देहरादून: उच्च शिक्षा एवं सहकारिता राज्य मंत्री धन सिंह रावत ने कोरोना संक्रमण से उबरकर एक बार फिर विभागीय कार्यों की कमान संभाल ली है. कोरोना को हराकर राज्य मंत्री धन सिंह रावत ने आज सहकारिता विभाग की समीक्षा बैठक की. इस दौरान उन्होंने अधिकारियों से स्वरोजगार से जुड़ी योजनाओं की जानकारी भी ली.
बता दें कि बुधवार को विधानसभा स्थित सभा कक्ष में सहकारिता विभाग की समीक्षा बैठक की गई. इस बैठक में बहुउद्देशीय पैक्स कम्प्यूटराइजेशन, ह्यूमन रिसोर्स पॉलिसी, इंश्योरेन्स और री-फाइनेंशिंग, पंडित दीन दयाल उपाध्याय किसान कल्याण योजना सहित नवीन बैंक शाखाओं के खोले जाने के संबंध में विभागीय अधिकारियों से प्रगति रिपोर्ट तलब की गई.
वहीं, इस दौरान अधिकारियों ने बताया कि वर्तमान वित्तीय वर्ष में अभी तक सहकारी बैंकों के द्वारा दीन दयाल किसान कल्याण योजना के तहत राज्य के 92 हजार किसानों को 601 करोड़ का ऋण वितरित किया जा चुका है. जिसके अंतर्गत तीन श्रेणियों अल्पकालीन, मध्यकालीन व स्वयं सहायता समूह की 1 लाख, 3 लाख एवं 5 लाख की धनराशि तक के ऋण शामिल हैं.
आगामी 15 अक्टूबर के बाद मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत की ओर से राज्य के सभी 13 जनपदों में किसानों को ऋण वितरण को लेकर कार्यक्रम आयोजित किये जाएंगे. साथ ही विभाग की ओर से राज्य के समस्त 95 विकासखंडों में भी ऋण वितरण समारोह आयोजित किये जाएंगे.
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बैठक में एनसीडीसी की राज्य प्रमुख दीपा श्रीवास्तव ने बताया कि भारत सरकार द्वारा राज्य में स्वीकृत 100 किसान उत्पादक संगठन (एफपीओ) स्थापित किए जाने की कार्रवाई गतिमान है. जिसके लिए सहकारिता विभाग को समितिवार प्रस्ताव शीघ्र उपलब्ध कराने को निर्देशित किया गया है.
राज्य के 670 बहुउद्देशीय सहकारी समितियों के कम्प्यूटराइजेशन का कार्य कर रही संस्था आईटीआई के प्रतिनिधि जीसी राजेश बताया कि नवंबर महीने में कम्प्यूटराइजेशन का कार्य शुरू कर दिया जाएगा. वर्तमान में संस्था के कार्मियों ने 506 से ज्यादा समितियों का डाटा चेक कर लिया है, बाकी समितियों में कार्य गतिमान है.
उधर, इसी प्रकार डेयरी विभाग के निदेशक एवं संयुक्त निदेशक ने मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना के अंतर्गत संचालित योजनाओं की जानकारी दी. जबकि, सहकारिता विभाग के निबंधक बीएम मिश्रा एवं अपर निबंधक ईरा उप्रेती ने सहकारिता विभाग की ओर से संचालित तमाम योजनाओं की जानकारी भी मंत्री को दी.
इस दौरान राज्य सहकारी बैंक की ओर से महाप्रबंधक एनपीएस ढाका ने ऋण वितरण संबंधी आख्या बैठक में रखी. नाबार्ड के डीजीएम एसएल बिरला ने समितियों के इंश्योरेन्स, री-फाइनेंशिंग और स्वीकृत ऋणों के आय-व्यय की जानकारी देते हुए बताया समितियों के कम्प्यूटराइजेशन के लिए निर्धारित गाइडलाइंस का पालन किया जाना आवश्यक है. जल्द ही संबंधित कार्य पूरे कर लिये जाएंगे.