मथुरा: धर्म नगरी वृंदावन में कुंभ मेले में शनिवार को पहला शाही स्नान हुआ. इस शाही स्नान में सैकड़ों की संख्या में साधु-संतों ने यमुना में स्नान किया. प्रशासन की तरफ से स्नान को लेकर की गई व्यवस्थाओं से साधु संत नाराज दिखाई दिए. उन्होंने कहा कि जिस तरह से शासन-प्रशासन ने कहा था कि यमुना में स्नान के लिए स्वच्छ जल छोड़ा जाएगा, लेकिन ऐसा देखने को नहीं मिला. यमुना नदी का पानी इतना दूषित है कि इसमें स्नान करने वाले लोग बीमारी का शिकार होंगे. तत्काल ही प्रशासन को यमुना नदी में स्वच्छ जल छोड़ना चाहिए, नहीं तो यह यहां से लेकर सरकार तक चिंता का विषय बनेगा.
अखिल भारतीय पंचनद निर्मोही अनी अखाड़ा अध्यक्ष ने दी जानकारी
अध्यक्ष अखिल भारतीय पंच निर्मोही अनी अखाड़ा के अध्यक्ष राजेंद्र दास ने कहा कि कुंभ मेले में प्रशासन ने यमुना नदी में स्वच्छ जल छोड़ने की बात कही थी, लेकिन नहीं छोड़ा गया. देश के अंदर अभी भी कोरोना संक्रमण है. शासन-प्रशासन इस बारे में संज्ञान ले और तुरंत इस ओर कार्यवाही करे. अगर प्रशासन जल्द से जल्द कोई कार्रवाई नहीं करेगा तो यह बीमारी का कारण बनेगा. उन्होंने कहा कि आप लोग हमारी बात आगे तक पहुंचाएं और जितना जल्दी हो उतना यमुना जी का पानी शुद्ध कराएं.
प्रशासन की व्यवस्थाओं से अभी भी असंतुष्ट साधु-संत
धर्म नगरी वृंदावन में कुंभ मेले का आयोजन किया जा रहा है. सीएम योगी आदित्यनाथ ने 14 फरवरी को कुंभ मेले का शुभारंभ किया था. 16 तारीख से कुंभ मेला शुरू हो गया था. शनिवार को कुंभ मेले में पहला शाही स्नान हुआ. लेकिन प्रशासन की व्यवस्थाओं को देखकर साधु-संत असंतुष्ट नजर आए. यमुना नदी के पानी को लेकर अपनी नाराजगी व्यक्त करते दिखाई दिए. उन्होंने कहा कि जल्द ही अगर यमुना नदी में शुद्ध जल नहीं छोड़ा गया तो यह चिंता का विषय होगा.