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प्रधानाध्यापक ने घर के बाहर लेट कर माता-पिता से बच्चों को स्कूल भेजने का किया अनुरोध

स्कूल के एक प्रिंसिपल ने छात्रों को स्कूल भेजने के लिए अनूठा तरीका अपनाया. तेलंगाना में संगारेड्डी जिले के पुलकल अंचल के मुदी माणिक्यम गांव में बुधवार को हुए इस दिलचस्प दृश्य ने भी ग्रामीणों को बच्चों की शिक्षा के बारे में सोचने पर मजबूर कर दिया.

प्रधानाध्यापक का अभिनव विरोध
प्रधानाध्यापक का अभिनव विरोध
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Published : Jun 16, 2022, 12:12 PM IST

Updated : Jun 16, 2022, 9:34 PM IST

हैदराबाद : स्कूल के एक प्रिंसिपल ने छात्रों को स्कूल भेजने के लिए अनूठा तरीका अपनाया. तेलंगाना में संगारेड्डी जिले के पुलकल अंचल के मुदी माणिक्यम गांव में बुधवार को हुए इस दिलचस्प दृश्य ने भी ग्रामीणों को बच्चों की शिक्षा के बारे में सोचने पर मजबूर कर दिया. मुडी माणिक्यम में जिला परिषद हाई स्कूल में कुल 175 छात्र हैं. इनमें से आठ अलग-अलग कक्षाओं के छात्र स्कूल शुरू होने के बाद से उपस्थित नहीं हो रहे हैं. इसे भांपते हुए स्कूल के प्राचार्य श्रीधर राव बुधवार को छात्रों के घर गए.

पढ़ें: जुबली हिल्स रेप केस: आरोपियों ने कहा- हमारा इरादा शुरू से ही बलात्कार करने का था

उन्होंने छात्रों के अभिभावकों से उन्हें स्कूल भेजने का अनुरोध किया. लेकिन वे नहीं माने. इसके बाद उन्होंने उनके घरों के सामने लेटकर विरोध किया. तब माता-पिता ने अपने बच्चों को उसके साथ स्कूल भेजा. उन्होंने कहा कि जब तक बाकी छात्र स्कूल नहीं आ जाते, तब तक वह अपना धरना जारी रखेंगे.

मुदी मणिकायम स्थित जिला परिषद हाईस्कूल में 175 विद्यार्थी हैं. उनमें से कई छात्र अभी भी स्कूल नहीं जा रहे हैं. स्कूल प्रिंसिपल श्रीधर राव ने कहा कि इसलिए वह पूरा प्रयास कर रहे हैं कि सभी छात्र फिर से स्कूल ज्वाइन करें. उन्होंने कहा, 'मैं धरना जारी रखूंगा जब तक कि हर छात्र स्कूल वापस नहीं आ जाता.' राव ने कहा कि उन्हें इसमें कोई परेशानी नहीं है कि वह यहां आकर लेट रहे हैं.

हालांकि, एक युवा के जीवन में शिक्षाविदों के महत्व के बारे में परिवारों को प्रभावित करने में उनकी ईमानदारी का अच्छा असर हुआ. छात्रों के माता-पिता ने शिक्षा के महत्व को समझा और अपने बच्चों को वापस स्कूल भेजने के लिए सहमत हुए हैं.

हैदराबाद : स्कूल के एक प्रिंसिपल ने छात्रों को स्कूल भेजने के लिए अनूठा तरीका अपनाया. तेलंगाना में संगारेड्डी जिले के पुलकल अंचल के मुदी माणिक्यम गांव में बुधवार को हुए इस दिलचस्प दृश्य ने भी ग्रामीणों को बच्चों की शिक्षा के बारे में सोचने पर मजबूर कर दिया. मुडी माणिक्यम में जिला परिषद हाई स्कूल में कुल 175 छात्र हैं. इनमें से आठ अलग-अलग कक्षाओं के छात्र स्कूल शुरू होने के बाद से उपस्थित नहीं हो रहे हैं. इसे भांपते हुए स्कूल के प्राचार्य श्रीधर राव बुधवार को छात्रों के घर गए.

पढ़ें: जुबली हिल्स रेप केस: आरोपियों ने कहा- हमारा इरादा शुरू से ही बलात्कार करने का था

उन्होंने छात्रों के अभिभावकों से उन्हें स्कूल भेजने का अनुरोध किया. लेकिन वे नहीं माने. इसके बाद उन्होंने उनके घरों के सामने लेटकर विरोध किया. तब माता-पिता ने अपने बच्चों को उसके साथ स्कूल भेजा. उन्होंने कहा कि जब तक बाकी छात्र स्कूल नहीं आ जाते, तब तक वह अपना धरना जारी रखेंगे.

मुदी मणिकायम स्थित जिला परिषद हाईस्कूल में 175 विद्यार्थी हैं. उनमें से कई छात्र अभी भी स्कूल नहीं जा रहे हैं. स्कूल प्रिंसिपल श्रीधर राव ने कहा कि इसलिए वह पूरा प्रयास कर रहे हैं कि सभी छात्र फिर से स्कूल ज्वाइन करें. उन्होंने कहा, 'मैं धरना जारी रखूंगा जब तक कि हर छात्र स्कूल वापस नहीं आ जाता.' राव ने कहा कि उन्हें इसमें कोई परेशानी नहीं है कि वह यहां आकर लेट रहे हैं.

हालांकि, एक युवा के जीवन में शिक्षाविदों के महत्व के बारे में परिवारों को प्रभावित करने में उनकी ईमानदारी का अच्छा असर हुआ. छात्रों के माता-पिता ने शिक्षा के महत्व को समझा और अपने बच्चों को वापस स्कूल भेजने के लिए सहमत हुए हैं.

Last Updated : Jun 16, 2022, 9:34 PM IST
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