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CCSU का विष विज्ञान विभाग शुरू कर रहा ये नया कोर्स, रोजगार की हैं ज्यादा संभावनाएं, पढ़िए डिटेल

मेरठ के चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय (Chaudhary Charan Singh University New Course) के विष विज्ञान विभाग की ओर से नया कोर्स शुरू किया जा रहा है. इसमें रोजगार की भी काफी संभावनाएं हैं. इच्छुक छात्र-छात्राएं विवि की वेबसाइट पर जाकर जानकारी ले सकते हैं.

सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर ने नए कोर्स की जानकारी दी.
सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर ने नए कोर्स की जानकारी दी.
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Published : Jul 3, 2023, 8:41 PM IST

सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर ने नए कोर्स की जानकारी दी.

मेरठ : अब पब्लिक हेल्थ का कोर्स करने के लिए छात्र-छात्राओं को दूसरे राज्यों में जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी. चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय परिसर में संचालित विष विज्ञान विभाग इसी सत्र से पब्लिक हेल्थ में पीजी डिप्लोमा कोर्स शुरू करने जा रहा है. यह युवाओं के लिए काफी उपयोगी साबित होगा. इसमें रोजगार की अपार संभावनाएं हैं. कोर्स को लेकर विष विज्ञान विभाग (toxicology department) के सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. यशवेंद्र वर्मा से ईटीवी भारत से विस्तार से चर्चा की.

स्नातक एवं परास्नातक है योग्यता : विष विज्ञान विभाग के सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. यशवेंद्र वर्मा ने बताया कि चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय परिसर में संचालित विष विज्ञान विभाग इसी सत्र से पब्लिक हेल्थ में पीजी डिप्लोमा कराएगा. ये एक ऐसा कोर्स है जो कि युवाओं को रोजगार की काफी संभावनाएं मुहैया कराएगा. इस कोर्स से पब्लिक सेक्टर में स्किल्ड मैनपावर को विकसित करेंगे. सरकारी एजेंसी, प्राइवेट सेक्टर, खासकर हेल्थ सेक्टर और डेवलपमेंट सेक्टर हैं, इनमें मैनपावर की आवश्यकता पड़ती है. सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. यशवेंद्र वर्मा ने बताया कि इस कोर्स के लिए न्यूनतम योग्यता स्नातक एवं परास्नातक है. चाहे लाइफ साइंस से हों, सोशल साइंस से हों या चाहे मेडिकल साइंस से हों. वे आवेदन कर सकते हैं.

कोर्स में है अपार संभावनाएं : सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर ने बताया कि खासतौर से सरकारी सेवा में कार्यरत हैं, उनको वरीयता देंगे. 2020 में हम लोग बहुत ही त्रासदी से गुजर चुके हैं. जब कोविड जैसी महामारी आई तो सभी लोग असहाय थे. इस फेज में इस तरह के कोर्स की बहुत ही ज्यादा जरूरत महसूस की गई थी. मैनपावर की जबरदस्त डिमांड थी जो पब्लिक हेल्थ से जुड़ी बीमारियों से जूझ सकें. सारी चीजों को देखते हुए सरकार का भी इनिशिएटिव है. मेडिकल के क्षेत्र से जुड़े संस्थानों में पब्लिक हेल्थ विषय के रूप में पढ़ाया जाता है. अब एक वर्ष का ये डिप्लोमा कोर्स काफी चीजें कवर करेगा. इससे मैनपॉवर डेवलप होगी और पब्लिक हेल्थ से जो संबंधित जो सेक्टर हैं,उसमें रोजगार की अपार संभावनाएं हैं.

ऐसे करें आवेदन : छात्र-छात्राएं जो इस खास कोर्स में एडमिशन लेना चाहते हैं,वह इस लिंक के जरिए अधिक जानकारी प्राप्त कर सकते हैं. https://www.ccsuniversity.ac.in/ccsum/ फिलहाल चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय की मुख्य वेबसाइट पर विजिट करते रहें. इससे रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया कब शुरू होगी, इसकी जानकारी मिल जाएगी. आरंभ में 20 सीटें रखी गई हैं. दो सेमेस्टर होंगे. एक सेमेस्टर में दो कोर्स रहेंगे. इसके साथ-साथ निबंध कार्य भी कराएंगे. इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च से जुड़े जो संस्थान हैं उनमें स्टूडेंट्स को समर ट्रेनिंग के लिए भेजा जाएगा. जिससे छात्र पूरी तरह से तैयार होकर के मैदान में उतरे, इस कोर्स के लिए प्रति सेमेस्टर 50,000 रुपये का शुल्क निर्धारित किया गया है.

यह भी पढ़ें : मेरठ के इस पत्ता मोहल्ले में पत्तल परंपरा को आज भी जीवित रखे हैं दो भाई

सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर ने नए कोर्स की जानकारी दी.

मेरठ : अब पब्लिक हेल्थ का कोर्स करने के लिए छात्र-छात्राओं को दूसरे राज्यों में जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी. चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय परिसर में संचालित विष विज्ञान विभाग इसी सत्र से पब्लिक हेल्थ में पीजी डिप्लोमा कोर्स शुरू करने जा रहा है. यह युवाओं के लिए काफी उपयोगी साबित होगा. इसमें रोजगार की अपार संभावनाएं हैं. कोर्स को लेकर विष विज्ञान विभाग (toxicology department) के सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. यशवेंद्र वर्मा से ईटीवी भारत से विस्तार से चर्चा की.

स्नातक एवं परास्नातक है योग्यता : विष विज्ञान विभाग के सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. यशवेंद्र वर्मा ने बताया कि चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय परिसर में संचालित विष विज्ञान विभाग इसी सत्र से पब्लिक हेल्थ में पीजी डिप्लोमा कराएगा. ये एक ऐसा कोर्स है जो कि युवाओं को रोजगार की काफी संभावनाएं मुहैया कराएगा. इस कोर्स से पब्लिक सेक्टर में स्किल्ड मैनपावर को विकसित करेंगे. सरकारी एजेंसी, प्राइवेट सेक्टर, खासकर हेल्थ सेक्टर और डेवलपमेंट सेक्टर हैं, इनमें मैनपावर की आवश्यकता पड़ती है. सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. यशवेंद्र वर्मा ने बताया कि इस कोर्स के लिए न्यूनतम योग्यता स्नातक एवं परास्नातक है. चाहे लाइफ साइंस से हों, सोशल साइंस से हों या चाहे मेडिकल साइंस से हों. वे आवेदन कर सकते हैं.

कोर्स में है अपार संभावनाएं : सीनियर असिस्टेंट प्रोफेसर ने बताया कि खासतौर से सरकारी सेवा में कार्यरत हैं, उनको वरीयता देंगे. 2020 में हम लोग बहुत ही त्रासदी से गुजर चुके हैं. जब कोविड जैसी महामारी आई तो सभी लोग असहाय थे. इस फेज में इस तरह के कोर्स की बहुत ही ज्यादा जरूरत महसूस की गई थी. मैनपावर की जबरदस्त डिमांड थी जो पब्लिक हेल्थ से जुड़ी बीमारियों से जूझ सकें. सारी चीजों को देखते हुए सरकार का भी इनिशिएटिव है. मेडिकल के क्षेत्र से जुड़े संस्थानों में पब्लिक हेल्थ विषय के रूप में पढ़ाया जाता है. अब एक वर्ष का ये डिप्लोमा कोर्स काफी चीजें कवर करेगा. इससे मैनपॉवर डेवलप होगी और पब्लिक हेल्थ से जो संबंधित जो सेक्टर हैं,उसमें रोजगार की अपार संभावनाएं हैं.

ऐसे करें आवेदन : छात्र-छात्राएं जो इस खास कोर्स में एडमिशन लेना चाहते हैं,वह इस लिंक के जरिए अधिक जानकारी प्राप्त कर सकते हैं. https://www.ccsuniversity.ac.in/ccsum/ फिलहाल चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय की मुख्य वेबसाइट पर विजिट करते रहें. इससे रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया कब शुरू होगी, इसकी जानकारी मिल जाएगी. आरंभ में 20 सीटें रखी गई हैं. दो सेमेस्टर होंगे. एक सेमेस्टर में दो कोर्स रहेंगे. इसके साथ-साथ निबंध कार्य भी कराएंगे. इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च से जुड़े जो संस्थान हैं उनमें स्टूडेंट्स को समर ट्रेनिंग के लिए भेजा जाएगा. जिससे छात्र पूरी तरह से तैयार होकर के मैदान में उतरे, इस कोर्स के लिए प्रति सेमेस्टर 50,000 रुपये का शुल्क निर्धारित किया गया है.

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