मसूरी: पहाड़ों की रानी मसूरी में मौसम ने अपना मिजाज बदल लिया है. सुबह से ही मसूरी में काले घने बादल छाने से तापमान में गिरावट दर्ज की गई है. वहीं, बारिश होने की भी संभावना है. जबकि तापमान में भारी गिरावट दर्ज होने से एक बार फिर मसूरी में कड़ाके की ठंड का अहसास होने लगा है. मौसम विभाग द्वारा पूर्व में ही अगले 2 दिनों में ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बारिश और बर्फबारी होने का अनुमान जताया गया था.
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वहीं, इस साल बर्फबारी न होने से लोग काफी मायूस हैं. लेकिन उन्हें लगता है कि मौसम के बदले मिजाज और मौसम विभाग के पूर्वानुमान के बाद मसूरी में बर्फबारी हो सकती है. इससे स्थानीय लोगों के साथ-साथ काश्तकारों में भी उम्मीद जगी है. स्थानीय लोगों की माने तो इस बार मसूरी में बर्फबारी नहीं हुई. इस वजह से वे काफी मायूस हैं. जबकि पूर्व में दिसंबर माह में ही बर्फबारी शुरू हो जाती थी. इस बार उन्हें उम्मीद है कि फरवरी माह में मसूरी में बर्फबारी हो सकती है.
बर्फबारी न होने के कारण आगामी पर्यटन सीजन में पेयजल की भारी दिक्कत भी हो सकती है, क्योंकि प्राकृतिक स्रोत रिचार्ज नहीं हो पाएं हैं. ऐसे में बर्फबारी होना जरूरी है. लोगों ने कहा कि बर्फबारी होने से जहां प्राकृतिक स्रोत फिर भरेंगे और पर्यटकों के रुख से स्थानीय व्यापारियों को भी फायदा मिलेगा. क्योंकि जब भी मसूरी में बर्फबारी होती है तो देश-विदेश से पर्यटक मसूरी पहुंचते हैं. इसका लाभ स्थानीय लोगों के साथ-साथ होटल-रेस्टोरेंट व्यापारियों को भी मिलता है. उन्होंने उम्मीद जताई है कि जिस तरीके से मौसम करवट बदल रहा है, उससे मसूरी और आसपास के क्षेत्रों में जल्द बर्फबारी की उम्मीद है.