अल्मोड़ा/लक्सर: प्रदेश में लगातार हो रही बारिश के कारण जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है. प्रदेश की नदियां और नाले उफान पर हैं, जिसके कारण शासन प्रशासन भी अलर्ट पर है. बात अगर लक्सर की करें तो यहां गंगा का जलस्तर बढ़ने से लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. जिसे देखते हुए लक्सर एसडीएम ने सिंचाई विभाग के अधिकारियों के साथ गंगा नदी किनारे बने तटबंधों का निरक्षण किया. वही अल्मोड़ा में भी कमोवेश ऐसे ही हालात हैं. यहां भी आपदा जैसी स्थितियों से निपटने के लिए आपदा प्रबंधन विभाग ने व्यापक तैयारियां की हैं. इसके लिए जिले की 84 राशन की दुकानों को चिन्हित किया गया है, जिससे आपदा के समय पीड़ितों को राहत पहुंचायी जा सके.
पहाड़ों पर हो रही बारिश से गंगा नदी का जलस्तर बढ़ गया है. लक्सर के आस-पास के 3 दर्जन से अधिक गांवों पर खतरे के बादल मंडरा रहे हैं. जिसे देखते हुए लक्सर एसडीएम पूरण सिंह राणा ने सिंचाई विभाग के अधिकारियों के साथ बालावाली क्षेत्र के तटबंधों का निरक्षण किया. इस दौरान उन्होंने गंगा के जल स्तर को देखते हुए सुरक्षा के इंतजाम करने के आदेश दिये.
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वहीं इस मामले में लक्सर एसडीएम पूरण सिंह राणा ने बताया कि आपदा से निपटने की प्रॉपर योजना तैयार की गई है. जिसके मद्देनजर चार बाढ़ चौकियां स्थापित की गई हैं. उन्होंने बताया कि फिलहाल गंगा नदी का जलस्तर काफी बढ़ा हुआ है. लेकिन स्थिति कंट्रोल में है.
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वहीं, अल्मोड़ा में मानसून के सीजन में आपदा से निपटने के लिए व्यापक इंतजामात किये गये हैं. इसके लिए जिले की 84 राशन की दुकानों को चिन्हित किया गया है, जिनसे आपदा के समय पीड़ितों को राहत पहुंचायी जा सके. साथ ही एहतियातन हर जिले के हर ब्लॉक में 11 कम्युनिटी किचन और शेल्टर हाउस बनाये गए हैं. जिनमें खाद्य पदार्थों के साथ ही जरूरी उपकरणों का भी प्रबंध किया गया है. इसके अलावा आपदा के दौरान मलबा आने से मार्गों को खोलने के लिए जिले के 64 स्थानों पर जेसीबी तैनात की गई हैं.