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गंगा दशहरा के दिन बन रहे चार फलदायी योग, जानें राशियों के हिसाब से दान का महत्व

Ganga Dussehra 2022: सनातन धर्म के अनुसार मां गंगा को मोक्षदायिनी माना जाता है और गंगा अवतरण का पर्व 'गंगा दशहरा' धूमधाम से मनाया जाता है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इसी दिन मां गंगा (Ganga River) स्वर्ग से धरती पर आई थी. शास्त्रों में उल्लेख है कि ज्येष्ठ माह की दशमी तिथि पर 'गंगा दशहरा' के दिन गंगा स्नान करने वाले व्यक्ति को विशेष पुण्य की प्राप्ति होती है. गुरुवार यानी 9 जून को गंगा दशहरा है. इस तिथि को चार विशिष्ट योग बन रहे हैं. ज्येष्ठ मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि यानी गंगा अवतरण दिवस पर स्नान और दान का महत्व बताया गया है.

Ganga dussehra 2022
Ganga dussehra 2022
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Published : Jun 8, 2022, 6:46 PM IST

नई दिल्ली : रघुकुल के राजा भगीरथ की तपस्या के प्रसन्न होकर ज्येष्ठ मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को मोक्षदायिनी मां गंगा हस्त नक्षत्र में पृथ्वी पर अवतरित हुई थीं. इसलिए हर साल इस तिथि को गंगा दशहरा मनाया जाता है. मां गंगा ने स्वर्ग से धरती पर आते ही राजा भगीरथ के पूर्वजों को मुक्ति दिलाई थी. ऐसी मान्यता है कि इसी दिन रामेश्वरम में भगवान श्रीराम ने शिवलिंग की स्थापना की थी.

इस बार गंगा दशहरा का पर्व 9 जून को मनाया जाएगा. हिंदू पंचांग के अनुसार, गंगा दशहरा के दिन चार योग बन रहे है, इसलिए इसे अत्यंत शुभ माना जा रहा है. हिंदू पंचांग के अनुसार, गंगा दशहरा 2022 का पर्व ज्येष्ठ माह के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को मनाया जाता है. मान्यता के अनुसार, इस दिन गंगा स्नान करने और दान देने की परंपरा है. कहा जाता है कि इस दिन गंगा में स्नान करने से सभी पापों से मुक्ति मिल जाती है.

गंगा दशहरा के दिन इसके साथ ही इस दिन हस्त नक्षत्र का भी शुभ संयोग बन रहा है. गुरु-चंद्रमा और मंगल का दृष्टि होने के कारण गज केसरी और महालक्ष्मी योग भी बन रहा है. वहीं, इस दिन सूर्य देव और बुध ग्रह वृषभ राशि में मौजूद रहेंगे. जिस कारण बुधादित्य योग बनेगा. इसके अलावा, सूर्य और चंद्रमा के नक्षत्रों से पूरे दिन रवि योग रहेगा. ऐसे चार शुभ महायोगों में दान स्नान का महत्व बढ़ गया है.

गंगा स्नान का शुभ समय : गुरुवार दशमी तिथि 9 जून को सुबह 8 बजकर 23 मिनट से 10 जून को सुबह 7 बजकर 27 मिनट तक रहेगा. 9 जून को सुबह 8 बजकर 23 मिनट से दोपहर 2 बजकर 5 मिनट तक शुभ योग है. सुबह 11 बजकर 51 मिनट से दोपहर 12 बजकर 45 मिनट तक अभिजीत मुहूर्त है. गंगा दशहरा के दिन गंगा स्नान करना पुण्यदायक माना जाता है. यदि गंगा घाट पर जाना संभव न हो तो आस-पास के तालाब या नदी में भी मां गंगा का नाम लेकर स्नान करें. डुबकी लगाते समय 'ऊं नमः शिवायेै, नारायण्यै, दशहरायै गंगायै नमः' मंत्र का उच्चारण अवश्य करें. गंगा स्नान के बाद ‘ऊँ नमः शिवायै नारायण्यै दशहरायै गंगायै स्वाहा’ मंत्र का जाप करते हुए हवन करें. पूजा के बाद फल, दीपक और तिल का दान करें. दान देते समय 'गंगायै नमः' कह कर मां गंगा का स्मरण करें. गरीब और जरूरतमंद को पंखा, कपड़े, जल युक्त घड़ा भी दान करने से भी पुण्य मिलता है.

राशि के हिसाब से दान करें : मेष राशि के जातक के लिए तिल और लाल तथा सफेद रंग के कपड़े दान करें. वृष राशि के जातकों को अन्न दान करना चाहिए. मिथुन राशि के लोग घड़े में पानी दान करें . लोगों के लिए प्याऊ लगाना भी फलदायक है. कर्क राशि के जातक कई तरह के फलों या मिठाइयों आदि दान करें. सिंह राशि वालों के लिए अनाज, फल और तांबे से बने बर्तनों का दान करना आपके लिए शुभ होगा. कन्या राशि के जातक फल, वस्त्र आदि का दान करें. तुला और कुंभ राशि के जातक मंदिरों में दान करें. वृश्चिक राशि वालों के लिए शरबत, अन्न और चावल का दान करना शुभ है. धनु राशि के जातक गरीबों और जरूरतमंदों फल व मिष्ठान्न का दान करें. मकर राशि वालों के लिए काला तिल और सरसों तेल का दान करना शुभ रहेगा. मीन राशि के जातक जरूरतमंदों को कपड़े बांटें.

नई दिल्ली : रघुकुल के राजा भगीरथ की तपस्या के प्रसन्न होकर ज्येष्ठ मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को मोक्षदायिनी मां गंगा हस्त नक्षत्र में पृथ्वी पर अवतरित हुई थीं. इसलिए हर साल इस तिथि को गंगा दशहरा मनाया जाता है. मां गंगा ने स्वर्ग से धरती पर आते ही राजा भगीरथ के पूर्वजों को मुक्ति दिलाई थी. ऐसी मान्यता है कि इसी दिन रामेश्वरम में भगवान श्रीराम ने शिवलिंग की स्थापना की थी.

इस बार गंगा दशहरा का पर्व 9 जून को मनाया जाएगा. हिंदू पंचांग के अनुसार, गंगा दशहरा के दिन चार योग बन रहे है, इसलिए इसे अत्यंत शुभ माना जा रहा है. हिंदू पंचांग के अनुसार, गंगा दशहरा 2022 का पर्व ज्येष्ठ माह के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को मनाया जाता है. मान्यता के अनुसार, इस दिन गंगा स्नान करने और दान देने की परंपरा है. कहा जाता है कि इस दिन गंगा में स्नान करने से सभी पापों से मुक्ति मिल जाती है.

गंगा दशहरा के दिन इसके साथ ही इस दिन हस्त नक्षत्र का भी शुभ संयोग बन रहा है. गुरु-चंद्रमा और मंगल का दृष्टि होने के कारण गज केसरी और महालक्ष्मी योग भी बन रहा है. वहीं, इस दिन सूर्य देव और बुध ग्रह वृषभ राशि में मौजूद रहेंगे. जिस कारण बुधादित्य योग बनेगा. इसके अलावा, सूर्य और चंद्रमा के नक्षत्रों से पूरे दिन रवि योग रहेगा. ऐसे चार शुभ महायोगों में दान स्नान का महत्व बढ़ गया है.

गंगा स्नान का शुभ समय : गुरुवार दशमी तिथि 9 जून को सुबह 8 बजकर 23 मिनट से 10 जून को सुबह 7 बजकर 27 मिनट तक रहेगा. 9 जून को सुबह 8 बजकर 23 मिनट से दोपहर 2 बजकर 5 मिनट तक शुभ योग है. सुबह 11 बजकर 51 मिनट से दोपहर 12 बजकर 45 मिनट तक अभिजीत मुहूर्त है. गंगा दशहरा के दिन गंगा स्नान करना पुण्यदायक माना जाता है. यदि गंगा घाट पर जाना संभव न हो तो आस-पास के तालाब या नदी में भी मां गंगा का नाम लेकर स्नान करें. डुबकी लगाते समय 'ऊं नमः शिवायेै, नारायण्यै, दशहरायै गंगायै नमः' मंत्र का उच्चारण अवश्य करें. गंगा स्नान के बाद ‘ऊँ नमः शिवायै नारायण्यै दशहरायै गंगायै स्वाहा’ मंत्र का जाप करते हुए हवन करें. पूजा के बाद फल, दीपक और तिल का दान करें. दान देते समय 'गंगायै नमः' कह कर मां गंगा का स्मरण करें. गरीब और जरूरतमंद को पंखा, कपड़े, जल युक्त घड़ा भी दान करने से भी पुण्य मिलता है.

राशि के हिसाब से दान करें : मेष राशि के जातक के लिए तिल और लाल तथा सफेद रंग के कपड़े दान करें. वृष राशि के जातकों को अन्न दान करना चाहिए. मिथुन राशि के लोग घड़े में पानी दान करें . लोगों के लिए प्याऊ लगाना भी फलदायक है. कर्क राशि के जातक कई तरह के फलों या मिठाइयों आदि दान करें. सिंह राशि वालों के लिए अनाज, फल और तांबे से बने बर्तनों का दान करना आपके लिए शुभ होगा. कन्या राशि के जातक फल, वस्त्र आदि का दान करें. तुला और कुंभ राशि के जातक मंदिरों में दान करें. वृश्चिक राशि वालों के लिए शरबत, अन्न और चावल का दान करना शुभ है. धनु राशि के जातक गरीबों और जरूरतमंदों फल व मिष्ठान्न का दान करें. मकर राशि वालों के लिए काला तिल और सरसों तेल का दान करना शुभ रहेगा. मीन राशि के जातक जरूरतमंदों को कपड़े बांटें.

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