्फबारी के बीच श्रद्धालु कर रहे हैं दर्शन, 32 हजार तीर्थ यात्री कर चुके हैं दर्शन

उधर, पैदल मार्ग पर भी ग्लेशियर बनने से फिसलन बढ़ गई है. कई यात्री घोड़े-खच्चरों के संतुलन बिगड़ने से गिरकर चोटिल हो रहे हैं. हालांकि यात्रियों को सही समय पर उन्हें इलाज दिया जा रहा है. बावजूद इसके मुसीबतें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं.

केदारनाथ यात्रा पर मौसम की मार
लगातार बर्फबारी और बारिश से बढ़ी दिक्कतें
बारिश और बर्फबारी में यात्रियों की बढ़ रही परेशानियां
उत्तराखण्ड डेस्क
स्लग - यात्रियों की परेशानी
रिपोर्ट - रोहित डिमरी/14 मई 2019/रुद्रप्रयाग 
एंकर - द्वादश ज्योर्तिलिंगों में ग्यारहवें ज्योर्तिलिंग भगवान केदारनाथ की यात्रा शुरू हुये अभी मात्र चार दिन हुये हैं, लेकिन यात्रा के शुरूआती चरण में ही मौसम की मार पड़ रही है। केदारनाथ धाम में जहां आये दिन बर्फबारी हो रही है। वहीं निचले क्षेत्रों में बारिश होने से यात्रियों की दिक्कतें बढ़ गई हैं। केदारनाथ में ठंड अत्यधिक बढ़ गई है। पैदल मार्ग पर जगह-जगह ग्लेशियर और बर्फ होने से यात्रियों को कई प्रकार की परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
दरअसल, नौ मई को केदारनाथ के कपाट खुले थे। अभी तक 32 हजार तीर्थ यात्री केदारनाथ के दर्शन कर चुके हैं। कपाट खुलने के बाद से केदारनाथ धाम में लगातार बर्फबारी और बारिश हो रही है। जिस कारण कई प्रकार की दिक्कतें हो रही हैं। केदारनाथ मंदिर से सरस्वती नदी तक आधा किमी के दायरे में रास्ता तो पचास मीटर चैड़ा है, लेकिन इस रास्ते पर बर्फबारी और बारिश से बचने के लिये कही भी रैन सल्टर की सुविधा नहीं है। रास्ते के आस-पास एक भी दुकान न होने से दिक्कतें अधिक बढ़ रही हैं। बारिश और बर्फबारी होने पर यात्रियों को भीगने के साथ ही ठंड का सामना करना पड़ रहा है। 
पैदल मार्ग पर जहां-जहां ग्लेशियर बने हैं, वहां-वहां पैदल मार्ग पर फिसलन बढ़ रही हैं। अधिकांश यात्री घोड़े-खच्चरों से गिरकर भी चोटिल हो रहे हैं। हालांकि यात्रियों को सही समय पर चिकित्सालय तो पहुंचाया जा रहा है, दिक्कतें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं।

आप तस्वीरों में देख सकते हैं कि केदारनाथ धाम में किस तरह से बर्फबारी और बारिश हो रही है। इस बारिश और बर्फबारी में यात्री भीग रहे हैं और केदारनाथ मंदिर के आगे कही भी यात्रियों के लिये बारिश और बर्फबारी से बचने के लिये कोई इंतजाम नहीं हैं।

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