लखनऊ : दिल की बीमारी अब कम उम्र के लोगों को सताने लगी है. इसकी बड़ी वजह खान-पान व जीवनशैली है. आरामतलबी व तलीभुनी चीजों का अधिक सेवन से दिल की बीमारियां घेर रही हैं. लोहिया संस्थान में कॉर्डियोलॉजी विभाग के अध्यक्ष डॉ. भुवन चन्द्र तिवारी के मुताबिक दिल की बीमारी तेजी से बढ़ रही है. ब्लड प्रेशर व डायबिटीज पीड़ितों पर दिल की बीमारी आसानी से हमला बोल देती है. मौजूदा समय में कम उम्र के लोग भी दिल की बीमारी की चपेट में आ रहे हैं. जीवनशैली में सुधार कर बीमारी के खतरों को कम कर सकते हैं. हर साल 29 सितंबर को विश्व हार्ट दिवस मनाया जाता है. इसका मुख्य उद्देश्य है कि लोग अपनी सेहत के प्रति सचेत रहें. इस वर्ष के विश्व हृदय दिवस का थीम 'दिल का प्रयोग करें, दिल को जानें' हैं. इस वर्ष का अभियान पहले हमारे दिलों को जानने के आवश्यक कदम पर केंद्रित है.
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ऐसे संवार सकते हैं दिल की सेहत : केजीएमयू लारी कॉर्डियोलॉजी विभाग के डॉ. गौरव चौधरी के मुताबिक दिल की सलामती के लिए पैसे खर्च करने की जरूरत नहीं है. फ्री में दिल की सेहत संवारी जा सकती है. प्रतिदिन 10 हजार कदम पैदल चलकर दिल को सेहतमंद रख सकते हैं. इससे हार्ट अटैक के खतरे को 25 प्रतिशत तक कम कर सकते हैं. इसके अलावा बीडी-सिगरेट से दूर रहें. बीड़ी-सिगरेट पीने वालों में दिल की बीमारी का खतरा सामान्य लोगों के मुकाबले कई गुना बढ़ जाता है. इसका खतरनाक धुंआ कोरोनरी आर्टी में जम जाता है. नसों में सिकुड़न आ जाती है.
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जिम में ज्यादा वजन उठाना घातक : डॉ. गौरव के मुताबिक लोग देर रात तक जागते हैं. भरपूर नींद नहीं लेते हैं. सुबह उठकर जिम जाकर क्षमता से ज्यादा वजन उठाते हैं. इसका असर दिल पर पड़ता है. यही वजह है जिम में कसरत करते वक्त हार्ट अटैक हो रहा है. प्रतिदिन सात से आठ मरीज लारी में हार्ट अटैक के आ रहे हैं. समय पर जांच व जीवनशैली में सुधार लाकर दिल की बीमारी के खतरे को कम कर सकते हैं.
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विश्व हृदय दिवस: 30 वर्ष की उम्र में जरूर करवाएं एडजेक्टिव हेल्थ चेकअप-विशेषज्ञ