मिर्जापुर: किसानों को धान की उपज का वाजिब दाम मिल सके. इसके लिए सरकार ने मिर्जापुर जिले में 89 क्रय केंद्रों पर 261250 मीट्रिक टन खरीद का लक्ष्य निर्धारित किया है. लक्ष्य के मुकाबले अभी तक 5322 किसानों से 28474 हजार मीट्रिक टन ही खरीद हो पाई है. धीमी गति खरीदारी और किसानों से बहानेबाजी करने को लेकर केंद्र प्रभारियों से नाराज जिला प्रशासन ने पीसीएम नारायणपुर ब्लॉक और एनसीसीएफ मड़िहान केंद्र प्रभारी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है.
दो धान क्रय केंद्र प्रभारियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज
निर्धारित किए गए लक्ष्य के सापेक्ष धान की खरीदारी करने के लिए जिले में बनाए गए अधिकतर धान केंद्र सफेद हाथी साबित हो रहे हैं, जहां केंद्र खोले गए हैं वहां पर कुछ केंद्रों पर धीमी गति से खरीदारी की जा रही है. कुछ केंद्रों पर किसानों को परेशान भी किया जा रहा है. कई बार बुलाने के बावजूद भी उनके धान नहीं खरीदे जा रहे हैं. इस शिकायत को लेकर जिला प्रशासन ने पीसीएफ नारायनपुर ब्लाक के प्रभारी पर मुकदमा दर्ज कराया है. वहां मात्र 27 नवंबर को एक किसान से 34 कुंतल खरीदारी की गई थी,जिससे नाराज जिलाधिकारी ने मुकदमा दर्ज कराया. दूसरा मड़िहान एनसीसीएफ धान क्रय केंद्र का है, जहां एक किसान को बहानेबाजी कर कई बार केंद्र प्रभारी ने वापस किया किसान के तहरीर पर यहां भी मुकदमा दर्ज किया गया है, जिससे केंद्र प्रभारियों में हड़कंप मचा हुआ है.
धान क्रय केंद्रों पर धीमी गति की खरीदारी को लेकर जिला प्रशासन सख्त
उत्तर प्रदेश शासन से जारी किए गए क्रय नीति 2020- 21 में दिए गए निर्देशों के अनुसार किसानों से धान की खरीद न करने और सरकारी कार्य में बाधा उत्पन्न पहुंचाने जैसे मामले को गंभीरता से लिया है. प्रमुख सचिव ने वीडियो कांफ्रेंसिंग में समीक्षा के दौरान धीमी धान खरीद में लापरवाही बरतने वाले सचिवों की सूची तैयार करने कहा था. नाराजगी जताते हुए कहा था उनके खिलाफ कार्रवाई कर अवगत कराएं .इसी को लेकर जिला अधिकारी सुशील कुमार पटेल ,अपर जिलाधिकारी यूपी सिंह और डिप्टी आरएमओ धनंजय सिंह लगातार केंद्रों का जायजा ले रहे हैं. केंद्र प्रभारियों को कड़ी चेतावनी देते हुए किसानों को परेशान न करने को कहा जा रहा है. इसके बावजूद भी किसान परेशान हैं.
किसानों को धान क्रय केंद्र तक लेखपाल लाएंगे
किसानों की परेशानी को देखते हुए अब सभी उप जिलाधिकारियों से कहा गया है कि क्षेत्रीय लेखपाल किसान को क्रय केंद्र तक लाने का काम करेंगे, जिससे सही समय पर किसानों के धान बिक पाएं. लेखपाल अपने अपने क्षेत्र के लघु और सीमांत किसानों को क्रय केंद्र पर लाने का काम करेंगे .साथ ही किसी भी लघु और सीमांत किसान द्वारा धान नहीं लेने की शिकायत मिलने पर संबंधित लेखपाल को जिम्मेदार मानते हुए कड़ी कार्रवाई की जाएगी.
जनपद ने निर्धारित लक्ष्य
जनपद में कुल 89 धान क्रय केंद्र संचालित हैं. शासन से 261250 मीट्रिक टन धान खरीद का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. इसमें से वर्तमान समय में 5322 किसानों से 28474 हजार मीट्रिक टन ही खरीद हो पाई. एक किसान से 75 क्विंटल का राइडर बनाया गया है, उससे उसी हिसाब से लिया जा रहा है, जिससे ज्यादा से ज्यादा किसानों से धान की खरीद हो पाए.
मिर्जापुर में दो धान क्रय केंद्र प्रभारियों के खिलाफ हुआ मुकदमा दर्ज - मिर्जापुर में धान क्रय केंद्र
यूपी के मिर्जापुर जिले में किसानों से धान खरीद में लापरवाही बरतने के आरोप में दो धान क्रय केंद्र प्रभारियों के खिलाफ मुदमा दर्ज कराया गया है. इस कार्रवाई से केंद्र प्रभारियों में हड़कंप मचा हुआ है.
मिर्जापुर: किसानों को धान की उपज का वाजिब दाम मिल सके. इसके लिए सरकार ने मिर्जापुर जिले में 89 क्रय केंद्रों पर 261250 मीट्रिक टन खरीद का लक्ष्य निर्धारित किया है. लक्ष्य के मुकाबले अभी तक 5322 किसानों से 28474 हजार मीट्रिक टन ही खरीद हो पाई है. धीमी गति खरीदारी और किसानों से बहानेबाजी करने को लेकर केंद्र प्रभारियों से नाराज जिला प्रशासन ने पीसीएम नारायणपुर ब्लॉक और एनसीसीएफ मड़िहान केंद्र प्रभारी के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है.
दो धान क्रय केंद्र प्रभारियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज
निर्धारित किए गए लक्ष्य के सापेक्ष धान की खरीदारी करने के लिए जिले में बनाए गए अधिकतर धान केंद्र सफेद हाथी साबित हो रहे हैं, जहां केंद्र खोले गए हैं वहां पर कुछ केंद्रों पर धीमी गति से खरीदारी की जा रही है. कुछ केंद्रों पर किसानों को परेशान भी किया जा रहा है. कई बार बुलाने के बावजूद भी उनके धान नहीं खरीदे जा रहे हैं. इस शिकायत को लेकर जिला प्रशासन ने पीसीएफ नारायनपुर ब्लाक के प्रभारी पर मुकदमा दर्ज कराया है. वहां मात्र 27 नवंबर को एक किसान से 34 कुंतल खरीदारी की गई थी,जिससे नाराज जिलाधिकारी ने मुकदमा दर्ज कराया. दूसरा मड़िहान एनसीसीएफ धान क्रय केंद्र का है, जहां एक किसान को बहानेबाजी कर कई बार केंद्र प्रभारी ने वापस किया किसान के तहरीर पर यहां भी मुकदमा दर्ज किया गया है, जिससे केंद्र प्रभारियों में हड़कंप मचा हुआ है.
धान क्रय केंद्रों पर धीमी गति की खरीदारी को लेकर जिला प्रशासन सख्त
उत्तर प्रदेश शासन से जारी किए गए क्रय नीति 2020- 21 में दिए गए निर्देशों के अनुसार किसानों से धान की खरीद न करने और सरकारी कार्य में बाधा उत्पन्न पहुंचाने जैसे मामले को गंभीरता से लिया है. प्रमुख सचिव ने वीडियो कांफ्रेंसिंग में समीक्षा के दौरान धीमी धान खरीद में लापरवाही बरतने वाले सचिवों की सूची तैयार करने कहा था. नाराजगी जताते हुए कहा था उनके खिलाफ कार्रवाई कर अवगत कराएं .इसी को लेकर जिला अधिकारी सुशील कुमार पटेल ,अपर जिलाधिकारी यूपी सिंह और डिप्टी आरएमओ धनंजय सिंह लगातार केंद्रों का जायजा ले रहे हैं. केंद्र प्रभारियों को कड़ी चेतावनी देते हुए किसानों को परेशान न करने को कहा जा रहा है. इसके बावजूद भी किसान परेशान हैं.
किसानों को धान क्रय केंद्र तक लेखपाल लाएंगे
किसानों की परेशानी को देखते हुए अब सभी उप जिलाधिकारियों से कहा गया है कि क्षेत्रीय लेखपाल किसान को क्रय केंद्र तक लाने का काम करेंगे, जिससे सही समय पर किसानों के धान बिक पाएं. लेखपाल अपने अपने क्षेत्र के लघु और सीमांत किसानों को क्रय केंद्र पर लाने का काम करेंगे .साथ ही किसी भी लघु और सीमांत किसान द्वारा धान नहीं लेने की शिकायत मिलने पर संबंधित लेखपाल को जिम्मेदार मानते हुए कड़ी कार्रवाई की जाएगी.
जनपद ने निर्धारित लक्ष्य
जनपद में कुल 89 धान क्रय केंद्र संचालित हैं. शासन से 261250 मीट्रिक टन धान खरीद का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. इसमें से वर्तमान समय में 5322 किसानों से 28474 हजार मीट्रिक टन ही खरीद हो पाई. एक किसान से 75 क्विंटल का राइडर बनाया गया है, उससे उसी हिसाब से लिया जा रहा है, जिससे ज्यादा से ज्यादा किसानों से धान की खरीद हो पाए.