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बाल विकास विभाग में मोबाइल खरीद योजना में घोटाले की आशंका

मोबाइन खरीद में घोटाले की आशंका जताते हुए एक गुमनाम शिकायत पत्र मुख्यमंत्री को भी भेजा गया है. जिसमें कहा गया है कि विभाग ने यह मोबाइल बाजारी मूल्य से लगभग 3500 रुपए अधिक दाम पर खरीदा है.

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Published : Nov 6, 2019, 8:31 PM IST

Updated : Nov 6, 2019, 8:37 PM IST


देहरादून: सरकारी योजनाओं को नाम पर किस तरह उत्तराखंड में पैसे के बंदरबांट इसका एक और मामला सामना आ सकता है. हाल ही में केंद्र सरकार की पोषण योजना के तहत महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास विभाग की ओर से आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों को हाल ही में स्मार्ट फोन दिए हैं, लेकिन इसमें बड़े घोटाले की आशंका जताई जा रही है. क्योंकि ये स्मार्ट फोन बाजार से दोगुने रेट पर खरीदे गए हैं.

महिला एवं बाल विकास की ओर से उत्तराखंड में आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं लावा जेड-612GB फोन दिया गया था. इस फोन की बाजार में कीमत 4980- 5394 रुपये के बीच है, लेकिन आप को जानकार हैरानी होगी कि विभाग ने ये मोबाइल 10000 रुपए में खरीदा है. ऐसे में विभाग पर सवाल उठाना लाजिमी है.

पढ़ें- विकासनगर के गोदाम में लगी भीषण आग, करोड़ों का माल जलकर खाक

मोबाइन खरीद में घोटाले की आशंका जताते हुए एक गुमनाम शिकायत पत्र मुख्यमंत्री को भी भेजा गया है. जिसमें कहा गया है कि विभाग ने यह मोबाइल बाजारी मूल्य से लगभग 3500 रुपए अधिक दाम पर खरीदा है.

जब इस बारे में महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास विभाग की निदेशक झरना कामठान ने बात की गई तो उन्होंने भी इस बात को स्वीकार किया है. उन्होंने मानना है कि मोबाइल बाजार से ज्यादा दाम पर खरीदे गए है. लेकिन इस पर उन्होंने सफाई भी दी है. उनका कहना है कि विभाग में अपने सॉफ्टवेयर के हिसाब से डायरेक्ट कंपनी से मोबाइल फोन बनवाया है. इसीलिए इसके दाम अधिक है.


देहरादून: सरकारी योजनाओं को नाम पर किस तरह उत्तराखंड में पैसे के बंदरबांट इसका एक और मामला सामना आ सकता है. हाल ही में केंद्र सरकार की पोषण योजना के तहत महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास विभाग की ओर से आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों को हाल ही में स्मार्ट फोन दिए हैं, लेकिन इसमें बड़े घोटाले की आशंका जताई जा रही है. क्योंकि ये स्मार्ट फोन बाजार से दोगुने रेट पर खरीदे गए हैं.

महिला एवं बाल विकास की ओर से उत्तराखंड में आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं लावा जेड-612GB फोन दिया गया था. इस फोन की बाजार में कीमत 4980- 5394 रुपये के बीच है, लेकिन आप को जानकार हैरानी होगी कि विभाग ने ये मोबाइल 10000 रुपए में खरीदा है. ऐसे में विभाग पर सवाल उठाना लाजिमी है.

पढ़ें- विकासनगर के गोदाम में लगी भीषण आग, करोड़ों का माल जलकर खाक

मोबाइन खरीद में घोटाले की आशंका जताते हुए एक गुमनाम शिकायत पत्र मुख्यमंत्री को भी भेजा गया है. जिसमें कहा गया है कि विभाग ने यह मोबाइल बाजारी मूल्य से लगभग 3500 रुपए अधिक दाम पर खरीदा है.

जब इस बारे में महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास विभाग की निदेशक झरना कामठान ने बात की गई तो उन्होंने भी इस बात को स्वीकार किया है. उन्होंने मानना है कि मोबाइल बाजार से ज्यादा दाम पर खरीदे गए है. लेकिन इस पर उन्होंने सफाई भी दी है. उनका कहना है कि विभाग में अपने सॉफ्टवेयर के हिसाब से डायरेक्ट कंपनी से मोबाइल फोन बनवाया है. इसीलिए इसके दाम अधिक है.

Intro:देहरादून- केंद्र सरकार की पोषण योजना के तहत महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास विभाग की ओर से आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों को बांटे गए स्मार्टफोन की खरीद में बड़े घोटाले की बू आ रही है ।


Body:दरअसल महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास विभाग की ओर से राज्य की आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं को दिए गए स्मार्टफोन के बाज़ारी मूल्य और खरीद के मूल्य भारी अंतर की बात सामने आ रही है लावा जेड-612GB मोबाइल फोन की कीमत ऑनलाइन शॉपिंग साइट्स में 4980- 5394 के बीच है । लेकिन इसी मोबाइल को विभाग ने जेम पोर्टल के जरिए लावा कम्पनी से 10000 रुपए की कीमत पर खरीदा है । हाल ही में इस संबंध में मुख्यमंत्री को एक गुमनाम शिकायत पत्र भी भेजा गया है । जिसमें कहा गया है कि विभाग ने यह मोबाइल फोन बाजारी मूल्य से लगभग 3500 रुपए अधिक दाम पर खरीदा है । गौरतलब है कि महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास विभाग की निदेशक झरना कामठान ने भी खुद इस बात को स्वीकारा है की लावा कंपनी का जो मोबाइल फोन विभाग ने खरीदा है इसके बाद दाम बाजार में कम है । लेकिन इसके साथ ही सफाई देते हुए उनका यह भी कहना कि विभाग में अपने सॉफ्टवेयर के हिसाब से डायरेक्ट कंपनी से मोबाइल फोन बनवाया है। इसलिए इसके दाम अधिक हैं ।


Conclusion:फीफी
Last Updated : Nov 6, 2019, 8:37 PM IST
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