रामनगरः पुलिस ने रामनगर के भूपाल सिंह हत्याकांड (Bhupal Singh Murder Case) में उसके ही पिता और भाई को गिरफ्तार कर लिया है. इससे पहले पुलिस ने भूपाल के परिवार के चार सदस्यों के खिलाफ ही मुकदमा दर्ज कर लिया था. जिसमें भूपाल सिंह के भाई, बहन, माता-पिता के नाम शामिल थे. अब पुलिस ने भूपाल के पिता और भाई को गिरफ्तार कर लिया है. आरोपियों ने भूपाल की बेरहमी से गला रेत कर हत्या कर दी थी.
गौर हो कि बीती 13 जून को रामनगर के सावल्दे पश्चिम में भूपाल सिंह बिष्ट की धारदार हथियार से हत्या कर दी गई थी. इस मामले में अब पुलिस ने उसके पिता और भाई को अरेस्ट किया है. कोतवाल अरुण कुमार सैनी (Kotwal Arun Kumar Saini) ने बताया कि बीती 14 जून को भूपाल सिंह बिष्ट उर्फ रोहित ठाकुर पुत्र मोहन सिंह बिष्ट निवासी सावल्दे पश्चिम रामनगर को उसके परिजन मृत अवस्था में राजकीय संयुक्त चिकित्सालय लाए थे. पुलिस ने जब शव की जांच की तो उसका गला कटा हुआ मिला. जबकि, मामले में मृतक के परिजनों की ओर से पुलिस में कोई तहरीर नहीं दी गई थी.
भूपाल सिंह के परिवार के सदस्यों पर था शक: प्रथम दृष्टया भूपाल सिंह की हत्या उसके परिजनों की ओर से किया जाना प्रकाश में आया. जिस पर पुलिस ने मृतक के परिवार के चार लोगों के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज किया. उन्होंने बताया कि मोहन सिंह पुत्र स्व. जीत सिंह निवासी सावल्दे पश्चिम रामनगर के 3 बच्चे हैं. जिनमें सबसे बड़ा भूपाल सिह बिष्ट दूसरे नंबर का दीपक बिष्ट और तीसरे नंबर की बहन किरन बिष्ट हैं. घर में भूपाल सिंह की माता राधा देवी और ताऊ आनंद सिह भी साथ ही रहते हैं.
परचून/सब्जी की दुकान चलाता था भूपाल सिंहः भूपाल का भाई दीपक बिष्ट राधे हरि डिग्री कॉलेज काशीपुर में संविदा अनुसेवक है. वो कॉलेज कैंपस में ही रहता है. छुट्टी के दिन और शनिवार-रविवार को ही घर आता जाता है. भूपाल सिंह घर के बंगल में ही परचून/सब्जी की दुकान चलाता था. बताया जा रहा है कि वो पिछले तीन सालों से स्मैक पीने का आदी हो गया था और वो घर पर पैसे की डिमांड भी करता था. आरोप है कि पैसे न देने पर घरवालों से गाली गलौज मारपीट भी करता था.
नशा मुक्ति केंद्र से लौटा था भूपाल सिंहः पुलिस के मुताबिक, भोपाल सिंह इस कदर नशे की गिरफ्त में आ चुका था कि उसे अच्छा बुरा कुछ समझ में नहीं आता था. उसके घर वालों ने कई बार उसे नशा मुक्ति केंद्र भेजा था. नशा मुक्ति केंद्र से आने के बाद कुछ दिन ठीक रहता था, फिर नशा करने लग जाता था. बीती 11 जून को भी भूपाल ने शाम के समय घर में झगड़ा किया था. साथ ही अपने ताऊ आनंद सिह के साथ मारपीट कर उनका अंगूठा काट दिया था, जिसमें 5-6 टांके आए थे.
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12 जून को घर पर फिर किया था झगड़ाः वहीं, इस मारपीट मामले में पुलिस ने भूपाल सिंह के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया था. जब घटना की जानकारी भूपाल की बहन किरन ने अपने दूसरे भाई दीपक बिष्ट को दी तो वो 12 जून को रविवार के दिन करीब सुबह 8 बजे काशीपुर से अपने घर सावल्दे पहुंच गया. घर आते ही भूपाल सिंह ने दीपक बिष्ट से झगड़ा किया और उसके साथ मारपीट की. उसके बाद घर से बाजार की तरफ चला गया. भूपाल सिंह ने उस दिन भी शाम को घर में झगड़ा किया था.
चाकू के हमले से भूपाल सिंह की हुई थी मौतः पुलिस की मानें तो दूसरे दिन यानी 13 जून को रात 10 बजे भूपाल सिंह घर पर आया और झगड़ा करने के साथ मारपीट शुरू की. फिर उसके पिता मोहन सिंह, बहन किरन और मां राधा देवी ने भूपाल सिंह के गले पर सब्जी काटने वाले चाकू से 2 प्रहार किए. जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई. उसके बाद सबने मिलकर भूपाल की लाश को अपने घर के गेट से बाहर सड़क पर फेंक दिया.
फंस जाने के डर से शव को पहुंचाया अस्पतालः वहीं, फंस जाने के डर से दुनिया को दिखाने के लिए मोहन सिंह 108 एंबुलेंस बुलाकर भोपाल सिंह की लाश को अस्पताल लेकर गए और उसके शव को सरकारी अस्पताल की मोर्चरी में रखवा दिया. साथ ही दीपक को घर से भगा दिया. अगले दिन दीपक बिष्ट काशीपुर से दोबारा घर वापस आया.
घर से भागने की फिराक में थे आरोपी पिता और भाईः इस घटना के बाद पुलिस मामले ने तफ्तीश शुरू की. साथ ही आरोपियों की तलाश शुरू की. जांच के दौरान पुलिस को दाल में कुछ काला नजर आया और परिजनों के खिलाफ ही केस दर्ज कर लिया. इसी कड़ी में पुलिस ने मोहन सिंह और दीपक बिष्ट को सावल्दे में उनके घर के बाहर से गिरफ्तार किया है. बताया जा रहा कि वो भागने की फिराक में थे. उनके पास से चाकू भी बरामद कर लिया गया है. अब पुलिस दोनों आरोपियों को जेल भेज दिया है.