ETV Bharat / bharat

राहुल गांधी को फिर से कांग्रेस पार्टी का अध्यक्ष बनाने की मांग - राजस्थान के उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट

राजस्थान संकट को जिस तरह सुलझाने के प्रयास किए गए उसके पीछे माना जा रहा है कि राहुल गांधी की अहम भूमिका रही है. पार्टी में फिर से उन्हें कांग्रेस अध्यक्ष बनाए जाने की मांग भी उठने लगी है.

राहुल गांधी, पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष
राहुल गांधी, पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष
author img

By

Published : Aug 17, 2020, 10:32 PM IST

नई दिल्ली: राजस्थान की राजनीतिक संकट से उबरने के बाद कांग्रेस पार्टी ने सचिन पायलट से किया वादा निभाया. पार्टी ने अविनाश पांडे की जगह अजय माकन को राजस्थान कांग्रेस का महासचिव बनाया. इस बदलाव के पीछे राहुल गांधी की भूमिका साफ नजर आती है.

माकन ने सोमवार को अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी मुख्यालय में राजस्थान के महासचिव का प्रभार संभाला. आगामी दिनों में उनके जयपुर आने की भी संभावना है.

कांग्रेस के एक पदाधिकारी ने कहा कि यह कदम राहुल गांधी द्वारा पायलट से किए गए वादों में से एक है. पांडे को सीएम अशोक गहलोत के करीबी सहयोगियों में से एक माना जाता था और पायलट शिविर के विधायकों ने अविनाश पांडे पर उपेक्षा करने की शिकायत की थी.

कांग्रेस पार्टी द्वारा जारी एक प्रेस बयान में कहा गया है कि पार्टी पूरी ईमानदारी से अविनाश पांडे के योगदान की सराहना करती है.

इसके अलावा राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट के बीच के मतभेद को सुलझाने के लिए केसी वेणुगोपाल, अहमद पटेल और अजय माकन सहित तीन सदस्यीय समिति भी बनाई गई. कमेटी के सदस्यों के साथ-साथ वो लोग जो पार्टी के साथ थे उनका चयन खुद राहुल गांधी ने किया है. ये लोग राहुल गांधी के करीबी भी माने जाते हैं.

राहुल गांधी को पार्टी प्रमुख के रूप में फिर से नियुक्त करने के लिए कांग्रेस के भीतर खलबली बढ़ने लगी है. पार्टी के निर्णय लेने में उनकी भूमिका को स्पष्ट रूप से देखा जा सकता है. कांग्रेस पार्टी के एक नेता के अनुसार राहुल गांधी ने युवा सदस्यों को मौका देने के अलावा पार्टी के वरिष्ठ नेताओं पर भी भरोसा दिखाया.


राज्यसभा सीटों के लिए वेणुगोपाल और राजीव साटव का चयन करने के बाद, सूत्रों के अनुसार, गांधी के युवा नेताओं की टीम में डीके शिवकुमार, मनिकम टैगोर, श्रीनिवास बी.वी. और अजय लल्लु को भी पार्टी में महत्वपूर्ण स्थान दिया जा सकता है.

नए कांग्रेस अध्यक्ष के चुनाव के बारे में पूछे जाने पर सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि हम कांग्रेस पार्टी के नेतृत्व में विश्वास करते हैं. हम उन्हें वापस पाकर बहुत खुश होंगे. हममें से अधिकांश का मानना ​​है कि केवल वही हैं जो सीमा सुरक्षा, गिरती अर्थव्यवस्था, अराजकता पर सवाल उठाकर इस सरकार को घुटनों पर लाने की हिम्मत रखते हैं.


यह भी पढ़ें - कांग्रेस ने नेतृत्व परिवर्तन संबंधी संजय झा के दावे को किया खारिज

नई दिल्ली: राजस्थान की राजनीतिक संकट से उबरने के बाद कांग्रेस पार्टी ने सचिन पायलट से किया वादा निभाया. पार्टी ने अविनाश पांडे की जगह अजय माकन को राजस्थान कांग्रेस का महासचिव बनाया. इस बदलाव के पीछे राहुल गांधी की भूमिका साफ नजर आती है.

माकन ने सोमवार को अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी मुख्यालय में राजस्थान के महासचिव का प्रभार संभाला. आगामी दिनों में उनके जयपुर आने की भी संभावना है.

कांग्रेस के एक पदाधिकारी ने कहा कि यह कदम राहुल गांधी द्वारा पायलट से किए गए वादों में से एक है. पांडे को सीएम अशोक गहलोत के करीबी सहयोगियों में से एक माना जाता था और पायलट शिविर के विधायकों ने अविनाश पांडे पर उपेक्षा करने की शिकायत की थी.

कांग्रेस पार्टी द्वारा जारी एक प्रेस बयान में कहा गया है कि पार्टी पूरी ईमानदारी से अविनाश पांडे के योगदान की सराहना करती है.

इसके अलावा राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट के बीच के मतभेद को सुलझाने के लिए केसी वेणुगोपाल, अहमद पटेल और अजय माकन सहित तीन सदस्यीय समिति भी बनाई गई. कमेटी के सदस्यों के साथ-साथ वो लोग जो पार्टी के साथ थे उनका चयन खुद राहुल गांधी ने किया है. ये लोग राहुल गांधी के करीबी भी माने जाते हैं.

राहुल गांधी को पार्टी प्रमुख के रूप में फिर से नियुक्त करने के लिए कांग्रेस के भीतर खलबली बढ़ने लगी है. पार्टी के निर्णय लेने में उनकी भूमिका को स्पष्ट रूप से देखा जा सकता है. कांग्रेस पार्टी के एक नेता के अनुसार राहुल गांधी ने युवा सदस्यों को मौका देने के अलावा पार्टी के वरिष्ठ नेताओं पर भी भरोसा दिखाया.


राज्यसभा सीटों के लिए वेणुगोपाल और राजीव साटव का चयन करने के बाद, सूत्रों के अनुसार, गांधी के युवा नेताओं की टीम में डीके शिवकुमार, मनिकम टैगोर, श्रीनिवास बी.वी. और अजय लल्लु को भी पार्टी में महत्वपूर्ण स्थान दिया जा सकता है.

नए कांग्रेस अध्यक्ष के चुनाव के बारे में पूछे जाने पर सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि हम कांग्रेस पार्टी के नेतृत्व में विश्वास करते हैं. हम उन्हें वापस पाकर बहुत खुश होंगे. हममें से अधिकांश का मानना ​​है कि केवल वही हैं जो सीमा सुरक्षा, गिरती अर्थव्यवस्था, अराजकता पर सवाल उठाकर इस सरकार को घुटनों पर लाने की हिम्मत रखते हैं.


यह भी पढ़ें - कांग्रेस ने नेतृत्व परिवर्तन संबंधी संजय झा के दावे को किया खारिज

For All Latest Updates

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.