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मद्महेश्वर की भोग मूर्तियां सभामंडप में हुईं विराजमान, 24 मई को खुलेंगे कपाट

द्वितीय केदार भगवान मद्महेश्वर धाम के कपाट खोलने की प्रक्रिया शुरू हो गई है. वहीं सीमित महिलाओं द्वारा भगवान मदमहेश्वर को नए अनाज का भोग अर्पित किया गया.

Rudraprayag
रुद्रप्रयाग
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Published : May 21, 2021, 9:55 AM IST

Updated : May 21, 2021, 10:22 AM IST

रुद्रप्रयाग: द्वितीय केदार भगवान मद्महेश्वर धाम के कपाट खोलने की प्रक्रिया शीतकालीन गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मंदिर में पौराणिक परम्पराओं व रीति-रिवाजों के साथ शुरू हो गई है. भगवान मद्महेश्वर की चल विग्रह उत्सव मूर्तियों को वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ ओंकारेश्वर मंदिर के गर्भ गृह से सभा मंडप पर लाया गया. वहीं सीमित महिलाओं द्वारा भगवान मद्महेश्वर को नए अनाज का भोग अर्पित किया गया.

मद्महेश्वर की भोग मूर्तियां सभामंडप में हुईं विराजमान.

इस दौरान लॉकडाउन के नियमों का सख्ती से पालन किया गया. शुक्रवार यानी आज भी भगवान मद्महेश्वर सभा मंडप में विराजमान रहेंगे. 22 मई को भगवान मद्महेश्वर की डोली ऊखीमठ से अपने धाम के लिए रवाना होगी. जानकारी के मुताबिक इस साल भी लॉकडाउन के कारण भगवान मद्महेश्वर की डोली मंगोलचारी से रांसी तक रथ से जाएगी.

Rudraprayag
भगवान मदमहेश्वर के लिए भोग तैयार करती महिलाएं

बता दें कि मद्महेश्वर में भगवान शंकर के मध्य भाग की पूजा होती है. गुरुवार को ओंकारेश्वर मंदिर के प्रधान पुजारी शिव शंकर लिंग, टी गंगाधर लिंग व मद्महेश्वर धाम के प्रधान पुजारी शिव शंकर लिंग द्वारा भगवान ओंकारेश्वर सहित पंचनामा देवी-देवताओं की पूजा-अर्चना कर जलाभिषेक किया. भगवान मदमहेश्वर की चल विग्रह उत्सव भोग मूर्तियों को परंपरागत सभा मंडप पर लाया गया और ब्राह्मण, वेद पाठियों द्वारा पुन भगवान मदमहेश्वर की मूर्तियों की विशेष पूजा की गई.

24 मई को खुलेंगे कपाट

इस बार भी ओंकारेश्वर मंदिर से मंगोलचारी तक परम्परा के मुताबिक पैदल पथ से जाएगी. वहां से रथ से राकेश्वरी मंदिर रांसी पहुंचेगी. 23 मई को भगवान मद्महेश्वर की चल विग्रह उत्सव डोली राकेश्वरी मंदिर रांसी से प्रस्थान कर अंतिम रात्रि प्रवास के लिए गौंडार गांव पहुंचेगी. 24 मई को गौंडार गांव से प्रस्थान कर बनातोली, खटारा, नानौ, मैखम्भा कूनचटटी होते हुए मद्महेश्वर धाम पहुंचेगी. मदमहेश्वर धाम के कपाट परम्परानुसार विधि-विधान से ग्रीष्मकाल के लिए खोल दिए जाएंगे

ये भी पढ़ेंः देहरादून की 'अन्नपूर्णा' बनीं तीन सहेलियां, नौकरी छोड़ समाज सेवा में जुटीं

देवस्थानम बोर्ड के कार्याधिकारी एनपी जमलोकी ने बताया कि इस बार प्रशासन द्वारा देवस्थानम बोर्ड के आठ अधिकारी-कर्मचारियों तथा 12 हक-हकूकधारियों को धाम जाने की अनुमति दी गई है.

रुद्रप्रयाग: द्वितीय केदार भगवान मद्महेश्वर धाम के कपाट खोलने की प्रक्रिया शीतकालीन गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मंदिर में पौराणिक परम्पराओं व रीति-रिवाजों के साथ शुरू हो गई है. भगवान मद्महेश्वर की चल विग्रह उत्सव मूर्तियों को वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ ओंकारेश्वर मंदिर के गर्भ गृह से सभा मंडप पर लाया गया. वहीं सीमित महिलाओं द्वारा भगवान मद्महेश्वर को नए अनाज का भोग अर्पित किया गया.

मद्महेश्वर की भोग मूर्तियां सभामंडप में हुईं विराजमान.

इस दौरान लॉकडाउन के नियमों का सख्ती से पालन किया गया. शुक्रवार यानी आज भी भगवान मद्महेश्वर सभा मंडप में विराजमान रहेंगे. 22 मई को भगवान मद्महेश्वर की डोली ऊखीमठ से अपने धाम के लिए रवाना होगी. जानकारी के मुताबिक इस साल भी लॉकडाउन के कारण भगवान मद्महेश्वर की डोली मंगोलचारी से रांसी तक रथ से जाएगी.

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भगवान मदमहेश्वर के लिए भोग तैयार करती महिलाएं

बता दें कि मद्महेश्वर में भगवान शंकर के मध्य भाग की पूजा होती है. गुरुवार को ओंकारेश्वर मंदिर के प्रधान पुजारी शिव शंकर लिंग, टी गंगाधर लिंग व मद्महेश्वर धाम के प्रधान पुजारी शिव शंकर लिंग द्वारा भगवान ओंकारेश्वर सहित पंचनामा देवी-देवताओं की पूजा-अर्चना कर जलाभिषेक किया. भगवान मदमहेश्वर की चल विग्रह उत्सव भोग मूर्तियों को परंपरागत सभा मंडप पर लाया गया और ब्राह्मण, वेद पाठियों द्वारा पुन भगवान मदमहेश्वर की मूर्तियों की विशेष पूजा की गई.

24 मई को खुलेंगे कपाट

इस बार भी ओंकारेश्वर मंदिर से मंगोलचारी तक परम्परा के मुताबिक पैदल पथ से जाएगी. वहां से रथ से राकेश्वरी मंदिर रांसी पहुंचेगी. 23 मई को भगवान मद्महेश्वर की चल विग्रह उत्सव डोली राकेश्वरी मंदिर रांसी से प्रस्थान कर अंतिम रात्रि प्रवास के लिए गौंडार गांव पहुंचेगी. 24 मई को गौंडार गांव से प्रस्थान कर बनातोली, खटारा, नानौ, मैखम्भा कूनचटटी होते हुए मद्महेश्वर धाम पहुंचेगी. मदमहेश्वर धाम के कपाट परम्परानुसार विधि-विधान से ग्रीष्मकाल के लिए खोल दिए जाएंगे

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देवस्थानम बोर्ड के कार्याधिकारी एनपी जमलोकी ने बताया कि इस बार प्रशासन द्वारा देवस्थानम बोर्ड के आठ अधिकारी-कर्मचारियों तथा 12 हक-हकूकधारियों को धाम जाने की अनुमति दी गई है.

Last Updated : May 21, 2021, 10:22 AM IST
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