देहरादून: एनएसयूआई कार्यकर्ता ने अशासकीय महाविद्यालयों की ग्रांट रोके जाने और छात्र निधि का 50 प्रतिशत उच्च शिक्षा निदेशालय में जमा करवाने के राज्य सरकार के फैसले से नाराज हैं. जिसके चलते एनएसयूआई कार्यकर्ताओं ने डीएवी पीजी कॉलेज के प्राचार्य के माध्यम से उच्च शिक्षा राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डॉ. धन सिंह रावत को ज्ञापन भेजा.
एनएसयूआई के प्रदेश अध्यक्ष मोहन भंडारी का कहना है कि सरकार द्वारा लिए गए फैसलों का एनएसयूआई पूरी तरह से विरोध करती है. उन्होंने कहा कि छात्र निधियों के पैसे पर उच्च शिक्षा राज्य मंत्री डाका डाल रहे हैं और उस निधि को खर्च करके अपनी वाहवाही लूटना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि अशासकीय महाविद्यालयों की ग्रांट को रोका जाना दुर्भाग्यपूर्ण है. एनएसयूआई कार्यकर्ताओं ने चेतावनी दी है कि यदि सरकार ने इस फैसले को वापस नहीं लिया तो आगामी समय में एनएसयूआई प्रदेशव्यापी आंदोलन करने के लिए मजबूर होना पड़ेगा.
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बता दें कि एनएसयूआई कार्यकर्ताओं सरकार द्वारा छात्र निधियों का 50 प्रतिशत निधि उच्च शिक्षा निदेशालय को भेजने से नाराज हैं. इसके साथ ही सरकार ने प्रदेश के 18 अशासकीय महाविद्यालयों को दिए जाने वाले 100 करोड़ के ग्रांड को रोके जाने का फैसला लिया है. उच्च शिक्षा राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डॉ. धन सिंह रावत को प्रेषित किए गए ज्ञापन में एनएसयूआई ने चेतावनी दी है कि यदि यह आदेश वापस नहीं लिए गए तो एनएसयूआई कार्यकर्ता उग्र आंदोलन करने के लिए मजबूर होंगे.