नैनीताल: उत्तराखंड हाईकोर्ट ने पूर्व के आदेश का पालन नहीं करने पर नगर पालिका चेयरमैन श्रीनगर की याचिका पर आज सुनवाई की. इस मामले को सुनने के बाद वरिष्ठ न्यायमूर्ति संजय कुमार मिश्रा की एकलपीठ ने सचिव शहरी विकास, जिला अधिकारी पौड़ी, निदेशक एवं एसडीएम पौड़ी को अवमानना का नोटिस जारी (contempt notice to secretary and DM) कर 14 अक्टूबर तक जवाब पेश करने को कहा है. ऐसे में अब इस मामले की सुनवाई अब 14 अक्टूबर को नियत की है.
जानकारी के मुताबिक, नगर पालिका की चेयरमैन पूनम तिवारी ने अवमानना याचिका दायर कर कहा है कि राज्य सरकार ने 31 दिसंबर 2021 को अधिसूचना जारी कर श्रीनगर पालिका को नगर निगम बनाने का निर्णय लिया और 3 जनवरी 2022 को नगर पालिका को भंग कर दिया. ऐसे में सरकार के इस आदेश को उनके द्वारा माननीय उच्च न्यायलय में याचिका दायर कर चुनोती दी गई. जिसके बाद माननीय उच्च न्यायलय ने 13 जनवरी 2022 को सरकार के नगर पालिका को भंग करने के आदेश पर रोक लगा दी. परन्तु सरकार ने कोर्ट के आदेश होने के बाद भी जिला अधिकारी को प्रशासक नियुक्त कर दिया.
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वहीं, इसी बीच प्रशासक द्वारा टेंडर करा दिये गये. लेकिन हाईकोर्ट की रोक के बाद चेयरमैन को वित्तीय पावर नहीं सौंपी. चेयरमैन ने अपनी अवमानना याचिका में कहा है कि इन अधिकारियों के खिलाफ अवमानना की कार्रवाई की जाए. नैनीताल हाईकोर्ट ने इस मामले की सुनवाई के बाद सचिव शहरी विकास, जिला अधिकारी पौड़ी, निदेशक व एसडीएम पौड़ी को अवमानना का नोटिस जारी करते हुए 14 अक्टूबर को जवाब पेश करने के आदेश दिये हैं.