हरिद्वार: धर्म नगरी हरिद्वार में मेट्रो के कुछ अधिकारियों ने अपर रोड का निरीक्षण किया. इस दौरान अधिकारियों ने प्रांतीय उद्योग व्यापार मंडल के जिलाध्यक्ष डॉ. नीरज सिंघल और जिला महामंत्री संजय त्रिवाल से अपर रोड के बीचों-बीच मेट्रो के पिलर खड़े करने की बात हुई. जैसे ही यह बात व्यापारियों को पता लगी, उन्होंने विरोध करना शुरू कर दिया.
डॉ. नीरज सिंघल ने कहा कि यहां मेट्रो लाइन के लिए बड़े पैमाने पर तोड़फोड़ करनी होगी. इसके लिए पटरी व्यापारियों को वहां से हटाना पड़ सकता है. ऐसे में ऐसा मेट्रो प्रोजेक्ट किस काम का, जिससे हमारे पटरी व्यापारियों की रोजी-रोटी ही छिन जाए. उन्होंने बताया कि अगर यहां से मेट्रो रूट निकलेगा तो करीब 25 हजार दुकानदारों के समक्ष आर्थिक संकट खड़ा हो जाएगा.
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वहीं, जिला महामंत्री संजय त्रिवाल का कहना है कि सड़क के दोनों किनारे पहले ही अंडरग्राउंड बिजली की लाइन बिछाई गई हैं और उसी के बराबर में गैस की पाइप लाइन भी बिछी है. इसके अलावा सड़क के बीचों-बीच सीवर लाइन भी डाली गई है. ऐसे में अब अगर मेट्रो प्रोजेक्ट के लिए तोड़फोड़ किया जाएगा तो व्यापारियों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है. उन्होंने कहा कि वे मेट्रो प्रोजेक्ट का स्वागत करते हैं, लेकिन व्यापारियों को दिक्कत हो ये कतई बर्दाश्त नहीं करेंगे.
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उधर व्यापारियों की मांग है कि मेट्रो इस रूट की बजाय बाईपास से संचालित की जाए. उनका विरोध मेट्रो को लेकर नहीं है, बल्कि उन्हें यहां से हटाने को लेकर है. व्यापारियों का कहना है कि मेट्रो का रूट ऐसा होना चाहिए, जिससे व्यापारियों को किसी प्रकार का नुकसान ना हो. वहीं, हरिद्वार SDM गोपाल सिंह रावत का कहना है कि अभी तक इस मामले में उन्हें कोई जानकारी नहीं है और ना ही इस प्रोजेक्ट के बारें में उन्हें बताया गया है.