वाराणसी: हरिश्चंद्र पीजी कॉलेज में भारतेंदु हरिश्चंद्र की मूर्ति को कुछ अराजकतत्वों ने तोड़ने का प्रयास किया. इस मामले के बाद छात्र उग्र हो गए हैं. छात्रों का कहना है कि प्रशासन को इसकी सूचना दे दी गई है. छात्रों का आरोप है कि अराजकतत्व माहौल बिगाड़ने का लगातार प्रयास कर रहे हैं. इसे देखते हुए प्रशासन को कड़ी नजर रखनी चाहिए. इस मामले में महाविद्यालय प्रशासन को कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए.
हरीशचंद्र पीजी कॉलेज के मुख्य द्वार पर छात्रों ने धरना किया. दरअसल, कॉलेज में स्थापित भारतेन्दु हरिश्चंद्र की मूर्ति को अराजकतत्वों द्वारा तोड़ दिया गया है. 2017 में इस मूर्ति की स्थापना डॉ. नीलकंठ तिवारी ने की थी. मूर्ति तोड़े जाने से गुस्साए छात्रों का कहना है कि महाविद्यालय की स्थिति को जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय की तरह संवेदनशील करने का प्रयास लगता है.
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उन्होंने कहा कि रात में महाविद्यालय परिसर में अराजकतत्वों का प्रवेश करना यह प्रथम दृष्टिया उस महाविद्यालय की सललिप्ता व सरंक्षण को दर्शाता है. छात्रों ने प्राचार्य को इस सन्दर्भ में ज्ञापन भी सौंपा दिया था, लेकिन उनके द्वारा कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली. अभी तक यह प्रतिमा टूटी पड़ी है, जिसके बाद छात्रों ने प्रदर्शन कर प्रतिमा लगाए जाने की मांग की है.