सुलतानपुरः बाराबंकी के नियामतपुर निवासी आशीष मिश्रा को कोर्ट ने स्कूल गई किशोरी को भगाने और रेप करने का दोषी ठहराया है. शनिवार को फास्ट ट्रैक कोर्ट की अदालत ने उसे 10 साल की कठोर कारावास की सजा दी है. इसके साथ ही कोर्ट ने 40 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है.
मामला सुलतानपुर जिले के बल्दीराय थाना क्षेत्र से जुड़ा है. जहां के रहने वाले पीड़ित ने 28 अक्टूर 2010 की घटना बताते हुए 25 मई 2011 को बल्दीराय पुलिस को तहरीर दी. पीड़ित पक्ष के आरोप के मुताबिक घटना के दिन उसकी 14 साल की बेटी पढ़ने के लिए गई थी. इसी दौरान आरोपी आशीष मिश्रा पुत्र देशराज मिश्रा निवासी भटमऊ थाना मवई जिला अयोध्या, हालांकि हाल का पता ग्राम नियामतपुर थाना दरियाबाद जिला बाराबंकी ने पीड़ित की नाबालिग बेटी को बहला-फुसलाकर भगा ले गया. इसके बाद उसके साथ रेप की वारदात को अंजाम दिया.
मामले में पुलिस ने एफआईआर दर्ज करने के बाद अपनी तफ्तीश पूरी कर आरोपी आशीष मिश्रा के खिलाफ आरोप-पत्र दाखिल किया. मामले का विचारण एफटीसी प्रथम की अदालत में चला. इस दौरान अभियोजन पक्ष से शासकीय अधिवक्ता ने अभियोजन गवाहों की गवाही दिलवाते हुए आरोपी आशीष मिश्रा को ही घटना का जिम्मेदार ठहराया.
इसे भी पढ़ें- सुलतानपुर में बेटे ने बाप पर दागी गोलियां, मुकदमा दर्ज
वहीं बचाव पक्ष ने अपने साक्ष्यों और तर्कों को पेशकर आरोपी को बेकसूर बताया. दोनों पक्षों को सुनने के बाद फास्ट ट्रैक कोर्ट की जज कल्पराज सिंह ने आरोपी को बहलाकर भगाकर ले जाने और रेप के आरोप में दोषी ठहराया. जिसकी सजा के बिंदु पर सुनवाई करते हुए अदालत ने उसे 10 साल के कारावास और 40 हजार रुपये के अर्थदंड की सजा सुनाई है.