मेरठः जिले के मवाना क्षेत्र में गुरुवार को प्राइमरी स्कूल के बच्चों को स्कूल के गेट पर खुले आसमान तले बैठकर पढ़ना पढ़ा. सड़क पर ही बच्चों को बैठकर पढ़ना पड़ा. मिड डे मील भी बच्चों को सड़क पर ही परोसा गया.
जानकारी के मुताबिक, बुधवार को पिलोना गांव के प्राइमरी स्कूल में बड़ी तादाद में आवारा गोवंश को ग्रामीणों ने बंद कर दिया. साथ ही ग्रामीणों ने स्कूल के गेट पर ताला लगा दिया. जब बच्चे स्कूल पढ़ने आए तो अंदर आवारा जानवर बंद थे. ऐसे में स्कूल के गेट के बाहर दरी बिछाकर बच्चों ने पढ़ाई की. दरअसल, डीएम के आदेश के पांच दिन बाद स्कूल खुला था. स्कूल खुलते ही उसके अंदर आवारा जानवर बंधे मिले. जब स्कूल के गेट के बाहर क्लास लगी तो यह मामला अफसरों तक पहुंच गया. इसके बाद हरकत में आए अफसरों ने ग्रामीणों को मनाना शुरू किया. अंत में एसडीएम मवाना अखिलेश यादव को वहां जाना पड़ा. ग्रामीणों को उन्होंने स्कूल से गोवंशों को निकालकर गोशालाओं में शिफ्ट करने का आश्वासन दिया.
वहीं, किसानों का कहना है कि आवारा पशु गेहूं और सरसों की फसल बर्बाद कर रहे हैं, इसके चलते वह बेहद परेशान हैं. लोगों ने अफसरों को समस्याएं गिनाईं तो उन्होंने उचित कदम उठाने का भरोसा दिया. इसके बाद एसडीएम ने सभी आवारा पशुओं को गोशाला में शिफ्ट करने के निर्देश दिए. इसके बाद स्कूल का ताला खुला. इससे पहले बच्चों ने मिड डे मील भी स्कूल गेट पर किया.
इस बारे में एसडीएम अखिलेश यादव ने ईटीवी भारत को बताया कि वह मानते हैं कि किसानों की समस्या जटिल है. उन्होंने कहा कि डीएम के निर्देश पर कुछ नई गोशाला तैयार हो रहीं हैं, इसके बाद निश्चित ही बेसहारा गोवंशों को उनमें सरंक्षित कर सुरक्षित किया जाएगा ताकि यह समस्या फिर न हो.
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