नैनीताल: आजादी के 75 वें स्वतंत्रता दिवस के उपलक्ष में भारतीय सेना के द्वारा नैनीताल में शुक्रवार को अमृत महोत्सव कार्यक्रम का आयोजन किया गया. कार्यक्रम का शुभारंभ थल सेना के मेजर जनरल चरण जीत सिंह देवगन ने किया. कार्यक्रम में एनसीसी कैडेट्स के द्वारा मार्च पास और सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन भी किया गया. इस दौरान 14 डोगरा रेजीमेंट के जवानों ने पाइप बैंड, ताइक्वांडो, युद्धाभ्यास, दुश्मन से खुद की सुरक्षा को लेकर डेमो प्रस्तुत किया. इस डेमो को दर्शकों ने खूब पसंद किया.
इस दौरान आदर्श अटल बालिका इंटर कालेज की छात्राओं ने देश भक्ति व उत्तराखंड की संस्कृति पर आधारित कार्यक्रम की प्रस्तुति दी. सेना के जवानों ने भी हिमाचली, पंजाबी गानों पर विभिन्न कार्यक्रम पेश किए. मेजर जनरल चरणजीत सिंह ने हरी झंडी दिखाकर सेना के साइकिल व मोटर साइकिल सवारों को अल्मोड़ा व बागेश्वर के लिए रवाना किया. ये सवार ग्रामीण क्षेत्रों में ट्रैकिंग,जागरूकता, स्वच्छता, कोरोना से जगरूकता को लेकर अभियान चलाएंगे.
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डोगरा रेजिमेंट का पाइप बैंड रहा आकर्षण का केंद्र: कार्यक्रम के दौरान 14 डोगरा रेजिमेंट का पाइप बैंड मुख्य आकर्षण का केंद्र रहा. जवानों ने कुमाउंनी, हिमाचली, देश भक्ति गीतों पर आकर्षक प्रस्तुतियां दीं. इस दौरान एनसीसी केडेट्स व सेना के जवानों ने नैनीझील में कयाकिंग, सेलिंग, पुलीग बोट से नौकायन किया. सेना के कार्यक्रम में शिरकत करने के बाद पूर्व सैनिक जीवन सिंह ने कहा देशभर में इस तरह के आयोजन होते रहने चाहिए. इस तरह के कार्यक्रमों से युवाओं में देश भक्ति का जज्बा बढ़ता है.
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इस दौरान सेना के द्वारा शिक्षा के क्षेत्र में अटल आदर्श उत्कृष्ट बालिका इंटर कॉलेज की प्रधानाचार्या सावित्री दुग्ताल, कमांडर डीके सिंह, कर्नल अशोक सिंह, कैप्टन रितेश साह, पूर्व ओलंपिक खिलाड़ी राजेन्द्र रावत को समानित भी किया गया. इसके बाद डीएसबी कॉलेज के निदेशक को हॉकी किट देकर सम्मानित किया गया.
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बता दें भारत की आजादी की 75वीं सालगिरह के अवसर पर मनाए जाने वाले 'आजादी का अमृत महोत्सव' में लोगों की वृहद भागीदारी सुनिश्चित करने व जागरूकता के लिए सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने नवोन्मेषी कार्यक्रमों की श्रृंखला तैयार की है. ताकि इस महोत्सव को 'जनभागीदारी' और 'जन आंदोलन' की भावना के साथ मनाया जाए. देश की अदम्य भावना के उत्सव दिखाने वाले सांस्कृतिक कार्यक्रम इसके लिए आयोजित किए जा रहे हैं. इनमें संगीत, नृत्य, प्रवचन, प्रस्तावना पठन (प्रत्येक पंक्ति देश के विभिन्न क्षेत्रों का प्रतिनिधित्व करने वाली विभिन्न भाषाओं में) शामिल हैं. यह कार्यक्रम 15 अगस्त 2023 तक जारी रहेंगे.
इसका मकसद क्या है?
इसका मकसद गर्व के उन पलों को याद करना है, जिनसे भारत की आजादी का इतिहास जुड़ा है. साथ ही डिजिटल तरीके से राष्ट्रगान को एक साथ ज्यादा से ज्यादा संख्या में गाना भी इसका मकसद है. इस बार जो भी वीडियो रिकॉर्ड होंगे, उनका प्रदर्शन लाल किले पर और एयरपोर्ट पर होगा. इसीलिए राष्ट्रगान का कार्यक्रम सरकार ने देश की जनता के सामने रखा है.