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चमोली आपदा: राहत कार्यों के लिए ₹20 करोड़ जारी, पीड़ित परिजनों की आर्थिक सहायता के लिये SOP होगी जारी

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Published : Feb 8, 2021, 6:37 PM IST

Updated : Feb 10, 2021, 2:21 PM IST

देहरादून में समीक्षा बैठक करने के बाद सीएम फिर से जोशीमठ पहुंच गए हैं. वो ग्राउंड जीरो से रेस्क्यू ऑपरेशन की पूरी जानकारी ले रहे हैं.

मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत

देहरादून: मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने सोमवार (8 फरवरी) को देहरादून सचिवालय में शासन के वरिष्ठ अधिकारियों, आपदा प्रबंधन, पुलिस, सेना और आईटीबीपी के अधिकारियों के साथ बैठक की. बैठक में उन्होंने तपोवन और रैणी में चल रहे रेस्क्यू ऑपरेशन की समीक्षा की. सीएम ने अधिकारियों को क्षेत्र में खाद्य सामग्री पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं. इसके साथ राहत और बचाव कार्यों के लिए एसडीआरएफ मद से 20 करोड़ रुपये की धनराशि जारी की गई है. वहीं, चमोली आपदा में लापता व्यक्तियों के परिजनों को आर्थिक मदद देने के लिए एसओपी भी तैयार होगी.

  • #WATCH Uttarakhand CM Trivendra Singh Rawat at Tapovan, Joshimath, reviews relief efforts

    "Our relief and rescue operations are continuing in full swing and we are doing best to save lives," he tweets pic.twitter.com/TvCtoH3EKT

    — ANI (@ANI) February 8, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

पढ़ें- जल प्रलय रेस्क्यू LIVE: आपदाग्रस्त इलाकों का दौरा कर रहे सीएम त्रिवेंद्र

संवेदनशील स्थानों का सर्वे करने का निर्देश

मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने अधिकारियों को निर्देश दिये कि आपदा की दृष्टि से संवेदनशील स्थानों का समय-समय पर सर्वे कराया जाये. एसडीआरएफ की टीमों की भी संवेदनशील स्थानों के निकट तैनात की जाये. आईआरएस के निदेशक डॉ. प्रकाश चौहान ने जानकारी दी कि ताजी बर्फ के हिमस्खलन से आपदा की संभावना जताई जा रही है. इसकी वजह से नदी के जल स्तर में तेजी से वृद्धि हुई. अब स्थिति सामान्य है.

  • Uttarakhand CM being briefed by MS Rawat, ADG Western Command ITBP, on the rescue operations being carried out at Tapovan tunnel, Joshimath pic.twitter.com/PgSC6aRyoI

    — ANI (@ANI) February 8, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

प्रभावित क्षेत्रों में बिजली-पानी की सुचारू आपूर्ति

बैठक में जानकारी दी गई कि प्रभावित क्षेत्र के आस-पास बिजली और पानी की आपूर्ति सुचारू है.

  • A joint team of NDRF, SDRF & Army is conducting a rescue operation. The team has reached the 130-metre mark in Tapovan tunnel, it may take 2-3 hrs to reach the t-point. Efforts underway to safely rescue those who are stuck in the tunnel: Uttarakhand CM TS Rawat, Joshimath https://t.co/YAAVb8T57s pic.twitter.com/EL83wXZGKq

    — ANI (@ANI) February 8, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

आर्थिक सहायता के लिए जारी होगी एसओपी (SOP)

मुख्य सचिव ओमप्रकाश ने बताया कि सरकार की मंशा है कि लापता लोगों के परिजनों को भी आर्थिक सहायता उपलब्ध कराई जा सके. इसकी प्रक्रिया तय करने के लिए जल्द ही एक मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) जारी की जाएगी. यह एसओपी केदारनाथ आपदा में लापता व्यक्तियों की तर्ज पर बनाई जाएगी, इसके अलावा प्रदेश में आपदा की दृष्टि से संवेदनशील स्थानों का समय-समय पर सर्वे कराया जाएगा और इनके आसपास एसडीआरएफ की तैनात भी रहेगी.

पढ़ें- एक क्लिक में पढ़ें चमोली त्रासदी की पूरी कहानी, जानें कब और कैसे हुई शुरुआत

केंद्रीय मंत्रियों ने प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया

केंद्रीय शिक्षा मंत्री डा. रमेश पोखरियाल निशंक, केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह, सांसद तीरथ सिंह रावत, उत्तराखंड के उच्च शिक्षा मंत्री और चमोली जिले के प्रभारी मंत्री डा. धन सिंह रावत ने भी तपोवन आदि क्षेत्रों का दौरा कर स्थिति का जायजा लिया और स्थानीय लोगों से बात की. इसके अलावा विधायक महेंद्र प्रसाद भट्ट, विधायक सुरेंद्र सिंह नेगी ने भी तपोवन और रैणी में आपदा प्रभावित क्षेत्र का जायजा लिया.

  • Uttarakhand: Machines are now clearing the heavy slush inside the tunnel in Chamoli; Recce party was not able to move beyond 100 meters inside the tunnel due to the slush. pic.twitter.com/QQS8WO9kU0

    — ANI (@ANI) February 8, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

सर्च व रेस्क्यू ऑपरेशन जारी

चमोली जिले में रविवार को आयी आपदा के दूसरे दिन भी रेस्क्यू आपरेशन पूरे दिनभर जारी रहा. आपदा में सड़क पुल बह जाने के कारण नीति वैली के जिन 13 गांवों से संपर्क टूट गया है उन गांवों में जिला प्रशासन चमोली द्वारा हेलीकॉप्टर के माध्यम से राशन, मेडिकल और रोजमर्रा की चीजें पहुंचायी जा रही हैं.

जिलाधिकारी ने बताया कि जब तक यहां पर वैकल्पिक व्यवस्था या पुल तैयार नहीं हो जाता है, तब तक हेली से यहां पर रसद पहुंचाने का काम जारी रहेगा और जल्द से जल्द क्षेत्र के लोगों की परेशानियां दूर करने का हर संभव प्रयास किया जाएगा.

पढ़ें- ग्लेशियर टूटने से नहीं आई चमोली आपदा, मुख्यमंत्री ने बताई सही वजह

गांवों मे फंसे लोगों को राशन किट के साथ 5 किलो चावल, 5 किग्रा आटा, चीनी, दाल, तेल, नमक, मसाले, चायपत्ती, साबुन, मिल्क पाउडर, मोमबत्ती, माचिस आदि राहत सामग्री भेजी जा रही है.

आपदा प्रभावित क्षेत्र के साथ ही अलकनन्दा नदी तटों पर जिला प्रशासन की टीम लापता लोगों की खोजबीन में जुटी है. राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र से प्राप्त जानकारी के अनुसार प्रभावित क्षेत्रों में एसडीआरएफ के 70, एनडीआरएफ के 129, आईटीबीपी के 425 जवान, एसएसबी की 1 टीम, आर्मी के 124 जवान, आर्मी की 02 मेडिकल टीम, स्वास्थ्य विभाग उत्तराखंड की 02 मेडिकल टीमें लगी हुई हैं.

प्राप्त जानकारी के अनुसार घटना के बाद 18 शव मिल गए हैं, जबकि 202 लोग लापता हैं. एनटीपीसी से 12 और ऋषिगंगा प्रोजेक्ट से 15 लोगों को सुरक्षित बचाया गया है.

केंद्र ने दिया हर संभव मदद का भरोसा

वहीं रामनगर में बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत ने बताया कि केंद्र सरकार ने राज्य सरकार को हर संभव मदद देने के भरोसा दिया है. इस आपदा में कितना नुकसान हुआ है, इसके बारे में अभी स्पष्ट नहीं कहा जा सकता है.

देहरादून: मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने सोमवार (8 फरवरी) को देहरादून सचिवालय में शासन के वरिष्ठ अधिकारियों, आपदा प्रबंधन, पुलिस, सेना और आईटीबीपी के अधिकारियों के साथ बैठक की. बैठक में उन्होंने तपोवन और रैणी में चल रहे रेस्क्यू ऑपरेशन की समीक्षा की. सीएम ने अधिकारियों को क्षेत्र में खाद्य सामग्री पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं. इसके साथ राहत और बचाव कार्यों के लिए एसडीआरएफ मद से 20 करोड़ रुपये की धनराशि जारी की गई है. वहीं, चमोली आपदा में लापता व्यक्तियों के परिजनों को आर्थिक मदद देने के लिए एसओपी भी तैयार होगी.

  • #WATCH Uttarakhand CM Trivendra Singh Rawat at Tapovan, Joshimath, reviews relief efforts

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पढ़ें- जल प्रलय रेस्क्यू LIVE: आपदाग्रस्त इलाकों का दौरा कर रहे सीएम त्रिवेंद्र

संवेदनशील स्थानों का सर्वे करने का निर्देश

मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने अधिकारियों को निर्देश दिये कि आपदा की दृष्टि से संवेदनशील स्थानों का समय-समय पर सर्वे कराया जाये. एसडीआरएफ की टीमों की भी संवेदनशील स्थानों के निकट तैनात की जाये. आईआरएस के निदेशक डॉ. प्रकाश चौहान ने जानकारी दी कि ताजी बर्फ के हिमस्खलन से आपदा की संभावना जताई जा रही है. इसकी वजह से नदी के जल स्तर में तेजी से वृद्धि हुई. अब स्थिति सामान्य है.

  • Uttarakhand CM being briefed by MS Rawat, ADG Western Command ITBP, on the rescue operations being carried out at Tapovan tunnel, Joshimath pic.twitter.com/PgSC6aRyoI

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प्रभावित क्षेत्रों में बिजली-पानी की सुचारू आपूर्ति

बैठक में जानकारी दी गई कि प्रभावित क्षेत्र के आस-पास बिजली और पानी की आपूर्ति सुचारू है.

  • A joint team of NDRF, SDRF & Army is conducting a rescue operation. The team has reached the 130-metre mark in Tapovan tunnel, it may take 2-3 hrs to reach the t-point. Efforts underway to safely rescue those who are stuck in the tunnel: Uttarakhand CM TS Rawat, Joshimath https://t.co/YAAVb8T57s pic.twitter.com/EL83wXZGKq

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आर्थिक सहायता के लिए जारी होगी एसओपी (SOP)

मुख्य सचिव ओमप्रकाश ने बताया कि सरकार की मंशा है कि लापता लोगों के परिजनों को भी आर्थिक सहायता उपलब्ध कराई जा सके. इसकी प्रक्रिया तय करने के लिए जल्द ही एक मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) जारी की जाएगी. यह एसओपी केदारनाथ आपदा में लापता व्यक्तियों की तर्ज पर बनाई जाएगी, इसके अलावा प्रदेश में आपदा की दृष्टि से संवेदनशील स्थानों का समय-समय पर सर्वे कराया जाएगा और इनके आसपास एसडीआरएफ की तैनात भी रहेगी.

पढ़ें- एक क्लिक में पढ़ें चमोली त्रासदी की पूरी कहानी, जानें कब और कैसे हुई शुरुआत

केंद्रीय मंत्रियों ने प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया

केंद्रीय शिक्षा मंत्री डा. रमेश पोखरियाल निशंक, केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह, सांसद तीरथ सिंह रावत, उत्तराखंड के उच्च शिक्षा मंत्री और चमोली जिले के प्रभारी मंत्री डा. धन सिंह रावत ने भी तपोवन आदि क्षेत्रों का दौरा कर स्थिति का जायजा लिया और स्थानीय लोगों से बात की. इसके अलावा विधायक महेंद्र प्रसाद भट्ट, विधायक सुरेंद्र सिंह नेगी ने भी तपोवन और रैणी में आपदा प्रभावित क्षेत्र का जायजा लिया.

  • Uttarakhand: Machines are now clearing the heavy slush inside the tunnel in Chamoli; Recce party was not able to move beyond 100 meters inside the tunnel due to the slush. pic.twitter.com/QQS8WO9kU0

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सर्च व रेस्क्यू ऑपरेशन जारी

चमोली जिले में रविवार को आयी आपदा के दूसरे दिन भी रेस्क्यू आपरेशन पूरे दिनभर जारी रहा. आपदा में सड़क पुल बह जाने के कारण नीति वैली के जिन 13 गांवों से संपर्क टूट गया है उन गांवों में जिला प्रशासन चमोली द्वारा हेलीकॉप्टर के माध्यम से राशन, मेडिकल और रोजमर्रा की चीजें पहुंचायी जा रही हैं.

जिलाधिकारी ने बताया कि जब तक यहां पर वैकल्पिक व्यवस्था या पुल तैयार नहीं हो जाता है, तब तक हेली से यहां पर रसद पहुंचाने का काम जारी रहेगा और जल्द से जल्द क्षेत्र के लोगों की परेशानियां दूर करने का हर संभव प्रयास किया जाएगा.

पढ़ें- ग्लेशियर टूटने से नहीं आई चमोली आपदा, मुख्यमंत्री ने बताई सही वजह

गांवों मे फंसे लोगों को राशन किट के साथ 5 किलो चावल, 5 किग्रा आटा, चीनी, दाल, तेल, नमक, मसाले, चायपत्ती, साबुन, मिल्क पाउडर, मोमबत्ती, माचिस आदि राहत सामग्री भेजी जा रही है.

आपदा प्रभावित क्षेत्र के साथ ही अलकनन्दा नदी तटों पर जिला प्रशासन की टीम लापता लोगों की खोजबीन में जुटी है. राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र से प्राप्त जानकारी के अनुसार प्रभावित क्षेत्रों में एसडीआरएफ के 70, एनडीआरएफ के 129, आईटीबीपी के 425 जवान, एसएसबी की 1 टीम, आर्मी के 124 जवान, आर्मी की 02 मेडिकल टीम, स्वास्थ्य विभाग उत्तराखंड की 02 मेडिकल टीमें लगी हुई हैं.

प्राप्त जानकारी के अनुसार घटना के बाद 18 शव मिल गए हैं, जबकि 202 लोग लापता हैं. एनटीपीसी से 12 और ऋषिगंगा प्रोजेक्ट से 15 लोगों को सुरक्षित बचाया गया है.

केंद्र ने दिया हर संभव मदद का भरोसा

वहीं रामनगर में बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत ने बताया कि केंद्र सरकार ने राज्य सरकार को हर संभव मदद देने के भरोसा दिया है. इस आपदा में कितना नुकसान हुआ है, इसके बारे में अभी स्पष्ट नहीं कहा जा सकता है.

Last Updated : Feb 10, 2021, 2:21 PM IST
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