वाराणसीः काशी हिंदू विश्वविद्यालय प्रशासन और छात्रों के बीच विवाद थमने का नाम ही नहीं ले रहा है. जहां हिंदी पीएचडी के मामले को लेकर छात्र लगातार उग्र प्रदर्शन कर रहे थे. वहीं, दिव्यांग छात्रा के साथ 27 जनवरी को हुई छेड़खानी को लेकर छात्र शनिवार को एक बार फिर उग्र होकर प्रदर्शन करने लगे.
गौरतलब है कि 27 जनवरी से कुलपति आवास के बाहर दिव्यांग छात्र लगातार अपना प्रदर्शन कर रहे हैं. वहीं, शनिवार को नाराज छात्रों ने 16 दिन बाद कुलपति आवास के बाहर बीएचयू के वीसी सुधीर जैन का पुतला फूंका. इस दौरान छेड़खानी का शिकार हुई दिव्यांग छात्रा को इंसाफ दिलाने की मांग को लेकर सैकड़ों की संख्या में छात्रों ने वीसी के मुख्य द्वार पहुंचकर विरोध प्रदर्शन किया. इस दौरान छात्र और छात्राओं के हाथों में कैंडल और स्लोगन लिखकर धरना दिया. साथ ही कुलपति आवास से सैकड़ों की संख्या में छात्र-छात्राओं ने विरोध मार्च निकालकर विश्वविद्यालय प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. छात्रों के प्रदर्शन की सूचना मिलते ही बीएचयू प्रॉक्टोरियल बोर्ड और स्थानीय पुलिस मौके पर पहुंचकर छात्रों को समझाने लगी. वहीं, छात्र कार्रवाई की मांग को लेकर अड़े रहे.
बीएययू के छात्र संतोष त्रिपाठी ने बताया कि पीएम मोदी के संसदीय क्षेत्र और काशी हिंदू विश्वविद्यालय में इस तरह की घटना हो जाने के बाद भी विश्वविद्यालय प्रशासन छेड़खानी करने वाले दोषी को बचा रही है. प्रशासन ने आरोपियों पर हल्की धारा लगाकर एक दिन में जमानत दे दिया गया. इसी को लेकर आज लगभग 300 की संख्या में छात्र-छात्राओं ने विरोध कर कैंडल मार्च निकाला. इस दौरैन उग्र छात्रों ने कुलपति सुधीर जैन का पुतला फूंका. संतोष त्रिपाठी ने कहा कि जब तक विश्वविद्यालय प्रशासन छात्र-छात्राओं की बात नहीं मानता है तब तक विरोध प्रदर्शन जारी रहेगा.
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