पिथौरागढ़: उत्तराखंड में बारिश ने चारों तरफ कहर बरपा रखा है. हर जगह से भयावह तस्वीर सामने आ रही है. कैलाश मानसरोवर यात्रा मार्ग भी पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो चुका है. वहीं गुंजी में ऋषि व्यास मेले में जाने वाले श्रद्धालुओं का एक वीडियो सामने आया है. वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि मेले में जाने के लिए श्रद्धालुओं को मालपा से नजंग के बीच ऐसे रास्ते से गुजरना पड़ा, जहां कभी भी बड़ा हादसा हो सकता था.
बीते दिनों गुंजी में व्यास मेला था, जो तीन दिनों तक चला था. मेले में शिरकत करने के लिए हजारों की संख्या में लोग धारचूला और अन्य जगहों से गुंजी पहुंचे थे, लेकिन अब उनके पास लौटने का सिर्फ ये ही खतरनाक रास्ता बचा हुआ है. भारी संख्या में लोग अपनी जान जोखिम में डालकर धारचूला लौट रहे हैं. मात्र दो फीट का टूटा रास्ता और नीचे रौद्र रूप में बह रही काली नदी. बावजूद इसके लोग ऐसे खतरनाक रास्तों से सफर करने को मजबूर हैं. मेले में जाते वक्त भी कई लोग इसी रास्ते से गए थे. शुक्र इस बात का है कि अभी तक कोई हादसा नहीं हुआ है.
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सरकार ने मेले में लोगों के लिए एक हेलीकॉप्टर भी दिया है, लेकिन खराब मौसम के कारण बीते 5 दिनों से हेलीकॉप्टर उड़ान नहीं भर पाया. आखिरकार लोगों को न चाहते हुए भी ऐसे रास्तों से लौटने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है.
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बता दें कि इस साल गुंजी में होने वाले ऋषि व्यास मेले की स्वर्ण जयंती मनाई जा रही है. जिसमें शिरकत करने के लिए देश भर से भोटिया जनजाति के लोग अपने गांव गुंजी आये हुए हैं. मानसून सीजन में रास्ते खराब होने के कारण जान जोखिम में डालकर ये लोग सफर कर रहे है.