लखनऊ : एक तरफ उत्तर प्रदेश के मुखिया पुलिसकर्मियों को ट्रेनों में यात्रा करते समय रेलवे अधिकारियों से अच्छा व्यवहार करने की हिदायत देते हैं तो दूसरी तरफ अपने ही मुखिया का मातहत मजाक उड़ा रहे हैं. ट्रेन में बेटिकट यात्रा भी करते हैं और टीटीई की पिटाई भी. इतना ही नहीं मौका मिलते ही यह पुलिसकर्मी समान पर भी हाथ साफ करने से नहीं हिचकते. मामला एलटीटी-लखनऊ सुपरफास्ट एक्सप्रेस से जुड़ा है. रेलवे के हेड टीटीई ने जब बिना वर्दी बेटिकट यात्रा कर रहे एक व्यक्ति से टिकट मांगा तो उसने 1110 रुपये चुका दिए, लेकिन जब ट्रेन उरई पहुंची तो कई पुलिसकर्मी ट्रेन में चढ़े और हेड टीटीई की जमकर पिटाई कर दी. आरोप है कि उसकी सोने की चेन भी लूट ले गए. टीटीई ने लखनऊ के चारबाग रेलवे स्टेशन पहुंचने पर जीआरपी में रिपोर्ट दर्ज करने के लिए मिन्नतें कीं, लेकिन दो दिन तक एफआईआर दर्ज नहीं हुई. जब रेलवे के सीनियर अधिकारियों ने जीआरपी के सीनियर अधिकारी हो घटना की जानकारी देते हुए नाराजगी जताई तब जाकर एफआईआर दर्ज हो पाई.
बता दें, कुछ माह पहले प्रतापगढ़ में टीटीई की पुलिसकर्मियों ने जमकर पिटाई कर दी थी. इस घटना पर तत्कालीन डीजीपी ने नाराजगी जताते हुए पुलिसकर्मियों के लिए आदेश जारी किया था कि वह ट्रेन में बेटिकट यात्रा नहीं करेंगे. अगर ऐसा करते हैं तो कड़ी कार्रवाई की जाएगी, लेकिन पुलिसकर्मी हैं कि सुधारते ही नहीं. चोरी ऊपर से सीनाजोरी. बेटिकट यात्रा भी करते हैं और टीटीई से मारपीट भी. इस बार एलटीटी-लखनऊ सुपरफास्ट के हेड टीटीई को पुलिसकर्मियों ने निशाना बनाया है. बीते रविवार को एलटीटी-लखनऊ एसी सुपरफास्ट में मुंबई के हेड टीटीई मिथिलेश कुमार पोद्दार की लखनऊ तक के लिए ड्यूटी लगाई गई थी. जानकारी के मुताबिक वीरांगना लक्ष्मी बाई झांसी जंक्शन से ट्रेन के आगे के लिए रवाना होने के बाद सादे कपड़ों में सत्यवान यादव सवार हुए.
मुख्य टीटीई मिथिलेश कुमार पोद्दार के टिकट मांगने पर यात्री सत्यवान यादव ने 1110 रुपये की रसीद बनवा ली. उरई स्टेशन पर जब ट्रेन पहुंची तो सत्यवान यादव ने जीआरपी में फोन कर दिया. आठ से नौ कांस्टेबलों के साथ जीआरपी सब इंस्पेक्टर सुरेंद्र सिंह ट्रेन के अंदर दाखिल हो गए. रसोईयान पर खड़े मुख्य टीटीई मिथिलेश कुमार पोद्दार को अंदर ले जाकर खूब पिटाई की. गले से सोने की चेन खींच ली. जेब में रखे करीब साढ़े नौ हजार रुपये छीन लिए, लेकिन फिर 1100 रुपये निकालकर बाकी ट्रेन में ही बिखेर दिए. ट्रेन आगे के लिए चल दी तो एक जीआरपी सिपाही ने चेन खींचकर फिर ट्रेन रोक दी और फिर से सभी ने मिलकर हेड टीटीई मिथिलेश की पिटाई कर दी. ट्रेन जब लखनऊ पहुंची तो पीड़ित टीटीई ने पूरी घटना से अफसरों को अवगत कराया. रेलवे की तरफ से जीआरपी चारबाग थाना पर एफआइआर दर्ज कराने के लिए तहरीर दी गई है, लेकिन दो दिन तक एफआईआर दर्ज ही नहीं की गई.
इसके बाद मुख्य टीटीई मिथिलेश कुमार पोद्दार ने उत्तर रेलवे लखनऊ मंडल की वरिष्ठ वाणिज्य मंडल रेल प्रबंधक रेखा शर्मा और जीआरपी के सीनियर अफसरों से इस पूरी घटना की शिकायत की. सीनियर अफसरों ने जीआरपी चारबाग की तरफ से एफआईआर दर्ज ना किया जाने को लेकर नाराजगी जाहिर की. अफसरों के हस्तक्षेप के बाद ही जीआरपी के वरिष्ठ अधिकारी ने चारबाग में तैनात जीआरपी इंस्पेक्टर की क्लास ली और फिर आइपीसी की धारा 395, 353, 323 और 506 के तहत मुकदमा दर्ज हुआ.
यह भी पढ़ें : सबसे बड़ी शहरी समस्या निकाय चुनावों में क्यों नहीं बनती मुद्दा