हल्द्वानी: उत्तराखंड के नैनीताल जिले में युवक को 14 महीने उस अपराध के लिए जेल में रहना पड़ा, जो उसने कभी किया ही नहीं था. युवक पर नाबालिग से रेप करने और उसके जान की मारने की धमकी का आरोप लगा था, लेकिन विशेष न्यायाधीश पॉक्सो नंदन सिंह की कोर्ट ने सबूतों के अभाव और गवाहों के बयानों पर उसे दोषमुक्त कर दिया. 14 महीने जेल में रहने के बाद कोर्ट के आदेश पर युवक को रिहा किया गया.
युवक के अधिवक्ता न्याय मित्र राजन मेहरा ने बताया कि मामला 8 जून 2021 का है. दरअसल, काठगोदाम थाना क्षेत्र में रहने वाले एक परिवार ने आरोप लगाया था कि युवक ने उनकी 15 साल की बेटी के साथ दुष्कर्म किया है और बाद में उसे जान से मारने की धमकी दी है.
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पुलिस ने पीड़िता परिवार की तहरीर पर युवक के खिलाफ 376, पॉक्सो एक्ट, 506 और 366 समेत विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज कर किया था. पुलिस के युवक को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था. बीते 14 महीने से युवक जेल में ही थी.
पूरे मामले में न्यायालय में चल रहे मुकदमे में फॉरेंसिक रिपोर्ट और गवाहों से पूछताछ में मामला दुष्कर्म का साबित नहीं हो पाया, जिसके बाद न्यायालय ने आरोपी युवक को दोषमुक्त करार दिया है. अधिवक्ता राजन मेहरा ने बताया कि युवक 14 महीने जेल में रहने के बाद युवक रिहा हुआ है. न्यायालय के आदेश के बाद युवक को जेल से रिहा कर दिया गया है.