देहरादून: नए झंडे को लाने के लिए श्री दरबार साहिब परिसर से पैदल संगत ने महंत देवेंद्र दास महाराज की अगुवाई में प्रस्थान किया. मोथरोवाला रोड, कारगी चौक और सहारनपुर रोड होते हुए संगत नए ध्वज को सम्मान के साथ श्री दरबार साहिब लेकर पहुंची.
इस दौरान महंत देवेंद्र दास महाराज ने बताया कि 13 मार्च को श्री गुरु राम राय जी के जन्मदिवस के मौके पर झंडे जी के आरोहण के साथ ही प्रसिद्ध झंडा मेला शुरू हो जाएगा. इस बार 105 फीट ऊंचे ध्वज दंड पर झंडे जी को चढ़ाया जाएगा. यह अभी तक के झंडे जी की यह सबसे अधिक ऊंचाई होगी. इस बार दून निवासी परमजीत सिंह दर्शनी गिलाफ चढ़ाएंगे.
हर तीन साल के अंतराल के बाद इस ध्वज दंड को बदला जाता है. इस बार 13 मार्च को झंडे जी का आरोहण होगा. मेले के आयोजन को लेकर तैयारियों की जा रही हैं. दरबार साहिब के कारीगर ध्वजदंड की लाट को स्वरूप दे चुके है.
पढ़ें- आज होगा मां पूर्णागिरि मेले का आगाज, धाम की ये है रोचक पौराणिक कथा
महंत देवेन्द्र दास ने बताया कि 13 मार्च को श्री गुरु राम का जन्म दिवस है. उस दिन झंडा रोहण होता है. उसी दिन से ही झंडे मेले की शुरुआत हो जाती है. झंडा मेला सन 1676 से जब गुरु राम महाराज ने देहरादून में डेरा डाला तो यहा का नाम देहरादून हुआ था. महाराज को देहरादून का संस्थापक भी माना जाता है. मेले के अवसर पर लाखों की संगते दरबार साहिब में आते है और सभी की मनोकामना पूरी होती है.
13 मार्च को सुबह के समय जो वर्तमान में झंडे जी है, उनको उतारा जाएगा और उसकी जगह 105 फुट का झंडा के रोहण किया जाएगा. दर्शनी गिलाफ के लिए 100 साल का इंतजार करना पड़ता है. इस साल दर्शनी गिलाफ चढ़ाने का सौभाग्य देहरादून के परमजीत को मिला है.