हल्द्वानी: एमबीपीजी कॉलेज में सोमवार को छात्र नेता धरने पर बैठने को लेकर अड़ गए थे. हालांकि पुलिस ने उन्हें काफी समझाने का प्रयास किया, लेकिन जब छात्र नेता नहीं माने तो पुलिस ने हल्का बल प्रयोग करके उन्हें वहां से भगा दिया.
कुमाऊं के सबसे बड़े एमबीपीजी कॉलेज में बीए और बीकॉम की सीटें बढ़ाए जाने की मांग को लेकर छात्र नेता पिछले कई दिनों से आंदोलन कर रहे हैं. सोमवार को छात्र नेता धरने पर बैठने की जिद करने लगे. लेकिन पुलिस-प्रशासन ने कोविड-19 का हवाला देते हुए गेट के बाहर धरने पर बैठने से मना कर दिया. जिसके बाद छात्र नेता कॉलेज परिसर के अंदर धरने पर बैठने की जिद पर अड़े रहे. लेकिन पुलिस ने उन्हें वहां भी बैठने नहीं दिया. जिसके बाद छात्र नेताओं ने प्राचार्य के चेंबर में जाकर जमकर बवाल करना शुरू कर दिया. जिसके बाद पुलिस को मजबूरन डंडे फटकार कर छात्र नेताओं को वहां से भगाना पड़ा. इस दौरान कॉलेज में करीब दो घंटे तक अराजकता का माहौल बना रहा.
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पुलिस प्रशासन ने छात्रों को समझा-बुझाकर सिटी मजिस्ट्रेट से परमिशन के बाद ही धरने पर बैठने की अनुमति देने की बात कही. जिसके बाद छात्र नेता अब सिटी मजिस्ट्रेट से परमिशन की मांग कर रहे हैं. छात्र नेताओं का कहना है कि बीए प्रथम वर्ष के लिए करीब 4,000 छात्रों ने ऑनलाइन पंजीकरण कराए थे, लेकिन मात्र 1,300 छात्रों को एडमिशन दिया गया. करीब 1,600 पंजीकृत छात्र भी एडमिशन से वंचित रह गए. इसके अलावा ढाई हजार से अधिक छात्र-छात्राएं ऑनलाइन पंजीकरण नहीं करा सके. ऐसे में इन सभी छात्रों को एडमिशन दिया जाए.
एमबीपीजी कॉलेज के प्राचार्य बीआर पंत का कहना है कि सीटें बढ़ाए जाने का अधिकार कॉलेज प्रशासन के पास नहीं है. ये अधिकार शासन के पास ही है. किसी तरह से कॉलेज परिसर में अराजकता का माहौल पैदा नहीं होने दिया जाएगा. जिस तरह से सोमवार को छात्र नेताओं ने कॉलेज परिसर और उनके चेंबर में अराजकता का माहौल पैदा किया है उसकी पूरी वीडियो रिकॉर्डिंग की गई है. वीडियो रिकॉर्डिंग के साथ पुलिस प्रशासन को तहरीर दी जाएगी.