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सुलतानपुर: वायरल और संक्रामक रोगों ने पसारे पैर, रोगियों की बढ़ी संख्या - सुलतानपुर ताजा खबर

उत्तर प्रदेश के सुलतानपुर में पहली बारिश होते ही संक्रामक रोगों की बाढ़ सी आ गई है. जिला अस्पताल के सभी वार्ड वायरल और डायरिया के रोगियों से भरे हुए हैं. हालांकि अस्पताल प्रशासन व्यवस्था चुस्त-दुरुस्त होने का दावा कर रहा हैं.

वायरल और संक्रामक रोगों ने पसारे पैर.
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Published : Jul 10, 2019, 2:40 PM IST

सुलतानपुर: जिले में संक्रामक रोगों से बेपरवाह चिकित्सा अधिकारियों पर इस बार वायरल और संक्रमण ने हमला बोला है. वहीं सफाई व्यवस्था भी अपेक्षा के अनुरूप नहीं हो पा रही है. ऐसे में डायरिया हो या वायरल मरीजों और तीमारदारों को बेहाल कर रहा है. व्यवस्था चुस्त-दुरुस्त रखने में पहले से सावधानी नहीं बरतने से अफसर भी लाचार दिख रहे हैं.

वायरल और संक्रामक रोगों ने पसारे पैर.
  • सुल्तानपुर जिला अस्पताल में 900 से अधिक बेड संचालित है.
  • जिसमें आपातकालीन , मेडिसिन, जनरल, बाल रोग, महिला वार्ड समेत बर्न वार्ड और सर्जरी के वार्ड शामिल हैं.
  • जब संक्रमण वायरल और डायरिया का प्रकोप बढ़ता है तो मरीजों को आपातकालीन वार्ड से अन्य वार्डों में भी शिफ्ट किया जाता है.
  • इस बार तैयारी करने में चिकित्सा अधिकारी लापरवाह बने रहे नतीजा यह हुआ कि पहली बारिश होते ही संक्रामक रोगों की बाढ़ सी आ गई है.
  • जिला अस्पताल के तकरीबन सभी वार्ड भरे हुए हैं, यहां तक कि नवजात बच्चों के वार्ड भी खचाखच हैं.
  • चिकित्सा अधिकारी हालांकि व्यवस्था चुस्त-दुरुस्त होने का दावा कर रहे हैं, लेकिन असल तस्वीर कुछ और ही है.

डायरिया और संक्रामक रोगों का प्रसार इन दिनों बढ़ा है. वार्ड में कुछ समस्याएं आ रही हैं, लेकिन इसको नियंत्रित करने का प्रयास किया जा रहा है. लोग 6 से 7 घंटे से पुराना खाना न खाएं, मीट खाने से बचें.
-डॉ बीबी सिंह, मुख्य चिकित्सा अधीक्षक

सुलतानपुर: जिले में संक्रामक रोगों से बेपरवाह चिकित्सा अधिकारियों पर इस बार वायरल और संक्रमण ने हमला बोला है. वहीं सफाई व्यवस्था भी अपेक्षा के अनुरूप नहीं हो पा रही है. ऐसे में डायरिया हो या वायरल मरीजों और तीमारदारों को बेहाल कर रहा है. व्यवस्था चुस्त-दुरुस्त रखने में पहले से सावधानी नहीं बरतने से अफसर भी लाचार दिख रहे हैं.

वायरल और संक्रामक रोगों ने पसारे पैर.
  • सुल्तानपुर जिला अस्पताल में 900 से अधिक बेड संचालित है.
  • जिसमें आपातकालीन , मेडिसिन, जनरल, बाल रोग, महिला वार्ड समेत बर्न वार्ड और सर्जरी के वार्ड शामिल हैं.
  • जब संक्रमण वायरल और डायरिया का प्रकोप बढ़ता है तो मरीजों को आपातकालीन वार्ड से अन्य वार्डों में भी शिफ्ट किया जाता है.
  • इस बार तैयारी करने में चिकित्सा अधिकारी लापरवाह बने रहे नतीजा यह हुआ कि पहली बारिश होते ही संक्रामक रोगों की बाढ़ सी आ गई है.
  • जिला अस्पताल के तकरीबन सभी वार्ड भरे हुए हैं, यहां तक कि नवजात बच्चों के वार्ड भी खचाखच हैं.
  • चिकित्सा अधिकारी हालांकि व्यवस्था चुस्त-दुरुस्त होने का दावा कर रहे हैं, लेकिन असल तस्वीर कुछ और ही है.

डायरिया और संक्रामक रोगों का प्रसार इन दिनों बढ़ा है. वार्ड में कुछ समस्याएं आ रही हैं, लेकिन इसको नियंत्रित करने का प्रयास किया जा रहा है. लोग 6 से 7 घंटे से पुराना खाना न खाएं, मीट खाने से बचें.
-डॉ बीबी सिंह, मुख्य चिकित्सा अधीक्षक

Intro:विशेष
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शीर्षक : यह कैसे वायरल और संक्रामक रोग जो स्वास्थ्य व्यवस्था को कर रहे चित।



सुलतानपुर : संक्रामक रोगों से बेपरवाह चिकित्सा अधिकारियों पर इस बार वायरल और संक्रमण ने हमला बोला है। वार्ड मरीजों से खचाखच है। सफाई व्यवस्था भी अपेक्षा के अनुरूप नहीं हो पा रही है । ऐसे में डायरिया हो या वायरल। मरीजों और तीमारदारों को बेहाल कर रहा है । व्यवस्था चुस्त-दुरुस्त रखने में पहले से सावधानी नहीं बरतने से अफसर भी लाचार हो रहे हैं। हाल है सुल्तानपुर जिला अस्पताल का।


Body:सुल्तानपुर जिला अस्पताल में 900 से अधिक बेड संचालित है। जिसमें आपातकालीन , मेडिसिन, जनरल, बाल रोग, महिला वार्ड समेत बर्न वार्ड और सर्जरी के वार्ड शामिल हैं। जब संक्रमण वायरल और डायरिया का प्रकोप बढ़ता है तो मरीजों को आपातकालीन वार्ड से अन्य वार्डों में भी शिफ्ट किया जाता है। इस बार तैयारी करने में चिकित्सा अधिकारी लापरवाह बने रहे नतीजा यह हुआ कि पहली बारिश होते ही संक्रामक रोगों की बाढ़ सी आ गई है। जिला अस्पताल के तकरीबन सभी वार्ड भरे हुए हैं । यहां तक कि नवजात बच्चों के वार्ड भी खचाखच हैं मरीज और तीमारदारों को मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। चिकित्सा अधिकारी हालांकि व्यवस्था चुस्त-दुरुस्त होने का दावा कर रहे हैं । लेकिन असल तस्वीर कुछ जुदा ही है।


Conclusion:बाइट : मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ बीवी सिंह कहते हैं कि डायरिया और संक्रामक रोगों का प्रसार इन दिनों बढा है। वार्ड में कुछ समस्याएं आ रही हैं। लेकिन इसको नियंत्रित करने का प्रयास किया जा रहा है। लोग 6 7 घंटे से पुराना खाना ना खाएं। मीट खाने से बचें। प्रिवेंशन ही बचाव का सबसे बेहतरीन उपाय है।



आशुतोष मिश्रा, सुल्तानपुर , 94 15049 256
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