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'पहलवान' की अनोखी शिवभक्ति, हरिद्वार से बागपत तक कर रहे दंडवत यात्रा - दंडवत कांवड़

कांवड़ यात्रा शुरू होने में अभी वक्त है, लेकिन हरिद्वार के हर की पैड़ी से एक शिव भक्त दंडवत कांवड़ लेकर बागपत जा रहा है, जहां पुरा महादेव मंदिर में जल चढ़ाएगा. अनुज की यह यात्रा 40 दिन की है.

'पहलवान' की अनोखी शिवभक्ति.
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Published : Jun 25, 2019, 4:24 PM IST

हरिद्वार: अपने आराध्य के लिए श्रद्धा और भक्ति जब किसी इंसान के अंदर होती है, तो उसे किसी भी कष्ट की परवाह नहीं होती और भक्ति के सागर में डूब कर वह हर मंजिल को पा ही लेता है. आज हम आपको सिर्फ बताएंगे ही नहीं, बल्कि दिखाएंगी भी कि कैसे अपनी मन्नत पूरी होने पर एक शिव भक्त हरिद्वार से बागपत के पुरा महादेव मंदिर में जल चढ़ाने के लिए 40 दिन के लंबे सफर पर निकला है.

'पहलवान' की अनोखी शिवभक्ति.

भले ही श्रावण मास की कावड़ यात्रा शुरू होने में अभी दिन शेष हों, लेकिन हरिद्वार में मन्नत पूरी होने पर अभी से कावड़ ले जाने का सिलसिला शुरू हो गया है. उत्तर प्रदेश के जाने-माने अनुज पहलवान हर की पैड़ी से बागपत के प्राचीन पुरा महादेव मंदिर में जल चढ़ाने के लिए निकले हैं.

पढे़ं- श्रीलंका टापू पहुंची हल्द्वानी प्रशासन की टीम, ग्रामीणों को बांटी राशन और दवाइयां

शिवभक्त अनुज चिलचिलाती धूप में हरिद्वार से दंडवत कांवड़ लेकर जा रहे हैं. भगवान शिव की इस कनूठी भक्ति को देख कर लोग अनुज का जगह-जगह स्वागत कर रहे हैं. भक्ति के भाव में इस शिव भक्त को कठिनाई की कोई फिक्र ही नहीं, क्योंकि उनको लगता है कि भगवान शिव उनके साथ हैं और इस कठिन यात्रा में उसके साथ चल रहे हैं.

अनुज का कहना है कि उन्होंने हर की पौड़ी से जल भरा है और यह जल शिवरात्रि पर पुरा महादेव मंदिर में चढ़ाना है. उन्होंने कहा कि दंडवत कावड़ ले जाना कठिन तो होता है मगर नामुमकिन नहीं है. उन्होंने कहा कि वो दंडवत कावड़ मन्नत पूरी हो जाने पर ले जा रहे हैं.

हरिद्वार: अपने आराध्य के लिए श्रद्धा और भक्ति जब किसी इंसान के अंदर होती है, तो उसे किसी भी कष्ट की परवाह नहीं होती और भक्ति के सागर में डूब कर वह हर मंजिल को पा ही लेता है. आज हम आपको सिर्फ बताएंगे ही नहीं, बल्कि दिखाएंगी भी कि कैसे अपनी मन्नत पूरी होने पर एक शिव भक्त हरिद्वार से बागपत के पुरा महादेव मंदिर में जल चढ़ाने के लिए 40 दिन के लंबे सफर पर निकला है.

'पहलवान' की अनोखी शिवभक्ति.

भले ही श्रावण मास की कावड़ यात्रा शुरू होने में अभी दिन शेष हों, लेकिन हरिद्वार में मन्नत पूरी होने पर अभी से कावड़ ले जाने का सिलसिला शुरू हो गया है. उत्तर प्रदेश के जाने-माने अनुज पहलवान हर की पैड़ी से बागपत के प्राचीन पुरा महादेव मंदिर में जल चढ़ाने के लिए निकले हैं.

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शिवभक्त अनुज चिलचिलाती धूप में हरिद्वार से दंडवत कांवड़ लेकर जा रहे हैं. भगवान शिव की इस कनूठी भक्ति को देख कर लोग अनुज का जगह-जगह स्वागत कर रहे हैं. भक्ति के भाव में इस शिव भक्त को कठिनाई की कोई फिक्र ही नहीं, क्योंकि उनको लगता है कि भगवान शिव उनके साथ हैं और इस कठिन यात्रा में उसके साथ चल रहे हैं.

अनुज का कहना है कि उन्होंने हर की पौड़ी से जल भरा है और यह जल शिवरात्रि पर पुरा महादेव मंदिर में चढ़ाना है. उन्होंने कहा कि दंडवत कावड़ ले जाना कठिन तो होता है मगर नामुमकिन नहीं है. उन्होंने कहा कि वो दंडवत कावड़ मन्नत पूरी हो जाने पर ले जा रहे हैं.

Intro:अपने आराध्य के लिए श्रद्धा और भक्ति जब किसी इंसान के अंदर होती है तो उसे किसी भी कष्ट की परवाह नहीं होती और भक्ति के सागर में डूब कर वह हर मंजिल को पा ही लेता है और ऐसा हम आपको बता ही नहीं रहे हम आपको दिखाएं भी कि आखिर अपनी मन्नत पूरी होने पर एक शिव भक्त हरिद्वार से पुरा महादेव भगवान शिव को जल चढ़ाने के लिए 40 दिन के लंबे सफर पर निकला है और भक्ति के भाव में इस शिव भक्त को किसी भी प्रकार की कठिनाई की कोई फिक्र ही नहीं क्योकि इसको तो लगता है कि भगवान शिव इसके साथ इस कठिन यात्रा में साथ चल रहे हैं देखे हरिद्वार से हमारी भक्ति के भाव पर खास रिपोर्टBody:भले ही श्रावण मास की कावड़ यात्रा शुरू होने में अभी कुछ दिन शेष बचे हो लेकिन अभी से हरिद्वार में मन्नत पूरी होने पर कावड़ ले जाने का सिलसिला शुरू हो गया है उत्तर प्रदेश के जाने-माने पहलवान अनुज दंडवत होकर हर की पैड़ी से बागपत के प्राचीन पुरा महादेव मंदिर में जल चढ़ाने के लिए दंडवत कांवर लेकर हरिद्वार से रवाना हुए चिलचिलाती धूप में यह शिवभक्त पहलवान अपने कुछ साथियों के साथ लेट कर कावड़ लेकर निकला है भगवान शिव की इस कनूठी भक्ति को देख कर लोग भी अनुज का जगह-जगह स्वागत कर रहे हैं

दंडवत कावड़ ले जा रहे अनुज पहलवान का कहना है कि हरिद्वार हर की पौड़ी से जल भरा है यह जल शिवरात्रि पर पुरा महादेव में चढ़ाना है इसका कावड़ दंडवत कावड़ बोलते हैं इसमें पैदल नहीं चला जा सकता लेट कर ही जाना होता है कठिन तो होता है मगर मुश्किल नहीं होता है दंडवत कावड़ में पहली बार लेकर जा रहा हूं इससे पहले मैं खड़ी कावर झूला कावड़ लेकर जा चुका हूं इस खबर को ले जाने का मकसद है मैंने शिव से मन्नत मांगी थी वो मन्नत मेरी पूरी हो गई इसलिए मैं इस कावड़ को लेकर जा रहा हूं अनुज का कहना है कि वह पहलवानी में स्टेट लेवल तक खेले हैं मगर कई समस्या होने के बाद वह आगे नहीं जा सके इसका मलाल है मगर मुझे कभी अफसोस नहीं हुआ

बाइट--अनुज पहलवान--शिव भक्त कावड़िया

दंडवत कावड़ को ले जाना हर किसी के लिए मुमकिन नहीं होता इस कावड़ को ले जाने में काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है तो किस इतने दिनों तक दंडवत होने से शरीर में भी काफी दिक्कत हो जाती है अनुज का कहना है कि इस कावड़ को ले जाने में सिर्फ ठहराव की दिक्कत आ रही है पैरों में कुछ चोट है मगर इससे मुझे कोई परेशानी नहीं है थोड़ा दर्द तो होता है मगर शिव की भक्ति में इस दर्द का अहसास ही नहीं होता मैंने हर की पौड़ी से जल उठाया है और 40 दिन में पुरा महादेव पर जाकर जल चढ़ाऊँगा

बाइट--अनुज पहलवान--शिव भक्त कावड़ियाConclusion:भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए लाखों की तादाद में श्रद्धालु सावन मास की कावड़ यात्रा लेने हरिद्वार आते हैं 17 जुलाई से हरिद्वार में श्रावण मास का कावड़ मेला शुरू होगा जिसमें लाखों की संख्या में श्रद्धालु हर की पेडी से गंगा जल भर अपने अपने गंतव्य की और रवाना होते हैं इस कांवड़ मेले में भक्ति के अलग-अलग रंग देखने को मिलते हैं लेकिन कांवड़ मेले से पहले ही हरिद्वार में शिव भक्तों की श्रद्धा नजर आनी शुरू हो गई है यूपी के इस पहलवान ने भी भगवान शंकर से कुछ बनत मांगी थी जिसके पूरा होने पर यह दंडवत कावड़ लेकर पुरा महादेव के मंदिर के लिए रवाना हुआ है
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