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मजदूर संघ ने IMPCL के अधिकारियों पर लगाए गंभीर आरोप, आत्मदाह की दी धमकी

मजदूर संघ के अध्यक्ष ने आईएमपीसीएल के कर्मचारियों पर गंभीर आरोप लगाया है. उन्होंने कहा कि कंपनी में ठेका श्रमिक और ट्रांसपोर्टरों के साथ हुए घोटाले से कंपनी की हालत खराब होती जा रही है.

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मजदूर संघ ने IMPCL के अधिकारियों पर लगाए गंभीर आरोप
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Published : Jan 28, 2020, 5:29 PM IST

Updated : Jan 28, 2020, 10:23 PM IST

रामनगर: क्षेत्र के मोहान नगर में स्थित आईएमपीसीएल के अधिकारियों पर मजदूर संघ के अध्यक्ष ने गंभीर आरोप लगाए हैं. मजदूर संघ के अध्यक्ष रेविराम ने कहा कि घोटाले की वजह से कंपनी की हालत खराब होती जा रही है. उन्होंने कहा कि मजदूरों की मांग पूरी नहीं होती तो वे 18 फरवरी को आत्मदाह करेंगे.

मजदूर संघ ने IMPCL के अधिकारियों पर लगाए गंभीर आरोप

बता दें कि रामनगर के पास मोहान में केंद्र सरकार की इण्डियन मेडिसिन फार्मास्युटिकल कॉर्पोरेशन लिमिटेड (आईएमपीसीएल ) स्थापित की गई थी. मजदूर संघ के अध्यक्ष रेविराम ने बताया कि भारत सरकार द्वारा आईएमपीसीएल को जिस आधार पर खोला गया था, वह इन दिनों खत्म हो गया है. कंपनी में बहुत सारे घोटाले हो चुके है. उन्होंने बताया कि ठेका श्रमिक, ट्रांसपोर्टरों के साथ घोटाला हुआ है.

मजदूर संघ अध्यक्ष की प्रमुख मांगे.

  • 1990 से बैकलॉग पोस्ट को भरा जाए.
  • 2008 में पीएफ घोटाला से संबंधित मजदूरों के खाते में भुगतान किया जाए.
  • मशीनों की खरीद फरोख्त में घोटाले की जांच की जाए.
  • मशीनों की खरीद फरोख्त में घोटाले की जांच आदि, कई मांगे हैं.

ये भी पढ़ें:रामनगरः प्रवासी पक्षियों की चहचहाट से गुलजार हुआ कॉर्बेट पार्क, बर्ड लवर्स के खिले चेहरे

मजदूर संघ के अध्यक्ष रेविराम ने कहा कि आईएमपीसीएल का पार्ट टू हरिद्वार में खोला गया है, उसका किराया पांच से छह लाख होना चाहिए, लेकिन कागजों में उसका किराया 20 लाख से अधिक बताया गया है. इस दौरान उन्होंने साल 2016 में प्रमोशन के लिए हुए संशोधन को लागू करने की मांग की है.

रामनगर: क्षेत्र के मोहान नगर में स्थित आईएमपीसीएल के अधिकारियों पर मजदूर संघ के अध्यक्ष ने गंभीर आरोप लगाए हैं. मजदूर संघ के अध्यक्ष रेविराम ने कहा कि घोटाले की वजह से कंपनी की हालत खराब होती जा रही है. उन्होंने कहा कि मजदूरों की मांग पूरी नहीं होती तो वे 18 फरवरी को आत्मदाह करेंगे.

मजदूर संघ ने IMPCL के अधिकारियों पर लगाए गंभीर आरोप

बता दें कि रामनगर के पास मोहान में केंद्र सरकार की इण्डियन मेडिसिन फार्मास्युटिकल कॉर्पोरेशन लिमिटेड (आईएमपीसीएल ) स्थापित की गई थी. मजदूर संघ के अध्यक्ष रेविराम ने बताया कि भारत सरकार द्वारा आईएमपीसीएल को जिस आधार पर खोला गया था, वह इन दिनों खत्म हो गया है. कंपनी में बहुत सारे घोटाले हो चुके है. उन्होंने बताया कि ठेका श्रमिक, ट्रांसपोर्टरों के साथ घोटाला हुआ है.

मजदूर संघ अध्यक्ष की प्रमुख मांगे.

  • 1990 से बैकलॉग पोस्ट को भरा जाए.
  • 2008 में पीएफ घोटाला से संबंधित मजदूरों के खाते में भुगतान किया जाए.
  • मशीनों की खरीद फरोख्त में घोटाले की जांच की जाए.
  • मशीनों की खरीद फरोख्त में घोटाले की जांच आदि, कई मांगे हैं.

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मजदूर संघ के अध्यक्ष रेविराम ने कहा कि आईएमपीसीएल का पार्ट टू हरिद्वार में खोला गया है, उसका किराया पांच से छह लाख होना चाहिए, लेकिन कागजों में उसका किराया 20 लाख से अधिक बताया गया है. इस दौरान उन्होंने साल 2016 में प्रमोशन के लिए हुए संशोधन को लागू करने की मांग की है.

Intro:intro.-रामनगर के पास मोहान में स्थापित केंद्र सरकार की इंडियन मेडिसिन फार्मास्युटिकल्स कॉरपोरेशन लिमिटेड के मजदूर संघ के अध्यक्ष रेवीराम ने कर्मचारियों के हितों की मांगो को ना मनाने पर दी आत्मदाह की धमकी।
Body:vo.-रामनगर के पास मोहान में स्थापित केंद्र सरकार की इंडियन मेडिसिन फार्मास्युटिकल्स कॉरपोरेशन लिमिटेड के मजदूर संघ के अध्यक्ष रेवीराम ने impcl के अधिकारियों पर कई अनिमितताओं का आरोप लगाते हुए कहा कि भारत सरकार द्वारा आईएमपीसीएल को जिस बेस से खोला गया था वह बेस आज खत्म हो गया है। और वहां पर बहुत सारे घोटाले हो चुके हैं, जिन घोटालों की वजह से कंपनी की हालत दिनोंदिन खराब होती जा रही है। यहां पर ठेका श्रमिकों का पैसा खाया गया है, ट्रांसपोर्टरों का पैसा खाया गया है, रेवि राम ने कहा जो आईएमपीसीएल का पार्ट टू हरिद्वार में खोला गया है, उसका किराया ज्यादा से ज्यादा पांच से छह लाख होना चाहिए पर कागजों में उसका किराया 20 लाख से ऊपर दर्शाया गया है।इसकी जांच हो, भस्टाचार मुक्त impcl हो,उन्होंने कहा 2016 में सचिवालय में एक समझौता हुआ था,वो समझौते को अभी तक लागू नही किया है, और भी मुख्य मांगे ल,प्रमोशन के लिए 2016 में एक संशोधन पास हुआ था जो अभी तक लागू नहीं हुआ|
1990 से बैकलॉग पोस्ट खाली है जो अभी तक नहीं भरी गई है|
2008 में पीएफ घोटाला जो ठेका श्रमिकों के साथ हुआ था,कंपनी ने ठेकेदार के खाते में पूर्व में 1करोड़ 25लाख कंपनी को दे दिया गया था, जो मजदूरों को नही दिया गया,और पुनः 1करोड़ 12 लाख फिर कंपनी द्वारा ठेकेदार के उसमे डाल दिया गया है, जिसका भुकतान अभी भी मजदूरों को नही हुआ है|
मशीनों की खरीद फरोख्त में घोटाले की जांच आदी, कई मांगे है।रेवी राम ने कहा अगर ये मांगे नही मानी गयी तो 18फरवरी को में आत्मदाह कर लूंगा।

Byte-रेवी राम(अध्यक्ष)Conclusion:
Last Updated : Jan 28, 2020, 10:23 PM IST
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