प्रयागराज: यूपी में विधानसभा चुनाव 2022 (UP Assembly Election 2022) को लेकर सरगर्मी तेज है. ऐसे में राजनीति की नर्सरी कहे जाने वाले पूरब का ऑक्सफोर्ड इलाहाबाद विश्वविद्यालय (Allahabad University) के छात्रों में भी चुनाव को लेकर जबरदस्त उत्साह है. हो भी क्यों ना...इसी विश्वविद्यालय से राजनीति का ककहरा सीखकर कई प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री और राष्ट्रपति हुए हैं.
आगामी चुनाव में यहां के छात्रों पर सियासी पारा चढ़ना लाजमी है. ईटीवी भारत ने विश्वविद्यालय के छात्रों से बात की और यह जानने की कोशिश की कि आगामी चुनाव को लेकर वह क्या सोचते हैं औैर क्या कुछ उम्मीदें हैं उन्हें उम्मीदवारों से. इस सवाल पर छात्रों का कहना है कि वर्तमान सरकार ने छात्रों के हितों में काम नहीं किया. छात्रों का मेनिफेस्टो जो लेकर आएगा उसी पार्टी को वोट करेंगे.
तो मतलब साफ है कि छात्रों का वोट उसी पार्टी को जाएगा जो रोजगार, छात्रसंघ बहाली जैसे तमाम मुद्दों को लेकर मैदान में उतरेगी. छात्रों का कहना है कि वर्तमान सरकार जो कि केंद्र में और प्रदेश में है, लेकिन उसके बावजूद भी छात्रसंघ बहाली नहीं हो पाई. कई बार केंद्र से गुहार लगाने के बाद भी छात्रसंघ बहाल नहीं हो सका.
सरकार ने अपने मेनिफेस्टो में छात्रों से वादा किया था कि सरकार आने के बाद बेरोजगारी दूर हो जाएगी और तमाम लंबित भर्तियां भरी जाएंगी. युवा बेरोजगारों को रोजगार मिल पाएगा, लेकिन अभी भी गरीब किसान का बेटा अपनी शिक्षा-दीक्षा के बावजूद भी बेरोजगार होकर इधर-उधर भटक रहा है. छात्रों का मानना है कि धर्म-जाति से ऊपर उठकर इस बार युवा वोट करेगा. कुछ छात्रों का कहना था कि यह छात्र विरोधी और किसान विरोधी सरकार है और इस बार इस सरकार को उखाड़ फेंकने का काम करेंगे.
छात्रों का कहना है कि हर पार्टी के प्रतिनिधि मिलने आ रहे हैं और छात्र हितों की बात कर रहे हैं, लेकिन इस बार छात्रों का खासतौर पर कहना है कि पूरे देश का छात्र इस बार 2022 में उस पार्टी को ही वोट करने जा रहा है, जो इस बार छात्रसंघ बहाल करेगी और बेरोजगारी को दूर करेगी.
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