देहरादूनः उत्तराखंड विधानसभा चुनाव मतगणना का परिणाम आने लगा है. धीरे-धीरे हार-जीत के फैसले सामने आ रहे हैं. हालांकि, बहुमत की बात करें तो भाजपा ने बहुमत का जादुई आंकड़ा पार कर दिया है. इसके साथ ही भाजपा इतिहास रचते हुए उत्तराखंड की सत्ता पर दोबारा काबिज होने जा रही है. लेकिन चौंकाने वाली बात ये है कि कांग्रेस का मुख्यमंत्री का चेहरा माने जाने वाले हरीश रावत लगभग 14 हजार वोटों से हार गए हैं. जिसके बाद भाजपा नेता विजय बहुगुणा का हरीश रावत के लिए 'मौत का कुआं' वाला बयान सही साबित हुआ है.
इन प्रत्याशियों ने किया फतह: लालकुआं विधानसभा सीटः नैनीताल जिले की लालकुआं विधानसभा सीट से कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व सीएम हरीश रावत करीब 14,000 वोटों से हार गए हैं. हरीश रावत को भाजपा प्रत्याशी मोहन सिंह बिष्ट ने हराया है. मोहन सिंह बिष्ट नैनीताल जिला पंचायत सदस्य रह चुके हैं.
हरिद्वार ग्रामीण विधानसभा सीटः हरिद्वार जिले की हरिद्वार ग्रामीण विधानसभा सीट से हरीश रावत की बेटी व कांग्रेस प्रत्याशी अनुपमा रावत ने जीत दर्ज की है. अनुपमा रावत ने भाजपा प्रत्याशी व कैबिनेट मंत्री स्वामी यतीश्वरानंद को शिकस्त दी है. इसके साथ ही अनुपमा रावत ने 2017 के विधानसभा चुनाव में अपने पिता हरीश रावत की हार का बदला भी ले लिया है. 2017 में स्वामी यतीश्वरानंद ने हरीश रावत को करारी शिकस्त दी थी.
रायपुर विधानसभा सीटः देहरादून की रायपुर विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी उमेश शर्मा 'काऊ' ने जीत दर्ज की है. उमेश शर्मा काऊ ने कांग्रेस प्रत्याशी हीरा सिंह बिष्ट को शिकस्त दी है. उमेश शर्मा रायपुर सीट से सीटिंग विधायक हैं.
जसपुर विधासभा सीटः उधमसिंह नगर जिले की जसपुर विधानसभा सीट से कांग्रेस के आदेश सिंह चौहान ने जीत दर्ज कर ली है. आदेश सिंह चौहान ने भाजपा प्रत्याशी डॉ. शैलेंद्र मोहन सिंघल को हराया है. आदेश सिंह चौहान जसपुर से सीटिंग विधायक हैं. उन्होंने 2017 में भाजपा के सतवीर सिंह गुर्जर को 4204 वोटों से हराया था.
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लोहाघाट विधानसभा सीटः पिथौरागढ़ जिले की लोहाघाट विधानसभा सीट पर कांग्रेस ने कब्जा किया है. कांग्रेस प्रत्याशी खुशाल सिंह अधिकारी ने सीट पर बड़ी जीत दर्ज की है. उन्होंने भाजपा के पूरन फर्त्याल को मात दी है. कुल 22,290 वोटों में से खुशहाल सिंह को 53.43 फीसदी मत के साथ 11,909 वोट मिले हैं. वहीं भाजपा के पूरन फर्त्याल को 38.81 फीसदी वोट के साथ 8651 वोट मिले. लोहाघाट सीट पर 2017 में भी भाजपा के पूरन फर्त्याल और कांग्रेस के खुशाल सिंह अधिकाारी आमने-सामने थे. जिसमें बीजेपी के पूरन फर्त्याल ने 148 वोटों के अंतर से जीत दर्ज की थी.
मसूरी विधानसभा सीटः देहरादून की मसूरी विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी व कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी ने जीत दर्ज की है. गणेश जोशी ने सीट से कांग्रेस प्रत्याशी गोदावरी थापली को हराया है. गणेश जोशी ने चौथी बार विधानसभा चुनाव में जीत दर्ज की है. 2007 से गणेश जोशी लगातार जीतते आ रहे हैं.
ऋषिकेश विधानसभा सीटः देहरादून की ऋषिकेश विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी व विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद अग्रवाल ने जीत दर्ज की है. प्रेमचंद अग्रवाल ने कांग्रेस प्रत्याशी जयेंद्र चंद्र रमोला को हराया है. प्रेमचंद अग्रवाल ऋषिकेश सीट से चौथी बार विधायक चुने गए हैं. अग्रवाल ने रमोला को 19068 वोटों से हराया. इसके साथ ही उन्होंने लगाचार चार बार जीतने का मिथक भी तोड़ दिया है. ऋषिकेश में किसी भी चुनाव में लगातार तीन बार का जीता प्रत्याशी चौथी बार जीत दर्ज असफल रहा है.
डोईवाला विधानसभा सीटः देहरादून की 10 सीटों में से डोईवाला विधानसभा सीट भाजपा के खाते में चली गई है. इस सीट से भाजपा प्रत्याशी बृज भूषण गैरोला ने जीत दर्ज की है. बृज भूषण गैरोला ने कांग्रेस प्रत्याशी गौरव चौधरी को हराया है.
भगवानपुर विधानसभा सीटः हरिद्वार जिले की भगवानपुर विधानसभा सीट से कांग्रेस प्रत्याशी ममता राकेश ने जीत दर्ज की है. ममता राकेश ने भाजपा प्रत्याशी सत्यपाल सिंह को हराया है. इसके अलावा आप से प्रेम सिंह और बसपा से सुबोध राकेश भी चुनावी मैदान में थे. ममता राकेश पूर्व विधायक स्व. सुरेंद्र राकेश की पत्नी हैं.
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गदरपुर विधानसभा सीटः उधमसिंह नगर की गदरपुर विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी व धामी सरकार में शिक्षा मंत्री अरविंद पांडे ने जीत दर्ज कर ली है. अरविंद पांडे ने कांग्रेस प्रत्याशी प्रेमानंद महाजन को करारी शिकस्त दी है. इसके साथ ही अरविंद पांडे से शिक्षा मंत्री से जुड़ा मिथक भी अपनी जीत से तोड़ दिया है. उत्तराखंड में मिथक रहा है कि शिक्षा मंत्री अपना अगला विधानसभा चुनाव हमेशा हारता है.
बाजपुर विधानसभा सीटः उधमसिंह नगर की ही बाजपुर विधानसभा सीट से कांग्रेस प्रत्याशी व पूर्व कैबिनेट मंत्री यशपाल आर्य ने जीत कर ली है. यशपाल आर्य ने भाजपा प्रत्याशी राजेश कुमार को हरा दिया है. बाजपुर विधानसभा सीट पर 2017 के चुनाव में यशपाल आर्य ने जीत दर्ज की थी. हालांकि उस दौरान वह भाजपा में थे. चुनाव से पहले ही उन्होंने अपने बेटे संजीव आर्य के साथ भाजपा छोड़ कांग्रेस का दामन थामा था.
भीमताल विधानसभा सीटः नैनीताल जिले की भीमताल विधानसभा सीट से भाजपा के राम सिंह कैड़ा ने कांग्रेस के धन सिंह भंडारी को शिकस्त दी है. राम सिंह कैड़ा भीमताल सीट से सीटिंग विधायक हैं. हालांकि, 2017 के चुनाव में राम सिंह कैड़ा निर्दलीय प्रत्याशी के तौर विधानसभा पहुंचे थे. वहीं, चुनाव से पहले ही राम सिंह कैड़ा भाजपा में शामिल हुए थे.
प्रतापनगर विधानसभा सीटः टिहरी की प्रतापनगर विधानसभा सीट भी कांग्रेस के खाते में गई है. कांग्रेस प्रत्याशी विक्रम सिंह नेगी ने सीट पर जीत दर्ज की है. विक्रम सिंह नेगी ने भाजपा के विजय सिंह पंवार उर्फ गुड्डू को हराया है. इसके अलावा सीट से आप के सागर सिंह भंडारी भी मैदान में थे. इस सीट पर अब तक हुए चार चुनावों में दो बार भाजपा और दो बार कांग्रेस जीत चुकी है. इस सीट पर मिथक है कि जो पार्टी जीती है, उसी की सरकार बनी है. हालांकि इस बार ये मिथक टूट गया है. 2017 के चुनाव में भाजपा से विजय सिंह पंवार उर्फ गुड्डू भाई विधायक थे.
कैंट विधानसभा सीटः देहरादून जिले की कैंट विधानसभा सीट एक बार फिर भाजपा के खाते में चली गई है. कैंट सीट से सविता कपूर ने जीत दर्ज की है. कैंट सीट पर कांग्रेस ने सूर्यकांत धस्माना पर दांव खेला था. सूर्यकांत धस्माना कांग्रेस के प्रदेश उपाध्यक्ष हैं. वहीं सविता कपूर पूर्व विधायक स्व. हरबंस कपूर की पत्नी हैं. कैंट सीट 4 बार विधानसभा चुनाव में भाजपा के खाते में ही रही है. हरबंस कपूर के निधन के बाद भाजपा ने उनकी पत्नी सविता कपूर को प्रत्याशी बनाया था.
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सहसपुर विधानसभा सीटः देहरादून की सहसपुर विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी सहदेव पुंडीर ने जीत दर्ज की है. सहदेव पुंडीर ने कांग्रेस प्रत्याशी आयेंद्र शर्मा को शिकस्त दी है. सहदेव पुंडीर सहसपुर सीट से सीटिंग विधायक हैं. 2017 के उत्तराखंड विधानसभा चुनाव में सहसपुर से भाजपा के सहदेव सिंह पुंडीर 44,055 वोट प्राप्त करके विधायक बने थे. कांग्रेस के किशोर उपाध्याय निकटतम प्रतिद्वंद्वी थे. उन्हें 25,192 वोट मिले थे. दोनों प्रत्याशियों की हार का अंतर 18,863 वोट था.
टिहरी विधानसभा सीटः टिहरी जिले की टिहरी विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी किशोर उपाध्याय ने जीत हासिल कर ली है. किशोर उपाध्याय ने कांग्रेस प्रत्याशी धन सिंह नेगी को चुनावी मैदान में पटखनी दी है. इसके साथ ही टिहरी सीट पर उजपा से दिनेश धनै भी लड़ रहे थे. किशोर उपाध्याय ने मतदान से कुछ घंटे पहले ही भाजपा ज्वाइन की थी. वहीं, धन सिंह नेगी ने भाजपा से टिकट न मिलने पर कांग्रेस ज्वाइन कर ली थी. धन सिंह नेगी टिहरी सीट से सीटिंग विधायक हैं.
राजपुर विधानसभा सीटः देहरादून की राजपुर विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी खजान दास ने जीत दर्ज की है. उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी राजकुमार को शिकस्त दी है. 2017 के विधानसभा चुनाव में राजपुर रोड से भाजपा के खजान दास 36,601 वोट प्राप्त करके विधायक बने थे. कांग्रेस के राजकुमार 27,969 वोट लेकर दूसरे नंबर पर थे. खजान दास भाजपा के वरिष्ठ नेता हैं.
रामनगर विधानसभा सीटः रामनगर विधानसभा सीट से बीजेपी के दीवान सिंह बिष्ट ने जीत दर्ज की है. दीवान सिंह बिष्ट ने कांग्रेस प्रत्याशी महेंद्र पाल सिंह को हराया है. 2012 से दीवान सिंह बिष्ट लगातार चुनाव जीतते आ रहे हैं. 2022 के चुनाव जीत के साथ ही उनकी जीत की हैट्रिक हो चुकी है. 2017 में, दीवान सिंह बिष्ट ने 8,611 वोटों के अंतर से रामनगर विधान सभा क्षेत्र से जीत दर्ज की थी.
गंगोलीहाट विधानसभा सीटः पिथौरागढ़ जिले की गंगोलीहाट विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी फकीर राम टम्टा ने जीत दर्ज की है. यहां कांग्रेस के खजान चंद्र गुड्डू कांग्रेस से प्रत्याशी थे. इसके साथ ही आप ने बबीता चंद्रा को चुनावी मैदान में उतारा था. गंगोलीहाट सीट 2017 में में भी बीजेपी के पास थी. तब गंगोलीहाट सीट से मीना गंगोली भाजपा विधायक बनी थी. लेकिन 2022 के चुनाव में उनका टिकट काटकर फकीर राम टम्टा को टिकट दिया गया.
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कालाढूंगी विधानसभा सीटः नैनीताल की कालाढूंगी विधानसभा सीट से कैबिनेट मंत्री बंशीधर भगत ने जीत दर्ज की है. उन्होंने कांग्रेस के महेश चंद्र को शिकस्त दी है. बंशीधर भगत इस सीट से सीटिंग विधायक हैं. कालाढूंगी विधानसभा सीट 2012 में अस्तित्व में आई. इस सीट पर दो बार अब तक विधानसभा चुनाव हो चुके हैं. दोनों बार बंशीधर भगत ने चुनाव जीता है. 2012 के विधानसभा चुनाव में बंशीधर भगत विधायक बने. 2017 के विधानसभा चुनाव में बंशीधर भगत विधानसभा पहुंचे.
खटीमा विधानसभा सीटः उधमसिंह नगर जिले की खटीमा विधानसभा सीट पर कांग्रेस प्रत्याशी भुवन कापड़ी ने जीत दर्ज की है. भुवन कापड़ी कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष हैं. उन्होंने भाजपा प्रत्याशी और सीएम पुष्कर सिंह धामी को हराया है. कापड़ी ने धामी को 6,951 वोटों से हराया है. पुष्कर सिंह धामी 2017 के चुनाव में विधायक चुने गए थे. इसके साथ ही मुख्यमंत्री रहते हुए चुनाव हारने का मिथक कायम है.
सल्ट विधानसभा सीटः अल्मोड़ा की सल्ट विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी महेश जीना ने जीत दर्ज की है. सल्ट से उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी रणजीत रावत को हराया है. रणजीत रावत कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष हैं. वहीं महेश जीना सल्ट सीट से सीटिंग विधायक हैं. सल्ट सीट से पूर्व विधायक स्व. सुरेंद्र सिंह जीना के निधन के बाद उपचुनाव में उनके भाई महेश जीना ने जीत दर्ज की थी.
विकासनगर विधानसभा सीटः देहरादून की विकासनगर विधानसभा सीट से भाजपा के सीटिंग विधायक और प्रत्याशी मुन्ना सिंह चौहान ने एक बार फिर जीत हासिल की है. 2017 के चुनाव में भी मुन्ना सिंह चौहान ने जीत दर्ज की थी. इस सीट पर उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी नवप्रभात को दूसरी बार हराया है. 2017 के चुनाव में भी मुन्ना सिंह चौहान ने नवप्रभात को पटखनी दी थी.
लालकुआं विधानसभा सीटः नैनीताल की लालकुआं विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी मोहन सिंह बिष्ट ने कांग्रेस प्रत्याशी व पूर्व सीएम हरीश रावत को 14,000 वोटों से करारी शिकस्त दी है. मोहन सिंह बिष्ट नैनीताल के जिला पंचायत सदस्य रह चुके हैं. लालकुआं सीट 2017 के चुनाव में भी भाजपा के दामन में थी. सीट से भाजपा के नवीन दुम्का विधायक चुने गए थे. 2022 के चुनाव में दुम्का का टिकट काटकर मोहन सिंह बिष्ट को टिकट दिया था.
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नैनीताल विधानसभा सीटः नैनीताल जिले की नैनीताल विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी सरिता आर्य ने जीत दर्ज की है. सरिता आर्य ने कांग्रेस प्रत्याशी संजीव आर्य को शिकस्त दी है. संजीव आर्य नैनीताल सीट से सीटिंग विधायक हैं. हालांकि 2017 का चुनाव उन्होंने भाजपा के निशान पर लड़ा था और जीते भी थे. लेकिन चुनाव से पहले ही उन्होंने और उनके पिता यशपाल आर्य ने कांग्रेस ज्वॉइन कर ली थी. वहीं, भाजपा प्रत्याशी सरिता आर्य कांग्रेस की पूर्व प्रदेश महिला मोर्चा अध्यक्ष रही हैं. लेकिन चुनाव से चंद घंटों पहले ही उन्होंने टिकट कटने पर भाजपा का दामन थाम लिया था.
नरेंद्र नगर विधानसभा सीटः टिहरी की नरेंद्र नगर विधानसभा सीट पर भाजपा प्रत्याशी व कैबिनेट मंत्री सुबोध उनियाल ने जीत दर्ज की है. उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी ओम गोपाल रावत को चुनावी मैदान में मात दी है. सुबोध उनियाल लगातार दूसरी बार नरेंद्र नगर सीट से जीते हैं. वहीं, कांग्रेस प्रत्याशी ओम गोपाल रावत 2012 में इसी सीट से भाजपा के विधायक रहे हैं. हालांकि, 2017 में टिकट नहीं मिलने के बाद 2022 के चुनाव में उन्होंने भाजपा से टिकट की मांग की थी. लेकिन टिकट नहीं मिलने पर उन्होंने कांग्रेस का दामन थामकर प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ा.
हल्द्वानी विधानसभा सीटः नैनीताल जिले की हल्द्वानी विधानसभा सीट से कांग्रेस के सुमित हृदयेश ने जीत दर्ज कर ली है. सुमित हृदयेश ने भाजपा के जोगेंद्र रौतेला को हराया है. सुमित हृदयेश कांग्रेस की वरिष्ठ नेता और पूर्व नेता प्रतिपक्ष रहीं स्व. इंदिरा हृदयेश के बेटे हैं. हल्द्वानी सीट हृदयेश परिवार की परंपरागत सीट रही है.
सितारगंज विधानसभा सीटः उधमसिंह नगर जिले की सितारगंज सीट से भाजपा प्रत्याशी सौरभ बहुगुणा ने जीत दर्ज की है. सौरभ बहुगुणा ने कांग्रेस प्रत्याशी नवतेज पाल सिंह को हराया है. इसके साथ ही सीट से आप के अजय जयसवाल भी चुनावी मैदान में थे. सौरभ बहुगुणा पूर्व सीएम विजय बहुगुणा के बेटे हैं. सौरभ 2017 के चुनाव में भी भाजपा प्रत्याशी के रूप में जीतकर विधायक के तौर पर विधानसभा पहुंचे थे.
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खानपुर विधानसभा सीटः हरिद्वार की खानपुर विधानसभा सीट से निर्दलीय प्रत्याशी उमेश कुमार ने जीत हासिल की है. खानपुर ने भाजपा प्रत्याशी कुंवरणी देवयानी सिंह थीं. कुंवरणी 2017 में भाजपा विधायक रहे कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन की पत्नी हैं. चैंपियन इस सीट से लगातार दो बार विधायक चुनकर विधानसभा पहुंचे थे. वहीं, कांग्रेस के सुभाष सिंह चौधरी प्रत्याशी थे.
लक्सर विधानसभा सीटः हरिद्वार की लक्सर विधानसभा सीट से बीएसपी प्रत्याशी शहजाद ने जीत हासिल की है. शहजाद ने भाजपा प्रत्याशी संजय गुप्ता को 9017 वोटों से हराया है. संजय गुप्ता सीट से सीटिंग विधायक हैं. 2017 के चुनाव में जीत दर्ज कर संजय गुप्ता विधानसभा पहुंचे थे.
मंगलौर विधानसभा सीटः हरिद्वार जिले की मंगलौर विधानसभा सीट पर भी बीएसपी ने कब्जा किया है. यहां सरवत करीम अंसारी ने जीत दर्ज की है. सरवत करीम अंसारी ने कांग्रेस के काजी निजामुद्दीन को हराया है. काजी निजामुद्दीन 2017 के चुनाव में विधायक चुने गए थे.
रुड़की विधानसभा सीटः हरिद्वार की रुड़की विधानसभा सीट से भाजपा ने फिर से कब्जा किया है. भाजपा प्रत्याशी प्रदीप बत्रा ने सीट से जीत दर्ज की है. प्रदीप बत्रा सीट से सीटिंग विधायक हैं. उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी यशपाल राणा को हराया है.
पिरान कलियर विधानसभा सीटः हरिद्वार जिले की पिरान कलियर विधानसभा सीट एक बार फिर कांग्रेस के खाते में गई है. सीट से फुरकान अहमद ने जीत दर्ज की है. उन्होंने भाजपा के मुनीश कुमार सैनी को हराया है. फुरकान अहमद यहां से सीटिंग विधायक हैं.
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झबरेड़ा विधानसभा सीटः हरिद्वार जिले की झबरेड़ा विधानसभा सीट पर कांग्रेस ने कब्जा किया है. कांग्रेस के प्रत्याशी विरेंद्र कुमार ने सीट पर जीत दर्ज की है. उन्होंने भाजपा के राजपाल सिंह को शिक्सत दी है.
ज्वालापुर विधानसभा सीटः हरिद्वार जिले की ज्वालापुर विधानसभा सीट से कांग्रेस प्रत्याशी रवि बहादुर ने जीत दर्ज की है. उन्होंने भाजपा प्रत्याशी सुरेश राठौर को हराया है. सुरेश राठौर सीट से सीटिंग विधायक हैं.
रानीपुर भेल विधानसभा सीटः हरिद्वार जिले की ज्वालापुर विधानसभा सीट पर एक बार फिर भाजपा ने कब्जा किया है. भाजपा प्रत्याशी आदेश चौहान ने कांग्रेस प्रत्याशी राजबीर सिंह चौहान को 12350 वोटों से हराया है.
हरिद्वार शहर विधानसभा सीटः हरिद्वार जिले की हॉट सीट हरिद्वार शहर विधानसभा सीट पर एक बार फिर भाजपा ने परचम लहराया है. सीट पर भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक ने बड़ी जीत दर्ज की है. उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी सतपाल ब्रह्मचारी ने पटखनी दी है. मदन कौशिक हरिद्वार सीट से लगातार विधानसभा पहुंच रहे हैं.
पुरोला विधानसभा सीटः उत्तरकाशी की पुरोला विधानसभा सीट पर भाजपा प्रत्याशी दुर्गेश्वर लाल ने जीत दर्ज की है. उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी मालचंद को शिकस्त दी है. दुर्गेश्वल लाल ने मालचंद को 6034 वोटों से हराया है. हालांकि, इस सीट पर पहले कांग्रेस के राजकुमार ने जीत दर्ज की थी. लेकिन चुनाव से पहले ही राजकुमार ने भाजपा का दामन थाम लिया था.
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यमुनोत्री विधानसभा सीटः उत्तरकाशी जिले की यमुनोत्री विधानसभा सीट पर निर्दलीय प्रत्याशी संजय डोभाल ने जीत दर्ज की है. संजय डोभाल कांग्रेस के दीपक बिजल्वाण को हराया है. हालांकि 2017 में यमुनोत्री सीट भाजपा के पास थी. सीट पर भाजपा के केदार सिंह रावत ने जीत दर्ज की है. हालांकि इस बाद केदार सिंह रावत तीसरें नंबर पर रहे.
गंगोत्री विधानसभा सीटः उत्तरकाशी जिले की गंगोत्री विधानसभा सीट लगातार दूसरी बार भाजपा के कब्जे पर रही. सीट से भाजपा प्रत्याशी सुरेश चौहान ने जीत दर्ज की है. सुरेश चौहान ने कांग्रेस प्रत्याशी विजयपाल सिंह सजवाण को हराया है. ये सीट 2017 में भी भाजपा के पाले थे. तब गोपाल सिंह रावत सीट से विधायक थे. लेकिन चुनाव से पहले गंभीर बीमारी के चलते उनका निधन हो गया था.
बदरीनाथ विधानसभा सीटः चमोली की बदरीनाथ विधानसभा सीट कांग्रेस ने भाजपा के पाले से छीन ली है. सीट से कांग्रेस प्रत्याशी राजेंद्र भंडारी ने जीत दर्ज की है. उन्होंने भाजपा प्रत्याशी महेंद्र भट्ट को हराया है. महेंद्र भट्ट इस सीट से सीटिंग विधायक हैं.
थराली विधानसभा सीटः चमोली जिले की थराली विधानसभा सीट से भाजपा के भूपाल राम टम्टा ने जीत दर्ज की है. भूपाल राम टम्टा ने कांग्रेस के डॉ. जीत राम को हराया है. जीत राम कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष हैं. थराली सीट पिछले चुनाव में भी भाजपा के पास थी. मुन्नी देवी शाह सीट से भाजपा की विधायक थीं. हालांकि इस बार उन्हें टिकट न देकर भूपाल राम टम्टा को दिया गया.
कर्णप्रयाग विधानसभा सीटः चमोली जिले की कर्णप्रयाग विधानसभा सीट से भाजपा के अनिल नौटियाल ने जीत दर्ज की है. उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी मुकेश नेगी को शिकस्त दी है. हालांकि 2017 के चुनाव में भी कर्णप्रयाग सीट भाजपा के पाले में थी. 2017 में भाजपा के सुरेंद्र सिंह नेगी विधायक चुने गए थे. लेकिन 2022 के चुनाव में उनका टिकट काटकर भाजपा ने अनिल नौटियाल को प्रत्याशी बनाया.
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केदारनाथ विधानसभा सीटः रुद्रप्रयाग जिले की केदारनाथ विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी शैलारानी रावत ने जीत दर्ज की है. उन्होंने निर्दली प्रत्याशी कुलदीप सिंह रावत को हराया है. 2017 के चुनाव में कांग्रेस ने मनोज रावत ने सीट पर जीत दर्ज की थी. हालांकि इस बार मनोज रावत तीसरे नंबर पर रहे.
रुद्रप्रयाग विधानसभा सीटः रुद्रप्रयाग जिले की रुद्रप्रयाग विधानसभा सीट पर भाजपा के सीटिंग MLA और प्रत्याशी भरत सिंह चौधरी ने जीत दर्ज की है. भरत सिंह चौधरी ने कांग्रेस प्रत्याशी प्रदीप प्रसाद थपलियाल को हराया है. भरत सिंह चौधरी की जीत के लिए गृह मंत्री अमित शाह ने विधानसभा भ्रमण भी किया था.
घनसाली विधानसभा सीटः टिहरी जिले की घनसाली विधानसभा सीट पर भाजपा प्रत्याशी शक्तिलाल शाह ने जीत का छक्का लगाया. शक्तिलाल शाह ने कांग्रेस के धनी लाल शाह को करारी शिकस्त दी है. घनसाली सीट 2017 में भी भाजपा के पाले में थी. शक्ति लाल शाह विधायक चुने गए थे.
देवप्रयाग विधानसभा सीटः टिहरी की देवप्रयाग विधानसभा सीट पर भाजपा प्रत्याशी विनोद कंडारी ने एक बार फिर जीत दर्ज की है. उन्होंने यूकेडी प्रत्याशी और पूर्व मंत्री रहे दिवाकर भट्ट को हराया. वहीं कांग्रेस प्रत्याशी मंत्री प्रसाद नैथानी सीट पर तीसरें नंबर पर रहे हैं.
धनौल्टी विधानसभा सीटः टिहरी जिले की धनौल्टी विधानसभा सीट पर भाजपा प्रत्याशी प्रीतम सिंह पंवार ने कब्जा किया है. प्रीतम सिंह ने कांग्रेस प्रत्याशी जोत सिंह बिष्ट को हराया है. 2017 के चुनाव में धनौल्टी सीट से प्रीतम सिंह पंवार विधायक चुने गए थे. हालांकि उस दौरान वह निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर चुनाव जीतकर विधानसभा पहुंचे थे. वहीं, चुनाव से पहले उन्होंने भाजपा के दामन थाम लिया था.
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चकराता विधानसभा सीटः देहरादून जिले की चकराता विधानसभा सीट एक बार फिर कांग्रेस के कब्जे में रही. सीट से कांग्रेस प्रत्याशी व नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह ने जीत दर्ज की है. उन्होंने भाजपा प्रत्याशी रामशरण नौटियाल को हराया. रामशरण नौटियाल बॉलीवुड सिंगर जुबिन नौटियाल के पिता हैं. वहीं, चकराता सीट प्रीतम सिंह की परंपरागत सीट है. प्रीतम सिंह 5वीं बार विधायक चुने गए हैं.
धर्मपुर विधानसभा सीटः देहरादून जिले की धर्मपुर विधानसभा सीट एक बार फिर भाजपा के खाते में गई. सीट से भाजपा प्रत्याशी विनोद चमोली ने कांग्रेस प्रत्याशी दिनेश अग्रवाल को हराया है. विनोद चमोली 2017 में भी धर्मपुर सीट से विधायक चुने गए. इससे पहले चमोली देहरादून के 3 बार मेयर रह चुके हैं.
यमकेश्वर विधानसभा सीटः पौड़ी जिले की यमकेश्वर विधानसभा सीट पर हमेशा की तरह भाजपा का कब्जा रहा. भाजपा प्रत्याशी रेनू बिष्ट ने कांग्रेस प्रत्याशी शैलेंद्र सिंह रावत को 7925 वोटों से हराया. इससे पहले यमकेश्वर सीट से भाजपा की ऋतु खंड़ड़ी विधायक चुनी गई थीं. हालांकि इस बार ऋतु खंडूड़ी को कोटद्वार सीट से भाजपा प्रत्याशी बनाया गया. वहीं रेनू बिष्ट 2017 के चुनाव में निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर दूसरे नंबर पर रही थीं.
पौड़ी विधानसभा सीटः पौड़ी जिले की पौड़ी विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी राजकुमार पोरी ने जीत दर्ज की है. उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी नवल किशोर को 5293 वोटों से हराया है. हालांकि, 2017 में भाजपा ने मुकेश कोली को पौड़ी सीट से चुनाव लड़ाया था. तब वह जीते भी थे. लेकिन इस बार भाजपा ने मुकेश कोली का टिकट काटकर राजकुमार पोरी को प्रत्याशी बनाया.
श्रीनगर गढ़वाल विधानसभा सीटः पौड़ी जिले की श्रीनगर विधानसभा सीट दिलचस्प मुकाबला रहा. हालांकि आखिर में भाजपा प्रत्याशी व कैबिनेट मंत्री धन सिंह रावत ने जीत हासिल की. हालांकि वोटों का अंतर 250 वोटों के इर्द गिर्द रहा. वहीं उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी गणेश गोदियाल को हराया. गणेश गोदियाल कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष हैं.
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चौबट्टाखाल विधानसभा सीटः पौड़ी जिले की चौबट्टाखाल विधानसभा सीट पर एक बार फिर भाजपा का कब्जा रहा. चौबट्टाखाल सीट पर भाजपा प्रत्याशी व कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज ने जीत दर्ज की है. उन्होंन कांग्रेस प्रत्याशी केसर सिंह नेगी को शिकस्त दी है.
लैंसडाउन विधानसभा सीटः पौड़ी जिले की लैंसडाउन विधानसभा सीट पर भाजपा के कद्दावर नेता प्रत्याशी दलीप सिंह रावत ने जीत दर्ज की है. दलीप सिंह रावत सीट से चौथी बार विधायक चुने गए हैं. उन्होंने कांग्रेस की प्रत्याशी अनुकृति गुसाईं को हराया है. अनुकृति गुसाईं पूर्व मंत्री व कांग्रेस नेता हरक सिंह रावत की पुत्र वधु हैं. चुनाव से पहले ही अनुकृति और हरक सिंह ने कांग्रेस का दामन थामा.
कोटद्वार विधानसभा सीटः पौड़ी जिले की कोटद्वार विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी ऋतु खंडूड़ी ने जीत दर्ज की है. ऋतु खंडूड़ी ने कांग्रेस प्रत्याशी सुरेंद्र सिंह नेगी को शिकस्त दी है. इससे पहले ऋतु खंडूड़ी यमकेश्वर विधानसभा सीट से भाजपा की विधायक रही हैं. हालांकि इस बार उन्हें कोटद्वार सीट से भाजपा ने अपना प्रत्याशी बनाया.
धारचूला विधानसभा सीटः पिथौरागढ़ की धारचूला विधानसभा सीट से कांग्रेस प्रत्याशी हरीश सिंह धामी ने जीत दर्ज की है. हरीश सिंह धामी ने भाजपा के धन सिंह धामी को चुनाव मैदान में हराया है. धारचूल विधानसभा क्षेत्र धन सिंह धामी का गढ़ माना जाता है.
डीडीहाट विधानसभा सीटः पिथौरागढ़ की डीडीहाट विधानसभा सीट से कैबिनेट मंत्री व भाजपा प्रत्याशी बिशन सिंह चुफाल ने जीत दर्ज की है. बिशन सिंह चुफाल लगातार 5वीं बार सीट से चुनाव जीते हैं. उन्होंने निर्दलीय प्रत्याशी किशन भंडारी को 413 वोटों से हराया है.
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पिथौरागढ़ विधानसभा सीटः पिथौरागढ़ की पिथौरागढ़ विधानसभा सीट पर कांग्रेस ने कब्जा कर लिया है. कांग्रेस प्रत्याशी मयूख महर ने भाजपा का चंद्रा पंत को हराकर जीत दर्ज की है. चंद्रा पंत सीटिंग विधायक थीं. इससे पहले ये सीट भाजपा के वरिष्ठ नेता रहे स्वं प्रकाश पंत की पत्नी हैं.
कपकोट विधानसभा सीटः बागेश्वर जिले की कपकोट विधानसभा सीट से भाजपा के सुरेश गढ़िया ने जीत दर्ज की है. उन्होंने कांग्रेस के ललित फर्स्वाण को हराया है.
बागेश्वर विधानसभा सीटः बागेश्वर जिले की बागेश्वर विधानसभा सीट से चंदन राम दास भाजपा प्रत्याशी ने जीत दर्ज की है. चंदन राम दास ने कांग्रेस के रणजीत दास को 11851 वोटों से हराया है.
द्वाराहाट विधानसभा सीटः अल्मोड़ा जिले के द्वाराहाट विधानसभा सीट से कांग्रेस के मदन सिंह बिष्ट ने भाजपा के अनिल सिंह शाही को हराया है. इससे पहले सीट भाजपा के कब्जे में थी. हालांकि पहले महेश जीना सीट से विधायक थे. लेकिन युवती से दुष्कर्म के आरोप के चलते चुनाव में उनका टिकट काटा गया.
रानीखेत विधानसभा सीटः अल्मोड़ा जिले के रानीखेत विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी प्रमोद नैनवाल ने जीत दर्ज की है. प्रमोद ने कांग्रेस प्रत्याशी करण महरा को शिकस्त दी है. करण महरा सीट से सीटिंग विधायक थे. भाजपा प्रत्याशी की जीत के साथ ही सीट से जुड़ा मिथक भी टूट गया है. मिथक है कि जिस पार्टी का विधायक सीट पर जीतता है, वह पार्टी सत्ता में नहीं रहती है.
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सोमेश्वर विधानसभा सीटः अल्मोड़ा जिले की सोमेश्वर विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी रेखा आर्य ने जीत दर्ज की है. रेखा आर्य 2017 के चुनाव में भी सीट से जीतकर कैबिनेट मंत्री बनीं. उन्होंने कांग्रेस के राजेंद्र बाराकोटी को शिकस्त दी.
अल्मोड़ा विधानसभा सीटः अल्मोड़ा जिले के अल्मोड़ा विधानसभा सीट से कांग्रेस के मनोज तिवारी से जीत दर्ज की है. उन्होंने भाजपा के कैलाश शर्मा को हराया है.
जागेश्वर विधानसभा सीटः अल्मोड़ा जिले के जागेश्वर विधानसभा सीट से भाजपा के मोहन सिंह ने कांग्रेस के गोविंद सिंह कुंजवाल को शिकस्त दी. गोविंद सिंह कुंजवाल सीट से सीटिंग विधायक हैं.