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सीतापुर में कुपोषण की समस्या से जूझ रहे नौनिहाल, योजनाएं साबित हो रही बदहाल

उत्तर प्रदेश के सीतापुर में बच्चे कुपोषण का शिकार हो रहे हैं. जिले में शून्य से पांच वर्ष के बच्चों के लिए कराये गए सर्वेक्षण में कुपोषण की भयावह तस्वीर सामने आई है. इस सर्वेक्षण में 11985 बच्चे अतिकुपोषित पाये गए हैं.

सीतापुर में कुपोषण की समस्या से जूझ रहे नौनिहाल.
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Published : Sep 1, 2019, 9:26 AM IST

Updated : Sep 1, 2019, 12:36 PM IST

सीतापुर: जिले में कुपोषण के कारण नौनिहालों की सेहत पर खासा असर पड़ रहा है. एक सर्वेक्षण के मुताबिक जिले में 80 हजार से अधिक बच्चे कुपोषित पाये गए हैं, जिसमें कुछ बच्चे बीमारी से ग्रस्त हैं तो वहीं कुछ की हालत असामान्य पाई गई.

सीतापुर में कुपोषण की समस्या से जूझ रहे नौनिहाल

नौनिहाल हो रहे कुपोषण का शिकार-

  • सीतापुर में शून्य से पांच वर्ष के बच्चों में कुपोषण की स्थित जानने के लिए एक सर्वेक्षण कराया गया.
  • इस सर्वेक्षण में 11985 बच्चे अतिकुपोषित पाये गए, जिन्हें लाल श्रेणी में रखा गया है.
  • जबकि 70955 बच्चे कुपोषित पाये गए हैं, जिन्हें पीली श्रेणी में रखा गया है.
  • एक नगर क्षेत्र और 19 ब्लॉक वाले जनपद के बिसवां ब्लॉक में सर्वाधिक 1094 बच्चे अतिकुपोषित पाये गए.
  • वहीं परसेंडी ब्लॉक में सर्वाधिक 8363 बच्चे कुपोषित पाये गए.
  • बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग ने ऐसे बच्चों के लिए पोषण अभियान चलाने का दावा किया है.

ये भी पढ़ें:- कानपुर में वार्ड ब्वॉय ने महिला मरीज से की अश्लील हरकत

इस सम्बंध में वैसे तो समय समय पर अभियान चलाए जाते हैं लेकिन इस बार पूरे सितम्बर माह को ही पोषण माह के रूप में मनाया जा रहा है, जिसमें ऐसे बच्चों पर विशेष ध्यान दिया जाएगा.
-राज कपूर, जिला कार्यक्रम अधिकारी

सीतापुर: जिले में कुपोषण के कारण नौनिहालों की सेहत पर खासा असर पड़ रहा है. एक सर्वेक्षण के मुताबिक जिले में 80 हजार से अधिक बच्चे कुपोषित पाये गए हैं, जिसमें कुछ बच्चे बीमारी से ग्रस्त हैं तो वहीं कुछ की हालत असामान्य पाई गई.

सीतापुर में कुपोषण की समस्या से जूझ रहे नौनिहाल

नौनिहाल हो रहे कुपोषण का शिकार-

  • सीतापुर में शून्य से पांच वर्ष के बच्चों में कुपोषण की स्थित जानने के लिए एक सर्वेक्षण कराया गया.
  • इस सर्वेक्षण में 11985 बच्चे अतिकुपोषित पाये गए, जिन्हें लाल श्रेणी में रखा गया है.
  • जबकि 70955 बच्चे कुपोषित पाये गए हैं, जिन्हें पीली श्रेणी में रखा गया है.
  • एक नगर क्षेत्र और 19 ब्लॉक वाले जनपद के बिसवां ब्लॉक में सर्वाधिक 1094 बच्चे अतिकुपोषित पाये गए.
  • वहीं परसेंडी ब्लॉक में सर्वाधिक 8363 बच्चे कुपोषित पाये गए.
  • बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग ने ऐसे बच्चों के लिए पोषण अभियान चलाने का दावा किया है.

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इस सम्बंध में वैसे तो समय समय पर अभियान चलाए जाते हैं लेकिन इस बार पूरे सितम्बर माह को ही पोषण माह के रूप में मनाया जा रहा है, जिसमें ऐसे बच्चों पर विशेष ध्यान दिया जाएगा.
-राज कपूर, जिला कार्यक्रम अधिकारी

Intro:सीतापुर:जिले में कुपोषण के कारण नौनिहालों की सेहत पर खासा असर पड़ रहा है.एक सर्वेक्षण के दौरान जिले में 80 हज़ार से अधिक बच्चे कुपोषित पाये गये हैं जिसमे कुछ बच्चे बीमारी से ग्रस्त पाये गए हैं तो कुछ बच्चे असामान्य पाये गए हैं. बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग ने ऐसे बच्चों के लिए पोषण अभियान चलाने का दावा किया है.


Body:सूबे की राजधानी से सटे सीतापुर में शून्य से पांच वर्ष के बच्चों के लिए कराये गए सर्वेक्षण में कुपोषण की भयावह तस्वीर सामने आई है. इस सर्वेक्षण में 11985 बच्चे अतिकुपोषित पाये गए हैं जिन्हें लाल श्रेणी में रखा गया है जबकि 70955 बच्चे कुपोषित पाये गए हैं जिन्हें पीली श्रेणी में रखा गया है.19 ब्लॉक और एक नगर क्षेत्र वाले इस जनपद में बिसवां ब्लॉक में सर्वाधिक 1094 बच्चे अतिकुपोषित पाये गए हैं जबकि परसेंडी ब्लॉक में सर्वाधिक 8363 बच्चे कुपोषित पाये गए हैं.


Conclusion:कुपोषण को लेकर जिले की यह स्थिति बेहद चिंताजनक है. जिला कार्यक्रम अधिकारी ने बताया कि इस सम्बंध में यूं तो समय समय पर अभियान चलाए जाते हैं लेकिन इस बार पूरे सितम्बर माह को ही पोषण माह के रूप में मनाया जा रहा है जिसमे ऐसे बच्चो पर विशेष ध्यान दिया जायेगा.

बाइट-राज कपूर (जिला कार्यक्रम अधिकारी)

सीतापुर से नीरज श्रीवास्तव की रिपोर्ट,9415084887
Last Updated : Sep 1, 2019, 12:36 PM IST
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