मेरठः जिले के गंगानगर थाने में तैनात एक दारोगा को सस्पेंड कर दिया गया है. आरोप है कि वो हनी ट्रैप का गैंग चला रही एक युवती का मददगार बना हुआ था. उसने युवती के साथ मिलकर एक शख्स को जेल भेजने की बात कहकर धमकाया था. इसके बाद उससे 1.20 लाख रुपये वसूल लिये थे. हालांकि युवक की शिकायत पर एसएसपी मेरठ प्रभाकर चौधरी ने दारोगा को निलंबित करते हुए विभागीय जांच बैठा दी है. इसके साथ ही दारोगा और युवती समेत चार लोगों पर मुकदमा दर्ज कर लिया गया है.
हापुड़ के बाबूगढ़ छावनी निवासी आरिफ ने अपनी शिकायत में बताया कि 5 मई को उसके पास किसी जोया नाम की लड़की का फोन आया. जिसके बाद दोनों की दोस्ती हो गई. युवती ने उससे बताया कि वो नानू की रहने वाली है. आरिफ के मुताबिक 14 जून को जोया ने उसे कसेरू बक्सर में मिलने बुलाया. आरोप है कि जब जोया से मिलने पहुंचा तो अब्दुल कादिर और हयात ने पुलिस के संग मिलकर उसे पकड़ लिया. अब्दुल कादिर और हयात खुद को युवती का परिजन बता रहे थे. आरिफ पर युवती को अगवा करने का आरोप लगा दिया.
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आरोप है कि परिजनों और उस समय रजपुरा चौकी पर तैनात दारोगा दिनेश कुमार ने उसे मुकदमे में फंसाकर जेल भेजने की धमकी दी और बचने की एवज में उससे 5 लाख रुपये की मांग की. दिनेश कुमार ने आरिफ को छोड़ने के लिए 1.20 हजार रुपये लिए. आरिफ ने आरोप लगाया कि इसके बाद से जोया उसे लगातार फोन कर रकम की मांग करती रही और दारोगा दिनेश कुमार भी उसे फोन पर धमकी देते थे. जब ये लोग लगातार आरिफ को परेशान करते रहे तो आरिफ ने एसएसपी से मामले की शिकायत कर दी. एसएसपी ने जांच सीओ सदर देहात को दी गई. रिपोर्ट और सबूतों के आधार पर मुकदमा दर्ज कराया गया. जिसके बाद एसएसपी ने आरोपी दारोगा दिनेश कुमार को धारा 384 और भष्ट्राचार निरोधक अधिकनियम की धारा में मुकदमा दर्ज कर सस्पेंड कर दिया गया है.