देहरादूनः उत्तराखंड पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार ने लगातार मिल रही जनता की शिकायतों को गंभीरता से लिया है. बकायदा इसके लिए उन्होंने क्राइम वर्क आउट करने वाली पुलिस टीमों को सख्त हिदायत भी दी है. उन्होंने आरोपी की गिरफ्तारी और गुमशुदा लोगों की बरामदगी जैसे मामलों में कार्रवाई करने के एवज में पीड़ित पक्ष से पैसे मांगने वाले पुलिकर्मियों से कड़ी नाराजगी जताई. उन्होंने ऐसे पुलिसकर्मियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की चेतावनी दी है.
डीजीपी अशोक कुमार ने दो टूक में साफ किया है कि अगर अभियुक्तों की गिरफ्तारी और गुमशुदा लोगों की तलाश आदि मामले में अगर पीड़ित पक्ष से पुलिस तंत्र की टीमें वाहन उपलब्ध कराने, गाड़ियों में तेल मुहैया कराने जैसे अन्य व्यवस्थाओं के लिए किसी भी तरह की डिमांड करती है तो न सिर्फ विभागीय स्तर पर कड़ी कार्रवाई के लिए तैयार रहें. बल्कि, पीड़ित पक्ष को न्याय दिलाने में ढिलाई बरतने वालों को कड़ी सजा भी दी जाएगी.
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केस वर्क आउट के लिए पर्याप्त 'थाना विधिक निधि' उपलब्ध: डीजीपी अशोक कुमार ने बताया कि किसी भी केस के वर्क आउट के लिए प्रत्येक जिले के थाने को 'थाना विधिक निधि' के अंतर्गत पर्याप्त धनराशि उपलब्ध कराई जाती है. उसके बावजूद भी अगर पुलिस, पीड़ित पक्ष से केस वर्कआउट को लेकर किसी भी तरह की डिमांड करती है तो यह घोर निंदनीय है. जिसे किसी भी सूरत में स्वीकार नहीं किया जाएगा.
जिला प्रभारियों को भी कड़ी हिदायतः सभी 13 जिला एसपी-एसएसपी को हिदायत देते हुए डीजीपी अशोक कुमार ने कहा कि किसी भी घटना या अपराध के घटित होने पर पीड़ित या आम जनमानस की पुलिस के प्रति की अपेक्षा होती है कि पुलिस जनता के साथ मधुर व्यवहार के साथ-साथ उसकी समस्याओं को दूर करें. साथ ही अपराध पर न्यायोचित विधिक कार्रवाई अमल में लाएं. ताकि उसे न्याय मिल सके.