प्रयागराज: संगम नगरी में जनसंख्या असंतुलन, सामाजिक समरसता, मातृभाषा में शिक्षा और महिला सहभाग जैसे प्रमुख विषयों पर विस्तार से चर्चा के लिए संघ चार दिवसीय बैठक आयोजित करने जा रहा है. यह बैठक 16 अक्टूबर से शुरू होगी. इसमें संघ प्रमुख डॉ. मोहन भागवत समेत 45 प्रांतों के पदाधिकारी भाग लेंगे.
प्रयागराज में घूरपुर के गौहनिया इलाके में जयपुरिया स्कूल के वात्सल्य परिसर में संघ की चार दिवसीय बैठक होगी. कार्यक्रम की शुरुआत 16 अक्टूबर को सुबह 9 बजे आरएसएस प्रमुख डॉ मोहन भागवत करेंगे. इस बैठक में संघ के सभी प्रमुख कार्यकर्ता और पदाधिकारी शामिल रहेंगे. इस बैठक में विजयदशमी के दिन संघ के मुख्यालय में संघ प्रमुख मोहन भागवत ने जिन मुद्दों को अपने भाषण में उठाया था. उन सभी विषयों पर चार दिवसीय बैठक में विस्तार से चर्चा होगी.
देश में बढ़ते जनसंख्या असंतुलन को लेकर लंबी चर्चा होगी. इसके साथ ही देश और समाज में मातृभाषा में शिक्षा को बढ़ावा दिया जाने पर चर्चा की जाएगी. साथ ही महिला सहभाग को बढ़ाए जाने सहित समाज के सभी वर्गों से संवाद स्थापित करने और सामाजिक समरसता को बढ़ावा दिए जाने के विषय पर भी बैठक में चर्चा होगी.
संघ के सौ साल पूरे होने पर आयोजनों की रणनीति: 2025 में आरएसएस के सौ साल पूरे हो जाएंगे. इसको लेकर संघ की तरफ से देश भर में आयोजन किये जायेंगे. इसके साथ ही शताब्दी वर्ष समारोह से पहले संघ की 55 हजार शाखाओं के विस्तार कर उनकी संख्या एक लाख तक पहुंचाने का लक्ष्य रखा गया है. जिसे 2024 तक ही पूरा कर लिया जाएगा. इस लक्ष्य को पूरा करने के लिए किस तरह से कार्य किये जाएंगे, उसपर भी विस्तार से चर्चा होगी.
संघ के अखिल भारतीय प्रचार प्रमुख डॉ सुनील आंबेकर ने जानकारी दी कि आगामी संघ शिक्षा वर्ग 14 नवंबर से 8 दिसंबर के बीच नागपुर में आयोजित किया जाएगा. इसमें देश भर के 750 शिक्षार्थी शामिल होंगे. संघ प्रमुख मोहन भागवत पहली बार संगम प्रयागराज में 11 दिनों के प्रवास पर हैं. 19 अक्टूबर को बैठक के बाद भी संघ प्रमुख मोहन भागवत प्रयागराज में रहेंगे. उसके बाद 20 अक्टूबर को सभी प्रांत प्रचारक, क्षेत्र प्रचारक और अखिल भारतीय अधिकारियों के साथ भी बैठक करेंगे.
21 अक्टूबर को सभी क्षेत्र प्रचारकों के साथ विभिन्न मुद्दों पर चर्चा करेंगे. जबकि 22 अक्टूबर को संगम नगरी से रवाना हो जाएंगे. आरएसएस की अखिल भारतीय कार्यकारी मंडल की बैठक को लेकर कार्यक्रम स्थल पर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं. सुरक्षा के लिए पुलिस और पीएसी के साथ ही पैरामिलिट्री फोर्स को भी तैनात की गई है.
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