चंदौली : जिले में मंगलवार को हुई बारिश किसानों के लिए मुसीबत का सबब बनकर आई. इस बारिश से धानक्रय केंद्रों पर ऑनलाइन और ऑफलाइन टोकन के चक्कर में विक्रय मंडियों में रखा किसानों का धान भीग गया.
इससे परेशान किसान अपनी समस्या को लेकर डिप्टी आरएमओ ऑफिस पहुंचे और समस्या का हल निकालने की बात कही. हालांकि इस पर डिप्टी आरएमओ अनूप श्रीवस्तव ने उन्हें झिड़क दिया. तल्ख तेवरों में कहा, 'मेरे पास आने की बजाए आप लोग जाकर सरकार से पूछें की धान कैसे बिकेगा'.
इस पर किसान आक्रोशित हो गए और जमकर हो हल्ला मचा. मामला गालीगलौज तक पहुंच गया. अब इसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है.
दरअसल, बारिश और आगामी दिनों में मौसम खराब होने के पूर्वानुमान के चलते किसान परेशान हैं. उन्हें मंडियों में बिक्री के लिए पहुंचाए गए धान के खराब होने की चिंता सता रही है.
इन दुश्वारियों के बीच सरकार द्वारा की गई नई ऑनलाइन-ऑफलाइन टोकन की पहल किसान को और परेशान कर रही है. अधिकारी उन्हें संतुष्ट नहीं कर पा रहें हैं.
समस्या बताने पर डिप्टी आरएमओ सरकार से सवाल पूछने की बात कह रहे है. बुधवार को डिप्टी आरएमओ कार्यालय पर किसान और डिप्टी आरएमओ भीड़ गए.
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उनके बीच काफी देर तक गरमा-गरमी हुई और अंततः किसान बिना समाधान के वापस चले गए. इस दौरान कई किसानों ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के हमदर्द नेता फिलहाल इस सीन से गायब दिखाई दे रहे हैं.
किसानों का कहना है कि चुनाव के समय में नेतागिरी करने वाले और किसानों के हमदर्द बनने वाले राजनेताओं को आकर किसानों को संतुष्ट करना चाहिए.
सरकार को उनके धान को बिकवाने की हर संभव कोशिश करनी चाहिए. केवल हितैषी बनने का नाटक करने और भाषणबाजी से किसान अब संतुष्ट नहीं होने वाले है. इसका खामियाजा आने वाले चुनाव में सभी भुगतना पड़ेगा.
गौरतलब है कि चंदौली समेत पूरे प्रदेश में धान खरीद की स्थिति बेहद खराब है. क्रय केंद्र प्रभारियों पर किसानों की बजाय बिचौलियों से खरीद का आरोप लग रहा है.
इसे देखते हुए योगी सरकार ने शुक्रवार को ऑफलाइन टोकन सिस्टम को बंद कर ऑनलाइन टोकन प्रणाली शुरू कर दी. इससे पहले से ही ऑफलाइन टोकन ले चुके किसानों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था.
इस बीच आक्रोशित किसानों ने शनिवार को केंद्रीय मंत्री महेंद्र पांडेय का घेराव कर समस्या का हल निकाले जाने की मांग करने की. इसके बाद उनकी पहल पर सीएम योगी ने दो दिनों के लिए ऑफलाइन खरीद का नया आदेश जारी कर दिया. इसके बाद ऑनलाइन और ऑफलाइन के चक्कर में किसानों की खरीद नहीं हो सकी.