ETV Bharat / state

चंपावत: अभिभावकों ने किया कोटिकरण का विरोध, उग्र आंदोलन की दी चेतावनी

चंपावत में अभिभावकों ने पीटीए के नेतृत्व में कोटिकरण के खिलाफ जमकर विरोध किया. इस दौरान उन्होंने पांच सितंबर तक कोटिकरण ठीक न होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है.

Protest against Kotikaran
अभिभावकों ने किया कोटिकरण का विरोध
author img

By

Published : Aug 26, 2020, 8:02 AM IST

चंपावत: जीआईसी बरदाखान को सुगम श्रेणी में रखने का मामला तूल पकड़ने लगा है. इसी कड़ी में मंगलवार को जिले में पीटीए के नेतृत्व में अभिभावकों ने कोटिकरण के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने पांच सितंबर तक कोटिकरण ठीक न होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है. ग्रामीणों का कहना है कि इस दूरस्थ क्षेत्र के विद्यालय को सुगम में रखे जाने पर यहां शिक्षकों की तैनाती नहीं हो पा रही है.

अभिभावकों ने किया कोटिकरण का विरोध

ये भी पढ़ेंः देहरादून: 9 साल बाद भी नहीं मिला गरीबों को आशियाना, अधर में लटका निर्माण

दरअसल, चंपावत जिले के विकासखंड बाराकोट के जीआईसी बरदाखान को सुगम श्रेणी में रखने के बाद से ही लोगों में रोष बना हुआ है. अब ये मामला दिनों-दिन तूल पकड़ रहा है. इसी के चलते पीटीए अध्यक्ष भवान राम के नेतृत्व में अभिभावकों ने विद्यालय को सुगम श्रेणी में रखने के खिलाफा जमकर विरोध-प्रदर्शन किया. वहीं, पांच सितंबर तक विद्यालय को दुर्गम श्रेणी में न रखने पर उग्र आंदोलन की भी चेतावनी दी है.

पीटीए अध्यक्ष भवान का कहना है कि एक वर्ष पूर्व शिक्षामंत्री अरविंद पांडेय ने डीएम और सीईओ के सामने विद्यालय को दो माह के भीतर दुर्गम करने का आश्वासन दिया था. लेकिन, अबतक इस मामले को लेकर किसी प्रकार कि कोई कार्रवाई नहीं हुई है. ग्रामीणों का कहना है कि इस दूरस्थ ग्रामीण क्षेत्र के विद्यालय को सुगम में रखे जाने पर यहां शिक्षकों की तैनाती नहीं हो पा रही है. साथ ही शिक्षकों की कमी के कारण अभिभावक विद्यालय में बच्चों को नहीं भेज रहे हैं. उनका कहना है कि इसी विद्यालय से अध्ययन कर चुके चार वैज्ञानिक विभिन्न संस्थानों में अपनी सेवा दे रहे हैं. लेकिन, आज विद्यालय में इंटरमीडिएट की कक्षाओं में विज्ञान वर्ग भी संचालित नहीं हो पा रहा है. जिससे बच्चों और अभिभावकों को भविष्य की चिंता सता रही है.

चंपावत: जीआईसी बरदाखान को सुगम श्रेणी में रखने का मामला तूल पकड़ने लगा है. इसी कड़ी में मंगलवार को जिले में पीटीए के नेतृत्व में अभिभावकों ने कोटिकरण के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने पांच सितंबर तक कोटिकरण ठीक न होने पर उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है. ग्रामीणों का कहना है कि इस दूरस्थ क्षेत्र के विद्यालय को सुगम में रखे जाने पर यहां शिक्षकों की तैनाती नहीं हो पा रही है.

अभिभावकों ने किया कोटिकरण का विरोध

ये भी पढ़ेंः देहरादून: 9 साल बाद भी नहीं मिला गरीबों को आशियाना, अधर में लटका निर्माण

दरअसल, चंपावत जिले के विकासखंड बाराकोट के जीआईसी बरदाखान को सुगम श्रेणी में रखने के बाद से ही लोगों में रोष बना हुआ है. अब ये मामला दिनों-दिन तूल पकड़ रहा है. इसी के चलते पीटीए अध्यक्ष भवान राम के नेतृत्व में अभिभावकों ने विद्यालय को सुगम श्रेणी में रखने के खिलाफा जमकर विरोध-प्रदर्शन किया. वहीं, पांच सितंबर तक विद्यालय को दुर्गम श्रेणी में न रखने पर उग्र आंदोलन की भी चेतावनी दी है.

पीटीए अध्यक्ष भवान का कहना है कि एक वर्ष पूर्व शिक्षामंत्री अरविंद पांडेय ने डीएम और सीईओ के सामने विद्यालय को दो माह के भीतर दुर्गम करने का आश्वासन दिया था. लेकिन, अबतक इस मामले को लेकर किसी प्रकार कि कोई कार्रवाई नहीं हुई है. ग्रामीणों का कहना है कि इस दूरस्थ ग्रामीण क्षेत्र के विद्यालय को सुगम में रखे जाने पर यहां शिक्षकों की तैनाती नहीं हो पा रही है. साथ ही शिक्षकों की कमी के कारण अभिभावक विद्यालय में बच्चों को नहीं भेज रहे हैं. उनका कहना है कि इसी विद्यालय से अध्ययन कर चुके चार वैज्ञानिक विभिन्न संस्थानों में अपनी सेवा दे रहे हैं. लेकिन, आज विद्यालय में इंटरमीडिएट की कक्षाओं में विज्ञान वर्ग भी संचालित नहीं हो पा रहा है. जिससे बच्चों और अभिभावकों को भविष्य की चिंता सता रही है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.