लखनऊ : रियल एस्टेट कंपनी बनाकर भोले भाले लोगों से फ्लैट व प्लॉट के नाम पर अरबों रुपए की ठगी करने वाले रोहतास बिल्डर्स के मालिक Rohtas builder owner) परेश रस्तोगी की 21.20 करोड़ की और संपत्ति कुर्क होगी. इसको लेकर पुलिस कमिश्नर की कोर्ट ने गैंगस्टर एक्ट की धारा 14 (1) के तहत कार्रवाई करते हुए कुर्की के आदेश जारी कर दिया है. परेश रस्तोगी की अब तक 120 करोड़ से अधिक की संपत्ति कुर्क हो चुकी है.
डीसीपी मध्य अपर्णा रजत कौशिक ने बताया कि, 'आरोपी परेश रस्तोगी के खिलाफ लखनऊ के हजरतगंज, गौतमपल्ली, विभूतिखंड, गोसाईगंज व चिनहट थाने में धोखाधड़ी व जालसाजी के 82 मुकदमे दर्ज हैं. डीसीपी ने बताया कि रोहतास प्रोजेक्ट प्राइवेट लिमिटेड के नाम से कंपनी बनाकर परेश रस्तोगी ने भोले भाले लोगों से जमीन को बेचने के नाम पर ठगी कर अरबों की संपत्ति अर्जित कर ली थी. इससे पहले परेश रस्तोगी की 116 करोड़ की संपत्ति कुर्क की गई थी, जिसमें लखनऊ के राणा प्रताप मार्ग स्थित कैलाश बिल्डिंग के एस ट्राइडेंट बिल्डिंग, कुर्सी रोड के जेनेसिस क्लब बिल्डिंग, महानगर स्थित बादशाह नगर मेट्रो स्टेशन के पास की बिल्डिंग, राजा राममोहन राय मार्ग के पास पशुपति अपार्टमेंट व जमीन के अलावा, फोर्ड फिगो, हुंडई एक्सेंट, स्कोडा और फोर्ड फिस्ता गाड़ी की गाड़ी कुर्क की गई थी.
डीसीपी अपर्णा रजत कौशिक ने बताया कि 'रोहतास बिल्डर्स के ठग मालिक परेश रस्तोगी ने वर्ष 2007 से ठगी करने का काम शुरू किया था. उसने कई अपराधियों और माफिया के काले कामों से कमाए गए धन से जमीन की खरीद फरोख्त करता था. इसके बाद उसने रोहतास प्राइवेट लिमिटेड के नाम से कंपनी बनाई. जिसके बाद उसने अपने परिजनों के नाम पर संपत्ति खरीदने का काम शुरू किया. उन्होंने बताया कि, ठग परेश रस्तोगी ने रेजिडेंशल और कमर्शियल बिल्डिंग बनाकर लोगों को बेचना शुरू कर दिया. कुछ बिल्डिंग्स को बेचने के बाद उसने अपना असली खेल शुरू करते हुए लोगों को कमर्शियल और आवासीय बिल्डिंग बेच तो दिए, लेकिन कब्जा नहीं दिया और अरबों रुपए ठग लिए. पैसे डूबने पर जब लोगों ने पैसे लौटाने की बात कही तो परेश रस्तोगी ने दबंग रवैया अपनाते हुए उनको धमकाकर चुप करा दिया करता था.'