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कर्मचारियों ने कहा- दो महीने से नहीं मिला वेतन, नहीं होगा घाट साफ - नमामि गंगे के तहत सफाई अभियान रुका

उत्तर प्रदेश के वाराणसी जिले में नमामि गंगे अभियान के तहत सफाई कर रहे सफाई कर्मचारियों ने हड़ताल कर दी है. कर्मचारियों का आरोप है कि उनका दो महीने का वेतन नहीं मिला है.

वाराणसी
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Published : Apr 17, 2021, 4:08 PM IST

वाराणसीः पीएम मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी के अस्सी घाट से शिवाला घाट तक की सफाई बंद हो गई है. यहां के घाट की नमामि गंगे अभियान के तहत सफाई होती है. कर्मचारियों ने सफाई कार्य शनिवार को बंद कर दिया. कर्मचारियों का आरोप है कि 2 महीने से उनका वेतन नहीं मिला है. कर्मचारियों ने एलान किया कि जबतक वेतन नहीं मिलेगा, सफाई नहीं की जाएगी. कर्मचारियों ने अस्सी घाट पर प्रदर्शन भी किया.

वाराणसी में हड़ताल
यहीं से शुरू किया था स्वच्छता अभियानदेश के प्रधानमंत्री और वाराणसी के सांसद नरेंद्र मोदी ने यहीं से 2 अक्टूबर 2017 को स्वच्छ भारत अभियान का शुभारंभ किया था. अब वहीं पर घाट की सफाई बंद हो गई है.

भाग गए कंपनी और ठेकेदार
कैमरे पर बात करने से मना करते हुए सफाई कर्मचारी राजकुमार ने बताया कि दो महीने से हम लोगों का वेतन नहीं मिला है. ठेकेदार गायब है. सुपरवाइजर का भी पता नहीं है. मलदहिया स्थित कार्यालय पर हम लोग गए थे लेकिन वहां पर भी ताला लगा है. हमें लगता है यह सब भाग गए हम लोगों के दो महीने का वेतन लेकर.

800 कर्मचारियों को नहीं मिला वेतन
सफाई कर्मचारियों ने बताया कि हम लोग संविदा कर्मचारी हैं. अस्सी घाट से लेकर राजघाट पुल तक लगभग 800 संविदा कर्मचारी काम करते हैं. सभी को दो महीने का पैसा नहीं मिला है.

इसे भी पढ़ेंः कोरोना : मौत के सरकारी आंकड़ों पर क्यों उठे सवाल, देखिए भयावह सच्चाई

ये बोले सफाईकर्मी
सफाई कर्मचारी कमला ने बताया दो महीने से वेतन का इंतजार कर रहे हैं. हमारे बच्चे भूखे हैं. ऐसे में हम लोग काम कैसे करेंगे. इसी तरह रामबली चौधरी ने बताया हम लोग नमामि गंगे के तहत संविदा पर घाटों को साफ करने का काम करते थे. पिछले दो महीने से हम लोगों का वेतन नहीं मिला है, इसीलिए आज हम लोग यहां पर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. जब तक हमारा वेतन नहीं मिलेगा, हम काम नहीं शुरू करेंगे. यहां पर हम लोग 50 की संख्या में कार्य करते हैं और राजघाट तक 800 कर्मचारी कार्य करते हैं.

वाराणसीः पीएम मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी के अस्सी घाट से शिवाला घाट तक की सफाई बंद हो गई है. यहां के घाट की नमामि गंगे अभियान के तहत सफाई होती है. कर्मचारियों ने सफाई कार्य शनिवार को बंद कर दिया. कर्मचारियों का आरोप है कि 2 महीने से उनका वेतन नहीं मिला है. कर्मचारियों ने एलान किया कि जबतक वेतन नहीं मिलेगा, सफाई नहीं की जाएगी. कर्मचारियों ने अस्सी घाट पर प्रदर्शन भी किया.

वाराणसी में हड़ताल
यहीं से शुरू किया था स्वच्छता अभियानदेश के प्रधानमंत्री और वाराणसी के सांसद नरेंद्र मोदी ने यहीं से 2 अक्टूबर 2017 को स्वच्छ भारत अभियान का शुभारंभ किया था. अब वहीं पर घाट की सफाई बंद हो गई है.

भाग गए कंपनी और ठेकेदार
कैमरे पर बात करने से मना करते हुए सफाई कर्मचारी राजकुमार ने बताया कि दो महीने से हम लोगों का वेतन नहीं मिला है. ठेकेदार गायब है. सुपरवाइजर का भी पता नहीं है. मलदहिया स्थित कार्यालय पर हम लोग गए थे लेकिन वहां पर भी ताला लगा है. हमें लगता है यह सब भाग गए हम लोगों के दो महीने का वेतन लेकर.

800 कर्मचारियों को नहीं मिला वेतन
सफाई कर्मचारियों ने बताया कि हम लोग संविदा कर्मचारी हैं. अस्सी घाट से लेकर राजघाट पुल तक लगभग 800 संविदा कर्मचारी काम करते हैं. सभी को दो महीने का पैसा नहीं मिला है.

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ये बोले सफाईकर्मी
सफाई कर्मचारी कमला ने बताया दो महीने से वेतन का इंतजार कर रहे हैं. हमारे बच्चे भूखे हैं. ऐसे में हम लोग काम कैसे करेंगे. इसी तरह रामबली चौधरी ने बताया हम लोग नमामि गंगे के तहत संविदा पर घाटों को साफ करने का काम करते थे. पिछले दो महीने से हम लोगों का वेतन नहीं मिला है, इसीलिए आज हम लोग यहां पर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. जब तक हमारा वेतन नहीं मिलेगा, हम काम नहीं शुरू करेंगे. यहां पर हम लोग 50 की संख्या में कार्य करते हैं और राजघाट तक 800 कर्मचारी कार्य करते हैं.

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