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अधिकारियों और ठेकेदारों की लापरवाही से हुआ सोनभद्र खदान हादसा: पकौड़ी लाल कोल

यूपी के सोनभद्र में खदान धंसने से कई मजदूर नीचे दब गए. एनडीआरएफ की टीम की मदद से अब तक एक मजदूर का शव बरामद हुआ है. स्थानीय सांसद पकौड़ी लाल कोल ने अधिकारियों और ठेकेदारों को हादसे का जिम्मेदार बताया है.

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Published : Feb 29, 2020, 2:45 PM IST

Updated : Sep 17, 2020, 4:13 PM IST

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सोनभद्र खदान हादसे पर बोले स्थानीय सांसद पकौड़ी लाला कोल.

सोनभद्र: ओबरा थाना इलाके में खदान धंसने से करीब छह मजदूर दब गए थे. इस हादसे में दो लोगों को प्रशासन ने कई घंटों की मशक्कत के बाद बाहर निकाला था. वहीं एक शव को करीब 15 घंटे बाद एनडीआरएफ की टीम और प्रशासन की मदद से निकाला गया था. इस पर स्थानीय सांसद पकौड़ी लाल कोल का कहना है कि हादसा अधिकारियों और ठेकेदारों की मिलीभगत से हुआ है. इस संबंध में मैंने एसडीएम को अक्टूबर महीने में पत्र लिखा था. बावजूद इसके कोई कार्रवाई नहीं की गई, जिसकी वजह से यह हादसा हुआ है.

सोनभद्र खदान हादसे पर बोले स्थानीय सांसद पकौड़ी लाला कोल.

मजदूरों ने की थी यह शिकायत
भाजपा के सहयोगी अपनादल एस से राबर्ट्सगंज संसदीय क्षेत्र के सांसद पकौड़ी लाल कोल का कहना है कि क्षेत्र भ्रमण के दौरान अक्टूबर माह में वह ओबरा गए थे. वहां लोगों ने बताया कि खदान अवैध तरीके से चल रही है. उन्होंने बताया कि खदान में जो धमाके और बारूद दागे जाते हैं, उसके पत्थर मजदूरों के घर तक जाते हैं.

यह भी पढ़ें- पत्थर खदान से एनडीआरआफ और प्रशासन की टीम ने शव निकाला

मजदूरों की सुरक्षा के नहीं थे इंतजाम
पकौड़ी लाल ने बताया कि इसके बाद वह खदान की तरफ गए तो देखा खदान काफी गहरी है. हैरानी की बात तो यह है कि वहां सुरक्षा के कोई इंतजाम नहीं किए गए थे और न ही मजदूरों का रजिस्ट्रेशन भी नहीं था. इसके बाद मैंने एसडीएम को बताया कि यहां मजदूरों की सुरक्षा के लिए कोई इंतजाम नहीं हैं. इस संबंध में मैंने लिखिल शिकायत भी की थी, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई. अगर उस समय प्रशासन ने ध्यान दिया होता तो यह हादसा नहीं होता.

अधिकारियों और ठेकेदारों हैं जिम्मेदार
सांसद ने आगे कहा कि अभी तो मलबा निकाला जा रहा है. खदान में कितने लोग दबे हैं इस संबंध में तो अभी कोई जानकारी नहीं है. कुछ देर में पता चलेगा कि कितने मजदूरों की जान गई है. यह हादसा अधिकारियों और खनन ठेकेदारों की मिलीभगत से हुई है.

सोनभद्र: ओबरा थाना इलाके में खदान धंसने से करीब छह मजदूर दब गए थे. इस हादसे में दो लोगों को प्रशासन ने कई घंटों की मशक्कत के बाद बाहर निकाला था. वहीं एक शव को करीब 15 घंटे बाद एनडीआरएफ की टीम और प्रशासन की मदद से निकाला गया था. इस पर स्थानीय सांसद पकौड़ी लाल कोल का कहना है कि हादसा अधिकारियों और ठेकेदारों की मिलीभगत से हुआ है. इस संबंध में मैंने एसडीएम को अक्टूबर महीने में पत्र लिखा था. बावजूद इसके कोई कार्रवाई नहीं की गई, जिसकी वजह से यह हादसा हुआ है.

सोनभद्र खदान हादसे पर बोले स्थानीय सांसद पकौड़ी लाला कोल.

मजदूरों ने की थी यह शिकायत
भाजपा के सहयोगी अपनादल एस से राबर्ट्सगंज संसदीय क्षेत्र के सांसद पकौड़ी लाल कोल का कहना है कि क्षेत्र भ्रमण के दौरान अक्टूबर माह में वह ओबरा गए थे. वहां लोगों ने बताया कि खदान अवैध तरीके से चल रही है. उन्होंने बताया कि खदान में जो धमाके और बारूद दागे जाते हैं, उसके पत्थर मजदूरों के घर तक जाते हैं.

यह भी पढ़ें- पत्थर खदान से एनडीआरआफ और प्रशासन की टीम ने शव निकाला

मजदूरों की सुरक्षा के नहीं थे इंतजाम
पकौड़ी लाल ने बताया कि इसके बाद वह खदान की तरफ गए तो देखा खदान काफी गहरी है. हैरानी की बात तो यह है कि वहां सुरक्षा के कोई इंतजाम नहीं किए गए थे और न ही मजदूरों का रजिस्ट्रेशन भी नहीं था. इसके बाद मैंने एसडीएम को बताया कि यहां मजदूरों की सुरक्षा के लिए कोई इंतजाम नहीं हैं. इस संबंध में मैंने लिखिल शिकायत भी की थी, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई. अगर उस समय प्रशासन ने ध्यान दिया होता तो यह हादसा नहीं होता.

अधिकारियों और ठेकेदारों हैं जिम्मेदार
सांसद ने आगे कहा कि अभी तो मलबा निकाला जा रहा है. खदान में कितने लोग दबे हैं इस संबंध में तो अभी कोई जानकारी नहीं है. कुछ देर में पता चलेगा कि कितने मजदूरों की जान गई है. यह हादसा अधिकारियों और खनन ठेकेदारों की मिलीभगत से हुई है.

Last Updated : Sep 17, 2020, 4:13 PM IST
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