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बारिश ने बढ़ाई किसानों की टेंशन, लेट हुई गेहूं की बुवाई

लगातार हो रही बारिश से किसानों के गेहूं की फसल पर खतरा मंडरा रहा है. किसानों की बुवाई तय समय से 15 दिन लेट हो गई है.

laksar rain update, लक्सर बारिश समाचार
लगातार हो रही बारिश से बढ़ाई किसानों की चिंता.
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Published : Dec 14, 2019, 3:23 PM IST

Updated : Dec 14, 2019, 4:23 PM IST

लक्सर: प्रदेश में बारिश और बर्फबारी से ठंड बढ़ गई है. वहीं, भारी बारिश को लेकर किसानों के माथे पर चिंता की लकीरें साफ नजर आ रही है. बारिश की वजह से किसान गेहूं की फसल की बुवाई नहीं कर पा रहे हैं. जहां किसान चार हजार हेक्टेयर पर गेहूं की बुवाई करते हैं, वहीं बारिश से दो हजार हेक्टेयर की बुवाई भी नहीं कर पा रहे हैं.

लगातार हो रही बारिश से बढ़ाई किसानों की चिंता.

गन्ने की कटाई करने के बाद किसानों को गेहूं की फसल की बुवाई होती है. दो दिनों से हो रही बारिश के चलते किसान गेहूं की बुवाई नहीं कर पा रहे हैं. जिससे किसानों के चेहरे पर चिंता की लकीरें साफ देखी जा सकती है. वहीं, बारिश से खेतों में पानी भर गया है.

किसानों को न केवल अपनी फसलों पर कीटनाशक का छिड़काव करना होता है, बल्कि फसलों को जंगली जानवर से भी बचाना होता है. बारिश की वजह से किसानों का खेती का खर्च बढ़ सकता है.

यह भी पढ़ें-बर्फ से लकदक हुई देवभूमि की हसीन वादियां, ऐसा रहेगा मौसम का मिजाज

वहीं, जो खेत गेहूं की बुवाई के लिए तैयार थे, वे लगभग 15 दिन लेट हो गई है. किसानों का साफ तौर से कहना है कि अच्छी पैदावार के लिए गेहूं की बुवाई जल्द करनी होती है. गेहूं की बुवाई लेट होने से पैदावार में गिरावट आ जाती है.

लक्सर: प्रदेश में बारिश और बर्फबारी से ठंड बढ़ गई है. वहीं, भारी बारिश को लेकर किसानों के माथे पर चिंता की लकीरें साफ नजर आ रही है. बारिश की वजह से किसान गेहूं की फसल की बुवाई नहीं कर पा रहे हैं. जहां किसान चार हजार हेक्टेयर पर गेहूं की बुवाई करते हैं, वहीं बारिश से दो हजार हेक्टेयर की बुवाई भी नहीं कर पा रहे हैं.

लगातार हो रही बारिश से बढ़ाई किसानों की चिंता.

गन्ने की कटाई करने के बाद किसानों को गेहूं की फसल की बुवाई होती है. दो दिनों से हो रही बारिश के चलते किसान गेहूं की बुवाई नहीं कर पा रहे हैं. जिससे किसानों के चेहरे पर चिंता की लकीरें साफ देखी जा सकती है. वहीं, बारिश से खेतों में पानी भर गया है.

किसानों को न केवल अपनी फसलों पर कीटनाशक का छिड़काव करना होता है, बल्कि फसलों को जंगली जानवर से भी बचाना होता है. बारिश की वजह से किसानों का खेती का खर्च बढ़ सकता है.

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वहीं, जो खेत गेहूं की बुवाई के लिए तैयार थे, वे लगभग 15 दिन लेट हो गई है. किसानों का साफ तौर से कहना है कि अच्छी पैदावार के लिए गेहूं की बुवाई जल्द करनी होती है. गेहूं की बुवाई लेट होने से पैदावार में गिरावट आ जाती है.

Intro:लोकेशन ---लक्सर उत्तराखंड
संवादाता--- कृष्णकांत शर्मा लक्सर
सलग-- लक्सर बारिश से बढ़ी ठंड किसान परेशान
एंकर-- लक्सर में 2 दिन की भारी बारिश और पहाड़ों में ओलावृष्टि होने से मौसम में गिरावट आने के साथ ठंड बढ़ गई है वहीं दूसरी ओर हुई बारिश को लेकर भी किसानों के माथे पर चिंता की लकीरें साफ नजर आ रही है
Body:
आपको बता दें लक्सर क्षेत्र में करीब चार हजार हेक्टेयर के लगभग इस बार किसानों ने गेहूं की फसल बोनी थी जिससे कि किसानों ने इस बार लगभग दो हजार हेक्टेयर ही लगभग गेहूं की फसल को बो पाए हैं गन्ने की कटाई करने के बाद किसानों को गेहूं की फसल को बोना होता हैं लेकिन 2 दिन की भारी बारिश से जहां गेहूं की फसलों में पानी भर गया है वही किसानों को केवल अपनी फसल को कीटनाशक छिड़काव करने के साथ जहां जंगली जानवर से बचाने के लिए अपनी पूरी मेहनत के साथ सारी जमा पूंजी दाव पर लगानी पड़ती है वहीं गेहूं की बुवाई के लिए भी खेत तैयार थे जिनकी बुवाई किसानों को करनी थी अब वह बुवाई लगभग 15 दिन के लिए लेट हो गई है लक्सर में मौसम के बिगड़ते मिजाज को लेकर किसानों के चेहरे पर चिंता की लकीरें पड़ने लगी है साथ ही किसानों का साफ तौर से कहना है कि अच्छी पैदावार के लिए गेहूं की बुवाई अगेती करनी होती है जिससे अब दो दिन की भारी बारिश पड़ने से अब बुवाई 15 दिन के लगभग लेट हो गई है गेहूं की बुवाई लेट होने से गेहूं की पैदावार मैं गिरावट हो जाती है जिसको लेकर किसान काफी चिंतित है Conclusion:आसमान की ओर देखते हुए किसान दिन-रात भगवान से यही प्रार्थना कर रहे हैं कि मौसम का मिजाज सही रहे ताकि उन्होंने जो खून पसीने से फसल उगाई है उसकी पैदावार अच्छी हो और उसका उचित मूल्य उन्हें मिल सके

Byet-- किसान

Byet-- किसान
Last Updated : Dec 14, 2019, 4:23 PM IST
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