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प्रदेश में लोकायुक्त की नियुक्ति को लेकर चलाया गया हस्ताक्षर अभियान, कई लोगों ने दिया समर्थन

प्रदेश में लोकायुक्त की नियुक्त की मांग को लेकर देहरादून के गांधी पार्क में हस्ताक्षर अभियान चलाया गया. इस अभियान को कई लोगों ने समर्थन दिया.

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देहरादून में हस्ताक्षर अभियान.
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Published : Dec 14, 2019, 5:58 PM IST

देहरादून: प्रदेश में लोकायुक्त की नियुक्ति की मांग अब तूल पकड़ने लग गई है. इसी कड़ी मे राज्य आन्दोलनकारी मंच ने राज्य मे बढ़ते भ्रष्टाचार पर रोक लगाने के लिए सशक्त लोकायुक्त कानून लागू करने की मांग करते हुए गांधी पार्क में हस्ताक्षर अभियान चलाया. इस अभियान के तहत कवि, वरिष्ठ जन, मातृ शक्ति, छात्र-छात्राओं ने समर्थन दिया.

देहरादून में हस्ताक्षर अभियान.

हस्ताक्षर अभियान के दौरान लोकायुक्त कानून के पक्ष में कई लोगों ने हस्ताक्षर कर इस अभियान को समर्थन दिया. राज्य आन्दोलनकारी मंच के प्रदेश अध्यक्ष जगमोहन नेगी और जिला अध्यक्ष प्रदीप कुकरेती ने बताया कि विधानसभा में जिस प्रकार कैग की रिपोर्ट प्रस्तुत की गई है और उसमें करोड़ों रुपये का घोटाला सामने आया है. उससे प्रदेश को शर्मसार होना पड़ रहा है. प्रदेश में हो रहे भ्रष्टाचार से बचने का एक ही उपाय है कि राज्य में लोकायुक्त की नियुक्ति अविलंब की जाए.

ये भी पढ़ें: उत्तराखंड में फिर डोली धरती, चमोली और रुद्रप्रयाग में महसूस किए गए भूकंप के झटके

राज्य आंदोलनकारियों का ये भी कहना है कि प्रदेश में लोकायुक्त कार्यालय वर्षों से खुला हुआ हैं. साथ ही कर्मचारियों को मुफ्त की तनख्वाह बांटी जा रही है. लेकिन, जस्टिस घिल्डियाल के बाद आज तक कोई भी लोकायुक्त के पद पर आसीन नहीं हुआ है. इसी भाजपा सरकार ने लोकायुक्त कानून लागू करने की घोषणा की थी, लेकिन आज तक उस कानून का कोई पता नहीं है.

क्या होता है लोकायुक्त
लोकायुक्त भारत के राज्यों द्वारा गठित की गई एक भ्रष्टाचाररोधी संस्था है. इसका कार्यकाल आठ साल का होता है. साथ ही लोकायुक्त अध्यक्ष के रूप में राज्य के हाईकोर्ट का रिटायर्ड जज या राज्य का मुख्य न्यायधीश हो सकता है. लोकायुक्त अध्यक्ष की नियुक्ति मुख्यमंत्री द्वारा की जाती है.

देहरादून: प्रदेश में लोकायुक्त की नियुक्ति की मांग अब तूल पकड़ने लग गई है. इसी कड़ी मे राज्य आन्दोलनकारी मंच ने राज्य मे बढ़ते भ्रष्टाचार पर रोक लगाने के लिए सशक्त लोकायुक्त कानून लागू करने की मांग करते हुए गांधी पार्क में हस्ताक्षर अभियान चलाया. इस अभियान के तहत कवि, वरिष्ठ जन, मातृ शक्ति, छात्र-छात्राओं ने समर्थन दिया.

देहरादून में हस्ताक्षर अभियान.

हस्ताक्षर अभियान के दौरान लोकायुक्त कानून के पक्ष में कई लोगों ने हस्ताक्षर कर इस अभियान को समर्थन दिया. राज्य आन्दोलनकारी मंच के प्रदेश अध्यक्ष जगमोहन नेगी और जिला अध्यक्ष प्रदीप कुकरेती ने बताया कि विधानसभा में जिस प्रकार कैग की रिपोर्ट प्रस्तुत की गई है और उसमें करोड़ों रुपये का घोटाला सामने आया है. उससे प्रदेश को शर्मसार होना पड़ रहा है. प्रदेश में हो रहे भ्रष्टाचार से बचने का एक ही उपाय है कि राज्य में लोकायुक्त की नियुक्ति अविलंब की जाए.

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राज्य आंदोलनकारियों का ये भी कहना है कि प्रदेश में लोकायुक्त कार्यालय वर्षों से खुला हुआ हैं. साथ ही कर्मचारियों को मुफ्त की तनख्वाह बांटी जा रही है. लेकिन, जस्टिस घिल्डियाल के बाद आज तक कोई भी लोकायुक्त के पद पर आसीन नहीं हुआ है. इसी भाजपा सरकार ने लोकायुक्त कानून लागू करने की घोषणा की थी, लेकिन आज तक उस कानून का कोई पता नहीं है.

क्या होता है लोकायुक्त
लोकायुक्त भारत के राज्यों द्वारा गठित की गई एक भ्रष्टाचाररोधी संस्था है. इसका कार्यकाल आठ साल का होता है. साथ ही लोकायुक्त अध्यक्ष के रूप में राज्य के हाईकोर्ट का रिटायर्ड जज या राज्य का मुख्य न्यायधीश हो सकता है. लोकायुक्त अध्यक्ष की नियुक्ति मुख्यमंत्री द्वारा की जाती है.

Intro:प्रदेश में लोकायुक्त की नियुक्ति की मांग तूल पकड़ने लग गई है। इसी कड़ी मे राज्य आन्दोलनकारी मंच ने राज्य मे बढ़ते भ्रष्टाचार पर रोक लगाने के लिए सशक्त लोकायुक्त कानून लागू करने क़ी मांग को लेकर गांधी पार्क में हस्ताक्षर अभियान चलाया। Body:हस्ताक्षर अभियान के दौरान लोकायुक्त कानून के पक्ष मेँ जनकवि , वरिष्ठ जन , मातृ शक्ति , छात्र छात्रायें व युवाओं ने हस्ताक्षर कर इस अभियान को समर्थन दिया। राज्य आन्दोलनकारी मंच के प्रदेश अध्यक्ष जगमोहन नेगी और जिला अध्यक्ष प्रदीप कुकरेती ने कहा कि विधान सभा मेँ जिस प्रकार केग क़ी रिपोर्ट प्रस्तुत क़ी गई ओर उसमें करोडो का घोटाला सामने आया उससे प्रदेश को शर्मसार होना पड़ रहा है़। प्रदेश में हो रहे भ्रष्टाचार से बचने का एक ही उपाय हैं कि राज्य में लोकायुक्त की नियुक्ति अविलंब की जाए
Conclusion:राज्य आंदोलनकारियों का यह भी कहना है कि प्रदेश मेँ लोकायुक्त कार्यालय वर्षो से खुला हुआ हेँ ओर कर्मचारियों को मुफ्त तनख्वाह बांट रहे हैं परन्तु जस्टिस घिल्डियाल के बाद आज तक कोई भी लोकायुक्त के पद पर आसीन नहीं हुआ है। इसी भाजपा सरकार ने लोकायुक्त कानून लागू करने क़ी घोषणा क़ी थी परन्तु आज तक उस कानून का अता पता नही है।
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