देहरादून: कोरोना महामारी को लेकर वैश्विक स्तर पर लगातार रिसर्च चल रही है. दुनिया में कोरोना वायरस के चलते स्वास्थ्य सेवाएं भी काफी हद तक बदलती दिख रही हैं. इसी के तहत भविष्य के डॉक्टरों को शायद इसीलिए अभी से ही डॉक्टरी की पढ़ाई में इस बीमारी की सभी बारीकियों से रूबरू कराया जा रहा है. इतना ही नहीं भविष्य के इन डॉक्टरों को कोविड-19 की हर नई रिसर्च को समझाने का प्रयास किया जा रहा है.
कोरोना वायरस की वजह से हर एक चीज बदल गई है, जिसमें मेडिकल फील्ड भी शामिल है. इस महामारी के मद्देनजर अब अस्पतालों में प्रवेश से लेकर ऑपरेशन थियेटर की टेबल तक में खासा बदलाव हो गया है. ये बदलाव अस्पतालों के बाहर सैनिटाइजर की बोतल या पीपीई किट में बंद मेडिकल स्टाफ तक सीमित नही है, बल्कि मरीजों के इलाज से पहले दी जाने वाली जानकारियों और शारारिक जांच तक में कोरोना ने दस्तक दी है. यही कारण है कि डॉक्टर्स की सलाह इंसानी जिंदगी का पहला हिस्सा बन चुका है.
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उधर एजुकेशन में ऑनलाइन क्लास के जरिए इन दिनों कोरोना वायरस से संबंधित स्पेशल क्लासेस चलाई जा रही है. दरअसल, वैश्विक स्तर पर माना जा रहा है कि कोरोना की वैक्सीन नहीं बनने पर इंसान को इसके साथ ही जीना सीखना होगा. ऐसे में कोविड-19 के चलते मेडिकल में कई बदलाव देखने को मिल सकते हैं. इसी को देखते हुए मेडिकल के छात्रों को कोरोना महामारी की बारीकियों की जानकारी दी जा रही है.
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वहीं, कोरोना का भविष्य कब तक है. ये कोई भी अनुमान नहीं लगा सकता. लिहाजा भविष्य के डॉक्टरों को इस महामारी के क्षेत्र में ज्ञान बढ़ाना बेहद जरूरी है. इसी जरूरत को देखते हुए दून मेडिकल कॉलेज में ऑनलाइन लेक्चर के लिए, प्रदेश के सभी डॉक्टरों को बुलाया गया है, ताकि सभी इस लेक्चर में शामिल हों और विभिन्न अध्ययनों के आधार पर अपने सुझाव भी रख सकें.