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सुप्रीम कोर्ट ने खारिज की मुख्यमंत्री योगी के खिलाफ याचिका, लगाई तगड़ी फटकार - आपत्तिजनक भाषण सीएम योगी के खिलाफ याचिका खारिज

सीएम योगी के खिलाफ कथित आपत्तिजनक भाषण दिए जाने संबंधी याचिका पर सर्वोच्च न्यायालय ने याचिकाकर्ता को फटकार लगाते हुए याचिका को खारिज कर दिया है.

उच्चतम न्यायालय
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Published : Jan 23, 2023, 7:59 PM IST

Updated : Jan 23, 2023, 8:47 PM IST

नई दिल्ली: उच्चतम न्यायालय ने 2018 में राजस्थान के अलवर में चुनाव प्रचार के दौरान कथित आपत्तिजनक भाषण देने के लिए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के खिलाफ मामला दर्ज करने का आदेश दिए जाने का अनुरोध करने वाली याचिका सोमवार को खारिज कर दी.

न्यायमूर्ति बी आर गवई और न्यायमूर्ति विक्रम नाथ की पीठ ने कहा कि वह मामले में हस्तक्षेप करना नहीं चाहती. पीठ ने कहा, ‘ऐसे मुकदमे सिर्फ पेज 1 (अखबारों) के लिए होते हैं. इसे खारिज किया जाता है.' याचिकाकर्ता ने इलाहाबाद उच्च न्यायालय के एक आदेश के खिलाफ उच्चतम न्यायालय का रुख किया थ. उच्च न्यायालय ने याचिका खारिज कर दी थी और याचिकाकर्ता पर 5,000 रुपये का जुर्माना लगाया था. यह याचिका मऊ जिले के नवल किशोर शर्मा ने दायर की थी.

याचिकाकर्ता के अनुसार, आदित्यनाथ ने 23 नवंबर 2018 को अलवर में एक चुनावी भाषण में उनकी धार्मिक भावनाएं आहत की थीं. उच्चतम न्यायालय का रुख करने से पहले याचिकाकर्ता ने मऊ की जिला अदालत में मुख्यमंत्री के भाषण के खिलाफ शिकायत दर्ज करायी थी जिसे खारिज कर दिया गया था. इसके बाद उन्होंने उच्च न्यायालय में पुनर्विचार याचिका दायर की जिसे भी क्षेत्रीय न्यायाधिकार के आधार पर खारिज कर दिया गया.

नई दिल्ली: उच्चतम न्यायालय ने 2018 में राजस्थान के अलवर में चुनाव प्रचार के दौरान कथित आपत्तिजनक भाषण देने के लिए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के खिलाफ मामला दर्ज करने का आदेश दिए जाने का अनुरोध करने वाली याचिका सोमवार को खारिज कर दी.

न्यायमूर्ति बी आर गवई और न्यायमूर्ति विक्रम नाथ की पीठ ने कहा कि वह मामले में हस्तक्षेप करना नहीं चाहती. पीठ ने कहा, ‘ऐसे मुकदमे सिर्फ पेज 1 (अखबारों) के लिए होते हैं. इसे खारिज किया जाता है.' याचिकाकर्ता ने इलाहाबाद उच्च न्यायालय के एक आदेश के खिलाफ उच्चतम न्यायालय का रुख किया थ. उच्च न्यायालय ने याचिका खारिज कर दी थी और याचिकाकर्ता पर 5,000 रुपये का जुर्माना लगाया था. यह याचिका मऊ जिले के नवल किशोर शर्मा ने दायर की थी.

याचिकाकर्ता के अनुसार, आदित्यनाथ ने 23 नवंबर 2018 को अलवर में एक चुनावी भाषण में उनकी धार्मिक भावनाएं आहत की थीं. उच्चतम न्यायालय का रुख करने से पहले याचिकाकर्ता ने मऊ की जिला अदालत में मुख्यमंत्री के भाषण के खिलाफ शिकायत दर्ज करायी थी जिसे खारिज कर दिया गया था. इसके बाद उन्होंने उच्च न्यायालय में पुनर्विचार याचिका दायर की जिसे भी क्षेत्रीय न्यायाधिकार के आधार पर खारिज कर दिया गया.

(भाषा)

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Last Updated : Jan 23, 2023, 8:47 PM IST
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