मेरठ: राजधानी लखनऊ के पॉश इलाके हजरतगंज में मंगलवार को अलाया अपार्टमेंट के ढहने के मामले में सपा विधायक शाहिद मंजूर के बेटे नवाजिश शाहिद को देर रात पुलिस हिरासत में लेकर लखनऊ ले गई. नवाजिश पहले भी कई कारणों से सुर्खियों में रहे हैं. नवाजिश शाहिद रियल एस्टेट से जुड़े काम करते हैं.
लखनऊ में जिस जमीन पर अपार्टमेंट बना है, उसका एग्रीमेंट सपा विधायक शाहिद मंजूर के बेटे नवाजिश और भतीजे तारीक के ही नाम पर है. नवाजिश का नाम इससे पहले भी उस वक्त सुर्खियों में आया था, जब 2017 में मेरठ विकास प्राधिकरण ने शहर के बेगमपुल क्षेत्र में स्थित कॉम्प्लेक्स में अवैध निर्माण को लेकर कार्रवाई की थी. एमडीए ने माना था कि अतिरिक्त जमीन पर गलत तरीके से निर्माण किया गया था. उस वक्त भी नवाजिश की उस इमारत में भूमिका को लेकर काफी नाम उछला था.
अक्टूबर 2022 में किठौर स्थित राधना में पूर्व मंत्री शाहिद मंजूर के बड़े भाई हाजी आरिफ पर पूर्व प्रधान उमर अली के बेटे मोहसिन ने अपने गांव में नहर कोठी समेत करीब डेढ़ हेक्टेयर सरकारी भूमि कब्जाने का आरोप लगाया था. डीएम के आदेश पर जांच को पहुंची राजस्व टीम ने एक बीघा भूमि पर अवैध कब्जा पाते हुए उसे खाली कराया था.
लखनऊ में 2003 में चार सौ गज जमीन नवाजिश और तारिक के नाम खरीदी गई थी. इसमें सौ गज में रास्ता और बाकी करीब 300 गज जमीन में अपार्टमेंट बनाया गया था. इस अपार्टमेंट में कुल 12 फ्लैट हैं. 2005 में फ्लैट तैयार कर 10 लोगों को बेच दिए गए थे. दो फ्लैट पूर्व मंत्री के परिवार के ही पास थे. इस बारे में ईटीवी भारत ने सपा विधायक के घर जाकर जायजा लिया. लेकिन, घर के दरवाजे अंदर थे. कुछ गाड़ियां जरूर घर के बाहर खड़ी हुई मिलीं.
नवाजिश सोशल मीडिया पर रहते हैं सक्रिय
पूर्व कैबिनेट मंत्री शाहिद मंजूर के बेटे नवाजिश सोशल मीडिया पर बेहद एक्टिव रहते हैं. उनके फेसबुक पर हर दिन एक या उससे अधिक पोस्ट शेयर की जाती हैं. नवाजिश की फेसबुक आईडी पर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव, रालोद अध्यक्ष जयंत चौधरी सहित इसी साल की शुरुआत में सपा के वरिष्ठ नेता रामगोपाल यादव के साथ की तश्वीरें साझा की हुई हैं.
नवाजिश को भी राजनीति का शौक
सपा के कद्दावर नेता के तौर पर विधायक शाहिद मंजूर की वेस्टर्न यूपी में अपनी अलग इमेज है. नेताजी मुलायम सिंह के नजदीकी लोगों में शाहिद मंजूर को माना जाता था. वहीं, नवाजिश भी राजनीति में हाथ आजमा चुके हैं. वे पूर्व में जिला पंचायत सदस्य भी रह चुके हैं. नवाजिश तब जिला पंचायत अध्यक्ष का चुनाव लड़ना चाहते थे.
पश्चिम में मजबूत पकड़ वाले नेता हैं शाहिद मंजूर
नवाजिश के पिता शाहिद मंजूर किठौर विधानसभा से वर्तमान में सपा से चौथी बार विधायक हैं. इससे पहले शाहिद मंजूर 2002, 2007 और 2012 में भी विधायक रह चुके हैं. हालांकि, 2017 में वे चुनाव हार गए थे और तब बीजेपी के सत्यवीर त्यागी ने जीत दर्ज की थी. लेकिन, इस बार सपा और रालोद गठबंधन की वजह से नवाजिश के पिता शाहिद मंजूर फिर से विधानसभा पहुंचने में कामयाब रहे.
शाहिद मंजूर 2012 से 2017 के बीच अखिलेश यादव की सरकार में श्रम एवं सेवायोजन विभाग में कैबिनेट मंत्री थे. वे पश्चिमी उप्र में सपा के बड़े चेहरों में शुमार हैं. इतना ही नहीं सपा के ही टिकट पर वे दो बार लोकसभा का चुनाव भी लड़ चुके हैं. शाहिद मंजूर के पिता भी किठौर विधानसभा से विधायक रहे थे. फिलहाल, पुलिस के पास कई ऐसे सवाल हैं, जिसका जवाब नवाजिश को देना होगा.
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