देहरादून: उत्तराखंड के महत्वाकांक्षी ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल लाइन प्रोजेक्ट (Rishikesh-Karnprayag Rail Line Project) के कार्यों की सीएम तीरथ सिंह रावत ने रेल विकास निगम के अधिकारियों के साथ समीक्षा की. इस दौरान मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने अधिकारियों को प्रोजेक्ट के काम में तेजी लाने और निर्धारित समयावधि में काम पूरा करने का निर्देश दिया है. उत्तराखंड के इस महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट के 2024 तक पूरा होने की उम्मीद है.
मुख्यमंत्री ने कहा कि कार्यों में तेजी लाने के लिए राज्य सरकार की ओर से जो भी मदद की जरूरत होगी, वह दी जाएगी. वहीं, रेल विकास निगम के मुख्य परियोजना प्रबंधक हिमांशु बडोनी ने जानकारी दी कि 125 किमी ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल लाइन पर 12 स्टेशन और 17 टनल बनाये जा रहे हैं. मुख्य सुरंगों के कार्यों में तेजी लाने के लिए 10 कार्य स्थलों के लिए 12 किमी की एप्रोच रोड का निर्माण पूर्ण हो चुका है. इस रेल लाइन में 18 बड़े एवं 36 छोटे ब्रिज बनाए जा रहे हैं.
चन्द्रभागा ब्रिज का निर्माण पूर्ण हो चुका है और शेष कार्य प्रगति पर चल रहे हैं. मार्च 2024 तक इनका निर्माण पूर्ण किये जाने का लक्ष्य रखा गया है. रेल विकास निगम द्वारा इसके अलावा राज्य के कल्याण हेतु श्रीनगर में हॉस्पिटल बिल्डिंग, हरिद्वार रेलवे स्टेशन पर टॉयलेट ब्लॉक, गौचर एवं कालेश्वर में रोड ब्रिज, श्रीकोट (श्रीनगर) में स्टेडियम बनाया जा रहा है.
ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल लाइन प्रोजेक्ट
पहाड़ में रेल का सपना जल्द ही साकार होने वाला है. उत्तराखंड के महत्वाकांक्षी ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल लाइन प्रोजेक्ट (Rishikesh-Karnprayag Rail Line Project) के लिए केंद्र सरकार ने बजट में समयबद्ध निर्माण के लिए वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिए 4,200 करोड़ रुपये का प्रावधान किया है. इस बजट के साथ परियोजना के निर्माण कार्यों में तेजी आएगी. यह राशि वर्ष 2021-22 के लिए प्रस्तावित है. इस बजट के मिलने से रेलवे लाइन का निर्माण निर्बाध गति से जारी रह सकेगा. सरकार ने वर्ष 2024-25 तक कर्णप्रयाग-देवप्रयाग ब्लॉक सेक्शन का काम पूरा कर लेने का लक्ष्य रखा है.
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आरओबी का कार्य शुरू
लछमोली और श्रीनगर में अलकनंदा नदी पर आरओबी का कार्य शुरू हो चुका है. श्रीनगर, गौचर और सिवाई में रोड का कार्य भी प्रगति पर है. ऋषिकेश-देवप्रयाग ब्लॉक सेक्शन का कार्य 2023-24 और देवप्रयाग-कर्णप्रयाग ब्लॉक सेक्शन का कार्य 2024-25 तक पूरा किया जाने का लक्ष्य है. यमुनोत्री, गंगोत्री, केदारनाथ व बद्रीनाथ धाम को रेलवे सेवा से जोड़ने के लिए लगभग 327 किलोमीटर की कुल लंबाई की चार रेलवे लाइन अलाइनमेंट पर भी कार्य किया किया जा रहा है.
टनल के कामों को 10 पैकेज में बांटा गया
ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल लाइन परियोजना के तहत 17 टनल के कामों को 10 पैकेज में बांटा गया है. ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेलवे लाइन पर तेजी से काम चल रहा है. सीएम तीरथ सिंह रावत खुद भी इसकी नियमित रूप से मॉनिटरिंग कर रहे हैं. हाल में रेल लाइन निर्माण में आ रही समस्याओं को दूर करने के लिए बड़े फैसले भी किए गए हैं.